Attacks on Pakistani Leaders: इमरान से पहले भी पाकिस्तान में नेताओं पर होते रहे हैं जानलेवा हमले
Attacks on Pakistani Leaders: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री, इमरान खान पर घातक हमला हुआ है। वे वजीराबाद में एक रैली को संबोधित कर रहे थे, तभी अचानक से एक बंदूकधारी हमलावर ने गोलियां चलानी शुरू कर दी। इस हादसे में पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री के दाहिने पैर पर गोली लगी है।
पाकिस्तान में इस तरह की यह कोई पहली घटना नहीं है। वहां पिछले 7 दशकों में देश के प्रधानमंत्रियों, राष्ट्रपतियों सहित अन्य नेताओं पर ऐसे जानलेवा हमले हो चुके है। इन हमलों में कुछ तो बच गए लेकिन कई नेताओं की जान भी चली गयी।
लियाकत अली खान
पाकिस्तान के पहले प्रधानमंत्री लियाकत अली खान को रावलपिंडी में एक रैली को संबोधित करते हुए सीने में दो बार गोलियां मारी गयी थी। यह हमला 16 अक्टूबर 1951 को हुआ जिसमें उनकी मौत हो गयी।
खान अब्दुल जफ्फार खान
'सीमांत गाँधी' खान अब्दुल गफ्फार खान के भाई, खान अब्दुल जफ्फार खान की 9 मई 1958 को सिंध के अट्टा मोहम्मद में हत्या कर दी गयी थी। वे पश्चिमी पाकिस्तान प्रांत के मुख्यमंत्री रह चुके थे।
हुसैन शहीद सुहरावर्दी
हुसैन शहीद सुहरावर्दी का जन्म बंगाल के मिदनापुर में हुआ था। सितम्बर 1956 से अक्टूबर 1957 तक, वे पाकिस्तान के पांचवें प्रधानमंत्री रहे। 5 दिसम्बर 1963 को लेबनान के बेरूत शहर में उनका निधन हो गया। कहा जाता है कि उनके निधन की वजह दिल का दौरा थी। मगर कई ऐसे खबरें भी सामने आई है जिसमें कहा गया है कि उनका निधन एक राजनैतिक हत्या थी जोकि अयूब खान से उनके बिगड़ते रिश्तों के कारण की गयी थी।
जुल्फिकार अली भुट्टो
नौवें प्रधानमंत्री, जुल्फिकार अली भुट्टो की भी राजनैतिक हत्या की गयी थी। एक पाकिस्तानी नेता नवाब मुहम्मद अहमद खान कसूरी की हत्या के जुर्म में उन्हें फांसी की सजा सुनाई गयी थी। हालाँकि, पाकिस्तान की सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें इस सजा को उम्रकैद में बदलने का एक मौका भी दिया था। जिसके बाद भुट्टों के वकील पीरजादा ने तत्कालीन मार्शल लॉ प्रशासक मुहम्मद जिया-उल-हक से ऐसा करने का अनुरोध किया।
मगर जिया ने भुट्टों को जीवनदान देने से यह कहते हुए इनकार कर दिया कि जो अनुरोध पत्र मुझे भेजा गया वह कहीं गुम हो गया है। भुट्टो को जिया के इरादे समझ आ गए और फिर दुबारा उन्होंने अपनी फांसी को उम्रकैद में बदलवाने का कोई अनुरोध नहीं किया। आखिरकार 4 अप्रैल 1979 को रावलपिंडी में उन्हें फांसी दे दी गयी।
मुहम्मद जिया-उल-हक
पाकिस्तान के छठे राष्ट्रपति और तानाशाह, मुहम्मद मुहम्मद जिया-उल-हक की 17 अगस्त 1988 को एक हवाई दुर्घटना में मौत हो गयी। उनकी मौत की गुत्थी कभी नहीं सुलझ सकी। इसलिए जनरल जिया की मौत को संदिग्ध हत्या के रूप में भी देखा जाता है।
