पंजाब में शराब पॉलिसी पर सियासी घमासान, शिअद बोली- 500 करोड़ का हुआ है घोटाला
चंडीगढ़। पंजाब की शराब पॉलिसी पर सियासी बवाल तेज हो गया है। प्रदेश कांग्रेस पंजाब एक्साइज पॉलिसी-2022 की जांच के लिए आज गवर्नर से मिलेगी। इसकी अगुआई पंजाब प्रधान अमरिंदर राजा वड़िंग करेंगे। इससे पहले अकाली दल भी शराब पॉलिसी को 500 करोड़ का घोटाला बता चुका है। प्रधान सुखबीर बादल की अगुआई में अकाली नेता गवर्नर से मिले। उनसे पॉलिसी की CBI और ED से जांच की मांग की गई। सुखबीर बादल की अगुआई में अकाली नेताओं ने कल गवर्नर को पॉलिसी की जांच के लिए मांग पत्र सौंपा। सुखबीर लगातार दावा कर रहे कि इसमें करोड़ों का घोटाला हुआ।
विरोधियों
का
तर्क,
दिल्ली
और
पंजाब
की
पॉलिसी
एक
जैसी
असल
में
पंजाब
में
विरोधी
तर्क
दे
रहे
कि
दिल्ली
और
पंजाब
की
शराब
पॉलिसी
एक
जैसी
है।
दिल्ली
में
इसके
खिलाफ
CBI
ने
केस
दर्ज
किया।
जिसमें
डिप्टी
सीएम
मनीष
सिसोदिया
को
भी
नामजद
किया
गया
है।
हालांकि
दिल्ली
सरकार
इस
पॉलिसी
को
वापस
ले
चुकी
है।
विरोधी
कह
रहे
कि
जब
वहां
इस
पॉलिसी
में
कथित
तौर
पर
घपला
हुआ
तो
पंजाब
में
भी
इसकी
जांच
होनी
चाहिए।
सुखबीर
बादल
ने
किए
थे
यह
दावे
सुखबीर
बादल
ने
कहा
कि
दिल्ली
और
पंजाब
एक्साइज
पॉलिसी
एक
ही
टीम
ने
बनाई।
पंजाब
में
पहले
शराब
के
100
होलसेलर
होते
थे।
ठेके
वाले
अपनी
च्वाइस
से
सस्ती
शराब
खरीदते
थे।
आप
सरकार
ने
सिर्फ
2
ही
होलसेलर
बनाए।
उनके
पास
भी
अलग-अलग
ब्रांड
हैं।
होलसेलर
के
लिए
3
साल
में
लगातार
30
करोड़
का
टर्नओवर
की
शर्त
लगा
पंजाब
के
लोकल
कारोबारी
बाहर
निकाल
दिए।
जो
दिल्ली
में
होलसेलर
हैं,
पंजाब
में
भी
उनके
पास
ही
यह
काम
है।