उत्पादन बढ़ाने के लिए कृषि क्षेत्र के बजट पर जोर देगी आंध्र प्रदेश सरकार
सब्सिडी के तहत बीज वितरण के लिए 200 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई है सीएचसी को किसान ड्रोन की आपूर्ति इसी साल शुरू हो जाएगी।
आंध्र प्रदेश के कृषि मंत्री काकानी गोवर्धन रेड्डी ने गुरुवार को 41,436.29 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ 2023-24 के लिए कृषि बजट पेश किया। हालांकि यह तुलनात्मक रूप से पिछले बजट परिव्यय 43,052.78 करोड़ रुपये से कम है।
उन्होंने कहा, 'आंध्र प्रदेश की कृषि और संबद्ध क्षेत्रों में विकास दर पिछले दो वर्षों में राष्ट्रीय औसत से अधिक है। राज्य ने 2021-22 में 10% के राष्ट्रीय औसत के मुकाबले 13.7% की वृद्धि दर दर्ज की थी। बाद के वित्तीय वर्ष (2022-23) में, राज्य ने 11.20% के राष्ट्रीय औसत के मुकाबले 13.18% की विकास दर हासिल की है।
कृषि मंत्री के मुताबिक, सरकार ने पिछले 44 महीनों में कृषि और इससे जुड़े क्षेत्रों पर 1.54 लाख करोड़ रुपये खर्च किए हैं। वाईएस जगन मोहन रेड्डी सरकार द्वारा शुरू किए गए रयथू भरोसा केंद्र (आरबीके), किसानों की सभी जरूरतों के लिए बीज से लेकर उनके अपने गांव में उपज के विपणन तक के लिए एक समाधान, ग्रामीण अर्थव्यवस्था में गेम चेंजर साबित हुए हैं। राज्य में 10,778 आरबीके को मजबूत करने के लिए 41.55 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई थी। 2022-23 के लिए एफएओ चैंपियन पुरस्कार के लिए नामांकन में आरबीके को सूचीबद्ध किया गया है।
इसके अलावा, वित्त वर्ष 2023-24 के लिए वाईएसआर सुन्ना वड्डी पंटा रुनालू योजना (ब्याज मुक्त फसल ऋण) को लागू करने के लिए 500 करोड़ रुपये का प्रस्ताव है। सब्सिडी के तहत बीज वितरण के लिए 200 करोड़ रुपये की राशि आवंटित की गई है। सीएचसी को किसान ड्रोन की आपूर्ति इसी साल शुरू हो जाएगी।
ड्रोन किसानों को इनपुट लागत पर खर्च का 25% बचाने में मदद कर सकते हैं। हम चरणबद्ध तरीके से 10,000 किसान ड्रोन पेश करने की योजना बना रहे हैं। पहले चरण में 2,000 ड्रोन पेश किए जाएंगे और इसके लिए 80 करोड़ रुपये का प्रस्ताव किया गया है। जैसा कि 2023 को अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष घोषित किया गया है, सरकार ने बाजरा संवर्धन नीति के तहत आने वाले पांच वर्षों में पांच लाख एकड़ में बाजरा की खेती को बढ़ावा देने का निर्णय लिया है।