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मुश्किल समय में हार्दिक ने किया अटल बिहारी वाजपेयी को याद, किया ये ट्वीट

दो साल पहले बीजेपी के खिलाफ बगावत का झंडा उठाने वाले हार्दिक के साथियों के दिल में कमल खिल रहा है और वो एक-एक करके बीजेपी का दामन थाम रहे हैं। हार्दिक धीरे-धीरे गुजरात की सियासी रणभूमि में अकेले पड़ते जा रहे हैं।

By Vikashraj Tiwari
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नई दिल्ली। पहले कथित सीडी कांड और अब टिकट बंटवारे को लेकर कांग्रेस से मिले झटके के बाद पाटीदार आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल चौतरफा घिरे नजर आ रहे हैं। हार्दिक झटके पर झटका खा रहे हैं। कहते हैं कि मुसीबत में इंसान का साया तक साथ छोड़ देता है। हार्दिक के साथ ऐसा ही हो रहा है। कभी उनके साथ साए की तरह रहने वाले और पाटीदार आंदोलन के बड़े नेता केतन पटेल ने उनका साथ छोड़ दिया है। केतन पटेल अब बीजेपी के हो गए हैं। मुश्किलों में घिरे हार्दिक ने पूर्व पीएम अटल बिहारी वाजपेयी की एक कविता के जरिए अपनी भावनाएं जाहिर की हैं। साथ ही उन्होंने इसके जरिए यह संकेत भी दिया है कि चाहे जितनी भी मुश्किलें खड़ी कर दो, मैं आगे बढ़ता रहूंगा।

अकेले होते जा रहे हैं हार्दिक

अकेले होते जा रहे हैं हार्दिक

दो साल पहले बीजेपी के खिलाफ बगावत का झंडा उठाने वाले हार्दिक के साथियों के दिल में कमल खिल रहा है और वो एक-एक करके बीजेपी का दामन थाम रहे हैं। हार्दिक धीरे-धीरे गुजरात की सियासी रणभूमि में अकेले पड़ते जा रहे हैं। उनके अकेलेपन का ये दर्द अब उनके ट्वीट से भी झलकने लगा है. सोमवार की दोपहर हार्दिक ने दो ट्वीट किए हैं। उन्होंने ट्वीट किया-बाधाएं आती हैं आएगी, घिरे प्रलय की घोर घटा, पांवों के नीचे अंगारे, सिर पर बरसे यदि ज्वालाएं,निज हाथों में हंसते हंसते, आग लगाकर जलना होगा, क़दम मिलाकर चलना होगा।

'हार्दिक ने धोखा दिया'

'हार्दिक ने धोखा दिया'

हार्दिक का साथ छोड़कर बीजेपी में शामिल होने वाले नेताओं में महेश पटेल और चिराग पटेल जैसे नेताओं का भी नाम है। ये सभी एक सुर से कह रहे हैं कि हार्दिक ने पटेल समाज को धोखा दिया है। उन्होंने आंदोलन को अपनी निजी जागीर बना रखा है। इस तरह से लगातार साथियों का जाना हार्दिक पटेल के लिए बड़ी चुनौती बनता जा रहा है। उनके लिए ये बात साबित करना मुश्किल होता जा रहा है कि जाने वाले लोग जो आरोप लगा रहे हैं वो निराधार हैं। दरअसल पाटीदार समाज में दो तरह की चर्चाएं हैं, वो आरक्षण के लिए आंदोलन को तो सही मानते हैं और आरक्षण के लिए आंदोलन को आगे बढ़ाने के लिए भी तैयार हैं। लेकिन वो बीजेपी की खिलाफत के लिए पूरी तरह से तैयार नहीं हैं।

हार्दिक की छवी कमजोर हुई

हार्दिक की छवी कमजोर हुई

वक्त बदला और सियासत ने ऐसी करवट ली कि बीजेपी के खिलाफ बगावती तेवर अख्तियार करने वाले पटेल समुदाय के नेताओं को फिर बीजेपी रास आने लगी है। गुजरात विधानसभा चुनाव का बिगुल बजते ही बीजेपी ने पटेल समुदाय की नाराजगी दूर करने के जतन में लग गई। इस दौरान हार्दिक पटेल की अश्लील सीडी भी जारी हुईं, जिससे उनकी छवि कमजोर हुई. बीजेपी हार्दिक के साथियों को तोड़कर अपने साथ मिलाने लगी। आरक्षण आंदोलन के हार्दिक के साथी एक-एक करके बीजेपी का दामन थाम रहे हैं। इनमें रेशमा पटेल, चिराग पटेल केतन पटेल, अमरीश व श्वेता पटेल जैसे युवा नेता शामिल हैं।

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English summary
Gujarat election: Hardik patel tweets poem of former pm Atal Bihari Vajpayee
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