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नई शिक्षा नीति का एक साल पूरे होने पर बोले पीएम मोदी- महात्मा गांधी के सपने हो रहे साकार, संबोधन की बड़ी बातें
नई शिक्षा नीति का एक साल पूरा, पढ़िए पीएम मोदी के संबोधन की बड़ी बातें
नई दिल्ली, 29 जुलाई: नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 की घोषणा के एक वर्ष पूरा होने के अवसर पर आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से देश भर के छात्रों, और दूसरे स्टेकहॉल्डर को संबोधित किया। अपने करीब 24 मिनट के भाषण में प्रधानमंत्री ने कहा नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति की तारीफ करते हुए कई अहम बातें कहीं। उन्होंने कहा कि अब पांच भाषाओं में इंजीनियरिंग की पढ़ाई होगी। ये एक बहुत बड़ा बदलाव लेकर आएगा। पीएम मोदी के भाषण की बड़ी बातें-
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New
National
Education
Policy:
एक
साल
पूरा
होने
पर
PM
Modi
का
छात्रों
को
ये
संदेश
|
वनइंडिया
हिंदी
-
बीते
एक
वर्ष
में
देश
के
आप
सभी
महानुभावों,
शिक्षको,
प्रधानाचार्यों,
नीतिकारों
ने
राष्ट्रीय
शिक्षा
नीति
को
धरातल
पर
उतारने
में
बहुत
मेहनत
की
है।
भविष्य
में
हम
कितना
आगे
जाएंगे,
कितनी
ऊंचाई
प्राप्त
करेंगे,
ये
इस
बात
पर
निर्भर
करेगा
कि
हम
अपने
युवाओं
को
वर्तमान
में
कैसी
शिक्षा
दे
रहे
हैं।
-
मुझे
पूरा
विश्वास
है
कि
आने
वाले
समय
में
नई
राष्ट्रीय
शिक्षा
नीति
के
फीचर्स
हकीकत
में
बदलेंगे,
देश
एक
नए
युग
में
पहुंचेगा।
ये
महात्मा
गांधी
के
सपनों
के
भारत
से
लेकर
आधुनिक
और
आत्मनिर्भर
भारत
का
मंत्र
साकार
करने
की
दिशा
में
कदम
है।
-
बापू
कहा
करते
थे
कि
राष्ट्रीय
शिक्षा
को
सच्चे
अर्थों
में
राष्ट्रीय
होने
के
लिए
राष्ट्रीय
परिस्थितियों
में
रिफ्लेक्ट
होना
चाहिए।
अब
हायर
एजुकेशन
में
मीडियम
ऑफ
इंस्ट्रक्शन
स्थानीय
भाषा
भी
विकल्प
होगी।
-
3
लाख
से
ज्यादा
बच्चे
ऐसे
हैं,
जिन्हें
सांकेतिक
भाषाओं
की
जरूरत
होती
है।
इसे
समझते
हुए
भारतीय
साइन
लैंग्वेज
को
सब्जेक्ट
का
दर्जा
दिया
गया
है।
छात्र
इसे
भाषा
के
तौर
पर
भी
पढ़
पाएंगे।
हमारे
दिव्यांग
साथियों
को
मदद
मिलेगी।
-
मुझे
खुशी
है
कि
आठ
राज्यों
के
14
इंजीनियरिंग
कॉलेज,
पांच
भारतीय
भाषाओं-
हिंदी
-
तमिल,
तेलुगू,
मराठी
और
बांग्ला
में
इंजीनियरिंग
की
पढ़ाई
शुरू
करने
जा
रहे
हैं।
इंजीनिरिंग
के
कोर्स
का
11
भारतीय
भाषाओं
में
ट्रांसलेशन
के
लिए
एक
टूल
भी
विकसित
हुआ
है।
-
21वीं
सदी
का
आज
का
युवा
अपनी
व्यवस्थाएं,
अपनी
दुनिया
खुद
अपने
हिसाब
से
बनाना
चाहता
है।
उसे
पुराने
बंधनों,
पिंजरों
से
मुक्ति
चाहिए।
नई
राष्ट्रीय
शिक्षा
नीति
युवाओं
को
ये
विश्वास
दिलाती
है
कि
देश
अब
पूरी
तरह
से
उनके
और
उनके
हौसलों
के
साथ
हैं।
-
जब
देश
आजादी
के
75
साल
का
महोत्सव
बना
रहा
है।
15
अगस्त
को
हम
आजादी
के
75वें
साल
में
प्रवेश
करने
जा
रहे
हैं।
एक
तरह
से
ये
नई
राष्ट्रीय
शिक्षा
नीति
का
इम्प्लिमेंटेशन
आजादी
के
महापर्व
का
महत्वपूर्ण
हिस्सा
बन
गया
है।
नई
योजनाएं
नए
भारत
के
लिए
महत्वपूर्ण
भूमिका
निभाएंगी।
-
नई
व्यवस्था
में
एक
ही
क्लास
और
एक
ही
विषय
में
जकड़े
रहने
की
बाध्यता
को
खत्म
कर
दिया
गया
है।
युवा
अपनी
रुचि,
सुविधा
से
कभी
भी
एक
स्ट्रीम
को
चुन
सकता
है।
कोर्स
सिलेक्ट
करते
समय
ये
डर
नहीं
रहेगा
कि
डिसीजन
गलत
हो
गया
तो
क्या
होगा।
-
पहले
ये
माना
जाता
था
कि
अच्छी
पढ़ाई
के
लिए
विदेश
जाना
होगा,
लेकिन
विदेशों
से
स्टूडेंट
भारत
आएं,
ये
हम
देखने
जा
रहे
हैं।
देश
के
डेढ़
सौ
से
ज्यादा
विश्वविद्यालयों
में
ऐसी
व्यवस्था
की
जा
चुकी
है।
हायर
एजुकेशन
इंस्टिट्यूट
अंतरराष्ट्रीय
स्तर
पर
रिसर्च
में
आगे
बढ़ें,
इसके
लिए
गाइडलाइन
जारी
की
गई
है।
-
आत्म
निर्भर
भारत
का
रास्ता
स्किल
डेवलपमेंट
और
टेक्नोलॉजी
से
जाता
है।
इसी
को
देखते
हुए
एक
साल
में
1200
से
ज्यादा
उच्च
शिक्षा
संस्थानों
में
स्किल
डेवलपमेंट
से
जुड़े
सैकड़ों
कोर्सेज
को
मंजूरी
दी
गई।
- विद्या प्रवेश प्रोग्राम आज लॉन्च किया गया है। अब तक प्ले स्कूल का कॉन्सेप्ट बड़े शहरों तक सीमित है। विद्या प्रवेश के जरिए यह गांव-गांव जाएगा। ये प्रोग्राम आने वाले समय में यूनिवर्सल प्रोग्राम के तौर पर लागू होगा।
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English summary
Prime Minister Narendra Modi today addressed the nation on the completion of one year of the new National Education Policy
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