अजमेर-सियालदह ट्रेन हादसा: कानपुर के पास एक महीने में दूसरा ट्रेन हादसा
पिछले महीने की 20 तारीख को कानपुर के पास ही पुखरायां में एक बड़ा रेल हादसा हुआ था, जिसमें करीब 142 लोगों की मौत हो गई थी।
कानपुर। बुधवार की सुबह उन यात्रियों के लिए मुसीबत बनकर आई जो कि 12988 अजमेर-सियालदह ट्रेन से यात्रा कर रहे थे। आज सुबह 5:30 बजे सियालदह-अजमेर एक्सप्रेस के 15 डिब्बे पटरी से उतर गए और जिसके बाद एक भयंकर हादसा हुआ है। अधिकारिक तौर पर तो अभी तक 2 लोगों के मौत की खबर है और 28 लोग घायल बताए जा रहे हैं लेकिन ये आंकड़ा अभी बढ़ भी सकता है।
20 नवंबर को हुआ था बड़ा रेल हादसा
अभी पिछले महीने की 20 तारीख को कानपुर के पास ही पुखरायां में एक बड़ा रेल हादसा हुआ था, जिसमें करीब 142 लोगों की मौत हो गई थी। ये हादसा इंदौर-पटना इंटरसिटी ट्रेन के 14 डिब्बों के पटरी से उतरने से हुआ था।
142 लोगों की मौत
इस हादसे में शिकार लोगों के आंसू शायद अभी सूखे भी नहीं होंगे कि एक बार फिर से आज सुबह ऐसी ही तस्वीर देखने को मिली है, जिसने रेलवे विभाग की सारी पोल खोल दी है। भारतीय रेल अपने मुसाफिरों की सुरक्षा को लेकर कितनी गंभीर है, इसका ताजा प्रमाण आज सुबह का ये हादसा है।
कहां है कमी?
- आजादी के इतने सालों बाद भी भारतीय रेल अभी भी ब्रिटिश काल के इंफ्रास्टक्चर पर चल रही है।
- बढ़ती जनसंख्या और ट्रेनों की संख्या के कारण पटरियों पर रेलवे ट्रैफिक का दबाव बढ़ रहा है जिसे जरूरत के हिसाब से अपग्रेड नहीं किया जा रहा है।
- रेलले के मूलभूत ढांचे में बदलाव की जरूरत है लेकिन उसकी तरफ विभाग की कोशिशें ना के बराबर ही दिखती हैं।
- सिग्नलिंग सिस्टम में चूक और एंटी कॉलीजन डिवाइसेज की कमी से भी आए दिन हादसे होते रहते हैं।