चीन बोला, हमारी करेंसी चलाओ, पाकिस्तान का जवाब- ये तो खतरनाक है!
इस्लामाबाद। चाइना-पाकिस्तान इक्नॉमिक कॉरिडोर (CPEC) में चीनी करेंसी को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। एक ओर इस प्रोजेक्ट में करोड़ों बहाने वाला चीन चाहता है कि सीपेक प्रोजेक्ट के तहत आने वाले ग्वादर फ्री जोन में चीन की करेंसी युआन का इस्तेमाल किया जाए। लेकिन उसके साथ दोस्ती की कसमें खाने वाले पाकिस्तान ने एक झटके में उसकी इस मांग को ठुकरा दिया। पाकिस्तान का कहना है कि यह उसकी आर्थिक संप्रभुता के लिए खतरा है इसलिए मैं इस मांग को मंजूर नहीं कर सकता । इससे ठीक एक दिन पहले चीन ने पाकिस्तान को यह कहते हुए करारा झटका दिया था कि सीपेक में भारतीय खुफिया एजेंसियां कोई साजिश नहीं कर रही हैं। पाकिस्तान ने भारत पर आरोप लगाया था कि RAW 500 मिलियन डॉलर खर्च कर सीपेक को बर्बाद करने की साजिश रच रहा है।
जानकारी के मुताबिक चीन अपनी नई चाल के अनुसार मुद्रा के आधिकारिक नाम रेनमिनबी (आरएमबी) को अंतरराष्ट्रीयकरण करने की अपनी नीति के तहत पाकिस्तान में अपनी मुद्रा शुरू करना चाहता है। लेकिन पाकिस्तान चीनी मुद्रा विनिमय का जोखिम उठाने को तैयार नहीं था। पाकिस्तान नेचीन से कहा था कि वह 60 अरब डॉलर के CPEC प्रॉजेक्ट से इस डैम प्रॉजेक्ट को बाहर रखे और इसे पूरी तरह पाकिस्तान को ही बनाने दे। पाकिस्तान अमेरिकी डॉलर का उपयोग व पाकिस्तानी रूपयों को लगाने के लिए तैयार है।
वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक में रिपोर्ट में कहा गया कि रेनमिनबी के उपयोग का पाकिस्तान का विरोध अपने वित्त मंत्रालय और पाकिस्तान के स्टेट बैंक से आया था। जिसके बाद ही पाकिस्तान ने कहा कि वो रेनमिनबी का प्रयोग अपने देश में सीपीईसी प्रोजेक्ट के जरिए नहीं करना चाहता है। पाकिस्तान ने चीन के अधिकारियों को अपने फैसले के बारे में सूचित कर दिया है। पाक अधिकारियों ने साफ कहा है कि हमारी सरजमीं पर विदेशी मुद्रा का इस्तेमाल करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। चीन, पाकिस्तान पर दबाव बना रहा था कि वो उसकी मुद्रा की मांग को स्वीकार करे और इसे दीर्घकालिक योजना (2014-2030) के अंतिम मसौदे का हिस्सा बनाये।