रूसी वैक्सीन 'स्पूतनिक-वी' अडवांस ट्रायल के लिए तैयार, मॉस्को के लोगों को बुलाया गया
मॉस्को। रूस द्वारा विकसित की गई वैक्सीन 'स्पूतनिक-वी' के पंजीकरण के बाद इसके ट्रायल को अनुमति मिल गई है। अडवांस ट्रायल में शामिल होने के लिए बुधवार को मॉस्को के लोगों को बुलाया गया है। बता दें कोरोना वायरस के खिलाफ बनाई गई दुनिया की इस पहली वैक्सीन को सरकार से मंजूरी मिलने के बाद इसपर विशेषज्ञों ने कई तरह के सवाल भी उठाए थे। उन्होंने कहा था कि वैक्सीन को समुचित परीक्षण के बिना ही मंजूरी दी गई है और वैक्सीन विकसित करने की रेस में रूस खुद को आगे रखने के चक्कर में मानकों से समझौता कर रहा है।
अब रूस की राजधानी मॉस्को के मेयर सर्जियो सोबियानिन ने घोषणा की है कि वैक्सीन को लेकर जो ट्रायल होगा वो छह महीने तक चलेगा और इसमें 40 हजार लोग शामिल होंगे। उन्होंने लोगों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि वैक्सीन लंबे समय तक हुए पिछले शोध पर आधारित है और सुरक्षित साबित हुई है। हम सभी वैक्सीन के निर्माण को देखने के लिए उत्सुक थे और अब वह हमारे पास है। उन्होंने आगे कहा, अब मॉस्को के लोगों के पास क्लिनिकल रिसर्च में मुख्य भागीदार बनने का एक अनोखा मौका है जो कोरोना वायरस को हराने में मदद करेगा।
वहीं बीते हफ्ते विश्व स्वास्थ्य संगठन के वैज्ञानिकों ने कहा था कि बेशक उन्होंने वैक्सीन को लेकर रूस से बात की है लेकिन उन्हें अभी तक विस्तृत जानकारी नहीं दी गई है। इससे पहले 11 अगस्त को वैक्सीन को मंजूरी मिलने की घोषणा करते हुए रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कहा था कि उनकी दो बेटियों में से एक को वैक्सीन दी गई है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन आवश्यक परीक्षणों से गुजरी है और कोरोनो वायरस को हराने के लिए प्रतिरक्षा प्रणाली मजबूत कर रही है। हालांकि रूसी अधिकारियों ने ऐसी कोई जानकारी साझा नहीं की है जो इस दावे का समर्थन कर सके कि वैक्सीन सुरक्षित और प्रभावी है।
वहीं पुतिन ने कहा था कि रूस में वैक्सीनेशन स्वैच्छिक आधार पर होना चाहिए। हर किसी पर प्रतिरक्षण के लिए दबाव नहीं डाला जाना चाहिए। रूस के गमलेया रिसर्च इंस्टिट्यूट (Gamaleya Research Institute) द्वारा विकसित वैक्सीन के बारे में जानकारी देते समय ही राष्ट्रपति ने बताया था कि वह इस वैक्सीन को तैयार करने के काम में लगे हर शख्स का शुक्रिया अदा करना चाहते हैं। यह पूरी दुनिया के लिए एक अहम पल है। आपको बता दें रूस में कोरोना वायरस के कुल 975,576 मामले सामने आए हैं और अभी तक 16,804 लोगों की मौत हो गई है। यहां वायरस से 792,561 लोग ठीक हुए हैं, जबकि 166,211 मामले सक्रिय हैं।
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