14 साल के बच्चे ने की 4 कैदियों की मदद, प्रतियोगिता में जीती राशि से भरा उनका जुर्माना
14 साल के एक बच्चे ने 4 कैदियों को जेल से रिहा कराने का फैसला लिया है। ये बच्चा भोपाल सेंट्रल जेल में अपनी सजा काट रहे 4 कैदियों का जुर्माना भरेगा जिससे इनकी सजा खत्म हो जाए। भोपाल का रहने वाला आयुष किशोर अलग-अलग प्रतियोगिता को जीतक जोड़ी हुई धनराशि से इन कैदियों का जुर्माना भरेगा।
भोपाल। 14 साल के एक बच्चे ने 4 कैदियों को जेल से रिहा कराने का फैसला लिया है। ये बच्चा भोपाल सेंट्रल जेल में अपनी सजा काट रहे 4 कैदियों का जुर्माना भरेगा जिससे इनकी सजा खत्म हो जाए। भोपाल का रहने वाला आयुष किशोर अलग-अलग प्रतियोगिता को जीतक जोड़ी हुई धनराशि से इन कैदियों का जुर्माना भरेगा। आयुष ने देश और दुनिया में कई प्रतियोगिताएं जीती हैं और देश के राष्ट्रपति के हाथों 'नेशनस चाइल्ड अवॉर्ड फॉर एक्सेपशन्ल अचीवमेंट' सम्मान भी पा चुके हैं।
भोपाल के रहने वाले आयुष किशोर की मदद की बदौलत 4 कैदी इस गणतंत्र दिवस वापस अपने घर लौट पाएंगे। आयुष किशोर ने भोपाल जेल के 4 कैदियों की आर्थिक मदद करने का फैसला लिया है। 10 साल से ज्यादा का समय जेल में बिता चुके 4 कैदियों का बकाया जुर्माना आयुष भरेगा। डिप्टी जेल अधीक्षक पीडी श्रीवास्तव ने बताया कि आयुष ने प्राइज में मिले पैसों से चारों की मदद करने का फैसला लिया है। 'हालात कुछ को अपराधी बना देते हैं। अब वो काफी बदल चुके हैं। कुछ को तो उनके अच्छे व्यवहार के लिए पहले ही छोड़ा जा रहा है।'
आयुष की मां विनीता मालविय पुलिस ऑफिसर हैं और आयुष उनसे अक्सर जेल के बारे में पूछता रहता है। 30 अक्टूबर, 2016 को भोपाल जेल ब्रेक का आयुष पर गहरा असर पड़ा था। आयुष की मां का कहना है, 'भोपाल जेल ब्रेक का आयुष पर काफी असर पड़ा था। उसे राष्ट्रपति से अवॉर्ड में 10,000 रुपये और स्कूल से 28,000 रुपये कैश मिला था। वो मुझसे जेल और कैदियों की जिंदगी के बारे में काफी सवाल करता रहता है। वो उनके लिए कुछ करना चाहता है।'
खुद आयुष ने कहा, 'मेरी मां बताती हैं कि कुछ कैदी बहुत गरीब होते हैं। वो जेल में सालों तक काम करते हैं और उससे अपना जुर्माना भरते हैं। वहीं कुछ तो इतने गरीब होते हैं कि अपनी आजादी के लिए 2000 रुपये भी नहीं दे पाते। मैंने ऐसे कैदियों की मदद करने क फैसला लिया है।'
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