Rakesh Tikait ने कहा, Azamgarh Airport के लिए जबरदस्ती भूमि नहीं ले सकती सरकार
आजमगढ़ पहुंचे किसान नेता Rakesh Tikait ने कहा कि Azamgarh Airport के लिए किसानों की जमीनों को सरकार जबरदस्ती अधिग्रहित नहीं कर सकती है, उन्होंने यह भी कहा कि इसके लिए आंदोलन करना होगा
Azamgarh Airport के लिए किए जाने वाले भूमि अधिग्रहण के खिलाफ किसानों का धरना 28 दिन भी जारी है। धरना रथ किसानों का समर्थन करने के लिए बुधवार को भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत भी आजमगढ़ के जमुआ में पहुंचे। राकेश टिकैत ने कहा कि आजमगढ़ एयरपोर्ट के लिए किसानों की भूमि जबरदस्ती सरकार नहीं ले सकती है। उन्होंने यह भी कहा कि किसान प्रशासन और नेताओं के बहकावे में ना आए। जमीन बेचकर कोई किसान आबाद नहीं हुआ है, जमीन बेचकर किसान बर्बाद ही होते हैं।
विपक्ष के नेताओं को देना चाहिए सहयोग
राकेश टिकैत ने कहा कि भूमि अधिग्रहण के खिलाफ किसानों द्वारा धरना प्रदर्शन किया जा रहा है ऐसे में विपक्ष का स्थानीय नेताओं को भी किसानों के सहयोग में उतरना चाहिए। उन्होंने यह भी कहा कि यदि स्थानीय लोगों द्वारा आंदोलन को धार दिया जाएगा तो हम किसानों के साथ आने के लिए तैयार हैं और किसानों के हित में एक बड़ा आंदोलन किया जाएगा। राकेश टिकैत ने कि सरकार द्वारा यदि किसानों की भूमि को अधिग्रहण कर लिया जाएगा तो यहां पर आने वाले किसान कहां जाएंगे।
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जनतंत्र को कुचलने का काम कर रही सरकार
यह भी बता दें कि आजमगढ़ के जमुआ में पिछले 28 दिनों से किसानों के द्वारा धरना प्रदर्शन किया जा रहा है। किसानों का कहना है कि वह अपनी जान दे देंगे लेकिन अपनी जमीन को एयरपोर्ट में नहीं जाने देंगे। किसानों के साथ ही उनके घर की महिलाएं और बच्चे भी इस धरना प्रदर्शन में शामिल हैं। मंगलवार को जन आंदोलन नेता मेघा पाटेकर ने भी जमुआ गांव में पहुंचकर किसानों के समर्थन में धरना प्रदर्शन किया था। मेधा पाटेकर द्वारा किसानों का समर्थन किया गया और उन्होंने कहा कि यह सरकार जनतंत्र को कुचलने का काम कर रही है। यह भी बता दें कि इसके पूर्व किसानों के समर्थन में हरियाणा और उत्तराखंड के किसान भी धरना प्रदर्शन में शामिल होने के लिए आ चुके हैं।
अधिग्रहण की जद में आ जाएंगे 784 घर
किसानों का कहना है कि आजमगढ़ एयरपोर्ट के लिए पहले से हवाई पट्टी बनी हुई है उसी पर एयरपोर्ट का निर्माण कराया जाए। सरकारी आंकड़े बताते हैं कि आजमगढ़ एयरपोर्ट के लिए अधिग्रहीत की जाने वाली जमीन की जद में 784 घर आएंगे। वहीं किसानों का कहना है कि यह आंकड़े झूठे हैं अधिग्रहण किए जाने पर 40 हजार से अधिक आबादी और 3 हजार से अधिक घर अधिग्रहण की जद में आ जाएंगे। ऐसे में किसानों का कहना है कि किसी भी कीमत पर वे अपनी जमीन और अपने घर को नहीं छोड़ सकते हैं। किसानों द्वारा यह भी कहा जा रहा है कि चुनाव के दौरान सरकार द्वारा लोगों को घर दिए जाने का आश्वासन दिया जाता है, लेकिन यहां सरकार लोगों को घर से बेघर करने पर तुली हुई है।
आजमगढ़ पहुंचे किसान नेता @RakeshTikaitBKU बोले- एयरपोर्ट के लिए किसानों की जमीन जबरदस्ती अधिग्रहित नहीं की जा सकती। pic.twitter.com/6STPJlXiJH
— Pravin Kumar Yadav (@PravinNews) November 9, 2022