World Anaesthesia Day 2020: विश्व एनेस्थीसिया दिवस पर जानिए 'Anaesthesia' से जुड़े जरूरी तथ्य
नई दिल्ली। आज विश्व एनेस्थीसिया दिवस (World Anaesthesia Day 2020) है, जिसे ईथर दिवस या राष्ट्रीय संज्ञाहरण दिवस भी कहा जाता है। ये दिन हर साल 16 अक्टूबर को मनाया जाता है। इसी दिन साल 1846 में पहली बार एनेस्थीसिया का इस्तेमाल किया गया था। आपको बता दें सर्जरी टीम का एक महत्वपूर्ण हिस्सा एनेस्थीसिया विशेषज्ञ भी होता है। वह मरीज के ऑपरेशन के समय और उसके बाद की पूरी स्थिति पर नजर बनाए रखता है। हालांकि बहुत से लोगों को एनेस्थीसिया के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं होती है। लेकिन इससे जुडे़ ऐसे बहुत से तथ्य हैं, जिन्हें जानकर आपको भी हैरानी होगी।
एनेस्थीसिया चार प्रकार का होता है, जिनका सर्जरी के दौरान इस्तेमाल होता है। इनमें पहला है, जनरल एनेस्थीसिया, दूसरा है रीजनल एनेस्थीसिया, तीसरा है मॉनिटर्ड एनेस्थीसिया केयर और चौथा है लोकल एनेस्थीसिया। कई बार मरीजों को खुद ये चुनने को कहा जाता है कि वह कौन सा एनेस्थीसिया लेना चाहते हैं।
- अमेरिकन सोसाइटी ऑफ एनेस्थीसिया के अनुसार, अमेरिका में हर साल 100 मिलियन से अधिक सर्जिकल प्रक्रियाओं में एनेस्थीसिया के विभिन्न रूपों का इस्तेमाल होता है, जिनके बारे में लोग को जानकारी ही नहीं होती या फिर वह इसकी गंभीरता के बारे में ही नहीं जानते।
- डॉक्टर भी पूरी तरह से ये समझ नहीं पाते हैं कि एनेस्थीसिया कैसे दिमाग को प्रभावित करता है और कई बार इसके घातक परिणाम भी देखने को मिल जाते हैं। हाल ही में वॉल स्ट्रीट जनरल में छपे एक लेख में कहा गया था कि अधिक संख्या में आउटपेशंट सेंटर सर्जिकल प्रक्रिया के साथ जल्दी असर करने वाले एनेस्थीसिया का इस्तेमाल करते हैं, जैसे प्रोपोफॉल। ऐसे में एनेस्थीसिया इमरजेंसी के लिए बेहतर मेडिकल स्टाफ की जरूरत बढ़ गई है।
- एनेस्थीसिया से पहले मरीजों को 'बाइट द बुलेट' कहा जाता है। किसी घायल मरीज जैसे सैनिक से दर्दभरी सर्जरी करने के दौरान बाइट द बुलेट कहा जाता है। इसके अलावा मरीजों को चमड़े के स्ट्रैप्स, डंडा या फिर अन्य सामाना को जबड़े में दबाने को भी कह दिया जाता है।
- एनेस्थीसिया की वजह से अस्थायी एमनेशिया हो जाता है। यानी एनेस्थीसिया दिमाग के मेमोरी-लॉस रिसेप्टर को एक्टिवेट कर देता है, जो ये सुनिश्चित करता है कि मरीज को सर्जरी के बारे में कुछ भी याद ना रहे।
- इसके अलावा धूम्रपान करने वालों को धूम्रपान नहीं करने वालों के मुकाबले एनेस्थीसिया की अधिक डोज की जरूरत पड़ सकती है।