देवी के दरबार पहुंचने के लिए नदी-पहाड़ वाला लंबा रास्ता पार करना पड़ता था, मांझी की तरह बना दी राह
पटना। पहाड़ चीरकर आसान रास्ता बनाने वाले दशरथ मांझी का नाम तो सुना ही होगा। बिहार में जन्मे दशरथ मांझी को 'माउंटेन मैन' कहा जाता था। यहां सासाराम में उसी दशरथ मांझी की तरह गांववालों ने खुद पहाड़ चीरकर आसान राह बनाई है। मां तुतलेश्वरी भवानी के दरबार पहुंचने के लिए सासाराम में छह किमी लंबा पहाड़ी रास्ता तय करना पड़ता था। इतना ही नहीं, इस दुर्गम रास्ते में तीन नदियों को भी पार करना पड़ता था। लोग पैदल चलते-चलते थक जाते थे। मार्ग बहुत उबड़-खाबड़ था।
गांववाले पहाड़ को ही तोड़ने में जुट गए
बारिश के दिनों में नदियों में उफान आने से वह रास्ता और भी बाधित हो जाता था। ऐसे में देवी मां के मंदिर पहुंचने से श्रद्धालु वंचित हो रहे थे। वहीं, नदी पर पुल बनवा पाना भी गांववालों के लिए संभव नहीं था। ऐसे में गांववाले पहाड़ को ही तोड़ने में जुट गए।
दशरथ मांझी से प्रेरणा ले किया काम
यह पहाड़ काफी बड़ा था और किसी एक व्यक्ति के बस की बात नहीं थी। मगर, गांववालों ने दशरथ मांझी के किस्से सुन रखे थे। उससे प्रेरणा लेकर उन्होंने दुष्कर कार्य को भी कर डाला।
दो साल की मेहनत से तैयार हुआ यह रास्ता
पहाड़ काटकर बनाई गई ढ़ाई किमी लंबी सड़क से अब न केवल गांव वाले मां के दरबार पहुंच जाते हैं, बल्कि वाहन और पशु भी निकाले जा सकते हैं। पहले 6 किलोमीटर की दूरी तय करनी पड़ती थी, जोकि अब बहुत कम हो गई है। यह रास्ता दो साल तक हुई दिन-रात की मेहनत से तैयार हुआ।
रास्ते को पक्की सड़क में बदलना चाहते हैं गांववाले
अब गांववाले पहाड़ काटकर बनाए गए उस रास्ते को पक्की सड़क में बदलना चाहते हैं। इसके लिए कमेटी बनाकर काम किया जा रहा है। तुतलाधाम विकास समिति गांववालों ने ही बनाई, जिसमें मंदिर के विकास की योजना शामिल है।
सांसद बोले- हम रोड बनाने में मदद करेंगे
यहां के सांसद छेदी पासवान का कहना है कि वे लोगों की मदद करेंगे। पक्की सड़क के निर्माण कार्य के लिए सरकार से अनुरोध किया जाएगा।
तुतराही झरने के मध्य में स्थापित है प्रतिमा
एक ग्रामीण ने बताया कि इन दिनों तुतलेश्वरी भवानी का दरबार सजा है। देवी तुतलेश्वरी सासाराम से लगभग 35 किलोमीटर दूर पहाड़ी पर विराजमान हैं। उन्हें 'तुतला भवानी' कहकर पुकारा जाता है। खास बात यह भी है कि तिलौथू प्रखंड में अवस्थित मंदिर के पास महिषासुर मर्दिनी की प्रतिमा तुतराही झरने के मध्य में स्थापित है।
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