फजल हक
ख़ैबर पख़्तूनख़्वा के पूर्व मार्शल लॉ प्रशासक फजल हक़ की किसी अज्ञात हमलावर ने 3 अक्टूबर 1991 को पेशावर में गोली मारकर हत्या कर दी थी।
गुलाम हैदर वाईन
पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के पूर्व मुख्यमंत्री भी रह चुके, गुलाम हैदर वाईन की एक चुनावी रैली के दौरान 29 सितम्बर 1993 को हत्या कर दी गयी।
मीर मुर्तजा भुट्टो
जुल्फिकार अली भुट्टो के बेटे और राजनेता, मीर मुर्तजा भुट्टो की करांची में 20 सितम्बर 1996 को हत्या कर दी गयी थी।
हाकिम मोहम्मद सईद
पाकिस्तान के सिंध प्रान्त के पूर्व गवर्नर, हाकिम मोहम्मद सईद की करांची में 17 अक्टूबर 1998 को हत्या कर दी गयी थी।
परवेज मुशर्रफ
पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति और तानाशाह, परवेज मुशर्रफ पर कई बार जानलेवा हमले किये जा चुके है। पहला हमला साल 2000 में हुआ जिसमें मुशर्रफ बच गए। दूसरा हमला रावलपिंडी में 14 दिसंबर 2003 को हुआ लेकिन उन्हें निशाना बनाने के लिए जो बम लगाया गया था, वह उनकी कार में लगे जैमर के चलते नहीं फट सका। फिर इसी साल 25 दिसंबर को भी उन पर एक घातक जानलेवा हमला किया गया था, लेकिन मुशर्रफ को कोई नुकसान नहीं पहुंचा।
6 जुलाई 2007 को रावलपिंडी में मुशर्रफ के हवाईजहाज पर एसएमजी (SMG) मशीन से 36 राउंड फायर किये गए। इस बार भी मुशर्रफ को कोई चोट नहीं लगी। 3 अप्रैल 2014 को उन पर चौथा जानलेवा हमला किया गया था। यह हमला रावलपिंडी में हुआ। इस बार भी मुशर्रफ हमलें में बच गए।
जाम मोहम्मद यूसुफ
पाकिस्तान के बलूचिस्तान के मुख्यमंत्री रहे, जाम मोहम्मद यूसुफ पर भी 2 अगस्त 2003 को हत्या का प्रयास किया गया था।
शौकत अजीज
पाकिस्तान के 17वें प्रधानमंत्री शौकत अजीज पर अटक में 30 जुलाई 2004 को जानलेवा हमला हुआ। यह हमला उनकी एक चुनावी रैली के दौरान हुआ। वे इस हमलें में बच गए थे।
जिल-ए हुमा उस्मान
पंजाब में सोशल वेलफेयर मंत्री रहे जिल-ए हुमा उस्मान की गुजरांवाला में 20 फरवरी 2007 को हत्या कर दी गयी।
अफताब अहमद खान शेरपाओ
पाकिस्तान के इंटीरियर मिनिस्टर रह चुके अफताब अहमद पर तीन बार जानलेवा हमलें हो चुके है, पहला हमला 28 अप्रैल 2007 को हुआ। उस हमले में वे बच गए लेकिन 28 लोगों की जान चली गयी। दूसरा हमला दिसंबर 2007 को उन्हें निशाना बनाते हुए किया गया। इस हमले में भी वे बच गये मगर 57 लोगों की मौत हो गयी। तीसरा असफल हमला अप्रैल 2015 में हुआ।
बेनजीर भुट्टो
पाकिस्तान की दो बार प्रधानमंत्री रही बेनजीर भुट्टो की 27 दिसंबर 2007 को रावलपिंडी के उसी स्थान पर हत्या की गयी जहाँ पाकिस्तान के पहले प्रधानमंत्री लियाकत अली खान की हत्या हुई थी। उनके पिता जुल्फिकार अली भुट्टो की भी राजनैतिक हत्या की गयी थी और उनके भाई मुर्तजा भुट्टो की भी हत्या की गयी थी।
असफंदियार वाली खान
