सरकार ने कहा- 18 साल से ऊपर के लोगों को वैक्सीन लगवाने के लिए अब यहां बुकिंग करानी होगी
चंडीगढ़। 18 साल से ऊपर के लोगों को वैक्सीन लगवाने के लिए कोविड ऐप पर अपना रजिस्ट्रेशन कराना होगा। ऐसा करने के साथ-साथ बुकिंग भी करवानी होगी, क्योंकि बुकिंग कराने पर ही इस बात की सटीक जानकारी मिल सकेगी कि उन्हें किस सेंटर पर कितने बजे वैक्सीनेशन के लिए जाना है। हरियाणा के स्वास्थ्य विभाग की ओर से कहा गया है कि, सरकार की इस पहल का मकसद एक वैक्सीनेशन सेंटर पर भीड़ को एकत्रित होने से रोकना है।
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी ने विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि, रजिस्ट्रेशन से साइट पर सिर्फ लोगों का व्यक्तिगत विवरण दर्ज होता है और उन्हें आईडी एवं पासवर्ड जारी किया जाता है। लेकिन बुकिंग कराने से वैक्सीनेशन के लिए उपलब्ध सबसे निकटवर्ती केंद्र और संबंधित व्यक्ति के लिए टीकाकरण हेतु निर्धारित अवधि की सटीक जानकारी मिलती है। उन्होंने कहा कि "कोविशिल्ड और कोवैक्सीन दोनों स्वदेशी वैक्सीन हैं जो पूरी तरह सुरक्षित हैं।"
अधिकारी ने कहा, "वैक्सीन लगने के बाद आने वाला बुखार या हरारत सामान्य लक्षण हैं, जिनसे घबराने की कतई जरूरत नहीं है। टीके के प्रभाव हर व्यक्ति पर अलग-अलग देखने को मिल सकते हैं। कोविशील्ड की दो खुराकों के बीच अंतर को बढ़ाकर अब 12 से 16 हफ्ते इसलिए किया गया है क्योंकि विदेशों में इसके बेहतर परिणाम देखे गए हैं। कोवैक्सीन की दो खुराकों के बीच का अंतर अब भी 4 हफ्ते ही है। उन्होंने बताया कि टीकाकरण की शुरुआत में इसके प्रति लोगों में काफी उदासीनता थी। लोग टीकों को संदेह की नजरों से देख रहे थे, लेकिन अब टीकाकरण के प्रति लोगों का नजरिया बदला है और 18 से 44 साल तक के आयु वर्ग के लोग टीकाकरण में बढ़-चढकऱ भाग ले रहे हैं।"
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी ने बताया कि राज्य सरकार ने कोविड के खिलाफ व्यापक अभियान छेडऩे का फैसला किया है। इसके तहत अगले 10 दिनों के भीतर प्रदेश के सभी गांवों के सभी लोगों की कोविड स्क्रीनिंग की जाएगी। प्रदेश-भर में यह काम स्वास्थ्य विभाग के करीब आठ हजार कर्मियों की टीमों द्वारा किया जाएगा, जो गांवों में कोविड संक्रमण की स्थिति का जायजा लेंगी। इसी रिपोर्ट के आधार पर रोकथाम के लिए कदम उठाए जाएंगे। इसके अलावा, गांवों में लोगों की आवाजाही को नियंत्रित करने के लिए फिर से ठीकरी पहरा लगाने के आदेश जारी किए गए हैं।
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स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी ने बताया कि सरकार मरीजों को डोर-टू-डोर ऑक्सीजन उपलब्ध कराने के लिए संकल्पबद्ध है। इसके अलावा, वैक्सीन की मांग को पूरा करने के मकसद से सरकार ने ग्लोबल टेंडर आमंत्रित कर इसका विदेशों से आयात करने का फैसला किया है।