सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना से मरने वालों के परिवारों को कोविड मुआवजे के लिए समयसीमा तय की
सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना से मरने वालों के परिवारों को कोविड मुआवजे के लिए समयसीमा तय की
नई दिल्ली, 11 अप्रैल: सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना से मरने वालों के परिवारों को कोविड मुआवजे के लिए समयसीमा तय की है। केंद्र ने सोमवार को कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने 24 मार्च को दिए एक आदेश में कोविड -19 मौतों के मुआवजे के दावे दायर करने के लिए समय सीमा निर्धारित की है।
जिसमें 20 मार्च से पहले हुई मौतों के लिए, 60 दिनों के भीतर परिवार वालों को दावा दायर किया जाना आवश्यक है, जबकि भविष्य में किसी भी मौत के लिए, क्लेम फाइल करने के लिए 90 दिनों का समय दिया गया है। दावों को संसाधित करने और दावे की प्राप्ति की तारीख से 30 दिनों की अवधि के भीतर मुआवजे का वास्तविक भुगतान करने के लिए पहले के आदेश को लागू किया जाना जारी रहेगा।
स्पेशल केस के लिए दिया ये आदेश
वहीं सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में ये भी कहा है अत्यधिक कठिनाई के मामले में जहां कोई दावेदार निर्धारित समय के भीतर आवेदन नहीं कर सकता है, दावेदार के लिए शिकायत निवारण समिति से संपर्क करने और पैनल के माध्यम से दावा करने के लिए खुला होगा, जिस पर विचार किया जाएगा। सरकार ने कहा कि मामले के आधार पर, और यदि समिति द्वारा यह पाया जाता है कि एक विशेष दावेदार निर्धारित समय के भीतर दावा नहीं कर सकता है, तो योग्यता के आधार पर विचार किया जा सकता है।
फर्जी दावा करने वालों के खिलाफ हो सकती है ये कारईवाई
शीर्ष अदालत ने यह भी निर्देश दिया कि फर्जी दावों के जोखिम को कम करने के लिए पहली बार में दावा अप्लीकेशन में से 5 प्रतिशत की random scrutiny जांच की जाएगी। यदि यह पाया जाता है कि किसी ने फर्जी दावा किया है, तो उस पर डीएम अधिनियम, 2005 की धारा 52 के तहत विचार किया जाएगा और उसके अनुसार दंडित किया जा सकता है।
कोरोना के ताजा आंकड़े
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि 861 ताजा मामलों के साथ, भारत का कोविड -19 टैली 4,30,36,132 हो गया है, जबकि बीमारी के कारण मरने वालों की संख्या 5,21,691 हो गई है। संक्रमण के सक्रिय मामलों की संख्या और कम होकर 11,058 हो गई है।
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