पाकिस्तानी पश्तून नेता, असफंदियार वाली खान पर 3 अक्टूबर 2008 को ईद के दिन जानलेवा हमला किया गया। हालाँकि, इस हमलें में वे बच गए।
हुसैन अली यौसफी
पाकिस्तानी बलूच नेता हुसैन अली योसफी की 26 जनवरी 2007 को हत्या कर दी गयी।
आलम जेब खान
पाकिस्तानी नेता आलम जेब खान की 11 फरवरी 2009 को पेशावर में एक रिमोट कंट्रोल ब्लास्ट से हत्या की गयी थी।
शफीक अहमद खान
पंजाब में जन्मे, बलूचिस्तान के एजुकेशन मिनिस्टर रहे शफीक अहमद खान की क्वेटा में 25 अक्टूबर 2009 को उनके घर के बाहर हत्या की गयी थी।
घनी-उर रहमान
नार्थ वेस्ट फ्रंटियर प्रोविंस के एजुकेशन मिनिस्टर घनी-उर रहमान को सड़क के किनारे 3 जनवरी 2010 को एक बम हमले में मार दिया गया था।
रजा हैदर
पाकिस्तानी नेता रजा हैदर की करांची में छह अज्ञात हमलावरों ने 1 अगस्त 2010 को गोली मार कर हत्या कर दी थी।
असीम अली कुर्द
बलूचिस्तान के वित्त मंत्री रहे असीम अली कुर्द को एक बम हमले में मारने की असफल कोशिश की गयी। यह हमला उनकी कार पर 10 सितम्बर 2010 को हुआ।
सलमान तासीर
4 जनवरी 2011 को पंजाब के गवर्नर सलमान तासीर की उनके अंगरक्षकों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी।
शाहबाज भाटी
पाकिस्तानी अल्पसंख्यक मंत्री शाहबाज भाटी की इस्लामाबाद में 2 मार्च 2011 को हत्या कर दी गयी।
बशीर अहमद बिलौर
ख़ैबर पख़्तूनख़्वा के नेता, बशीर अहमद की पेशावर में 22 दिसंबर 2012 को हत्या कर दी गयी। इससे पहले उनपर चार बार अफसल हमले भी किये जा चुके थे।
शुजा खानजादा
पाकिस्तान के पंजाब में होम मिनिस्टर रहे शुजा खानजादा पर 16 अगस्त 2015 को हमला किया गया। इस हमले में उनके साथ 21 अन्य लोगों की मौत हो गयी जिसमें उनके रिश्तेदार भी शामिल थे।
एहसान इकबाल चौधरी
पाकिस्तानी नेता, एहसान इकबाल पर मई 2018 में जानलेवा हमला हुआ लेकिन उन्हें तुरंत लाहौर ले जाया गया जहाँ उनकी सर्जरी के बाद जान बचाई गयी।
सिराज खान रैसानी
बलोच नेता, सिराज खान रैसानी की 13 जुलाई 2018 को एक घातक बम हमले में 131 लोगों के साथ हत्या कर दी गयी। इस हमले की जिम्मेदारी इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड लेवंत - Islamic State of Iraq and the Levant (आईएसआईएस) ने ली।
ख्वाजा इजरुल हसन
ईद के दिन 2 सितम्बर 2017 को ख्वाजा इजरुल हसन पर करांची में आतंकी संगठन अंसारुल शरिया पाकिस्तान ने हमला किया। इस हमलें में एक 13 वर्ष के बच्चे की मौत हो गयी। ख्वाजा, पाकिस्तान की सिंध असेम्बली में विपक्षी नेता रह चुके है।
सामी-उल-हक
बलूच नेता, सामी-उल-हक की इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड लेवंत द्वारा 13 जुलाई 2018 को हत्या कर दी गयी थी।
अकरम खान दुर्रानी
पाकिस्तान के हाउसिंग और वर्क्स मंत्री और ख़ैबर पख़्तूनख़्वा के मुख्यमंत्री, अकरम खान दुर्रानी पर साल 2018 में हमले कर जान लेने की असफल कोशिश की गयी।
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