UP Election 2022: जयंत चौधरी को डिप्टी सीएम बनाने का वादा करें, जाट महासभा की BJP से शर्त
नई दिल्ली, 27 जनवरी: बुधवार को केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने दिल्ली में जाट समाज के बड़े नेताओं के साथ एक बैठक की थी। इसमें उन्होंने बीजेपी से समाज की जो भी नाराजगी है,जानकारी के मुताबिक उसे दूर करने की भरपूर कोशिश की थी। इस बैठक के बाद पार्टी की ओर से यहां तक का गया था कि उसका दरवाजा आरएलडी नेता जयंत चौधरी के लिए खुला हुआ है। हालांकि, खुद जयंत चौधरी ने एक ट्वीट करके इसे खारिज कर दिया था। लेकिन, गुरुवार को यूपी जाट महासभा के अध्यक्ष ने बीजेपी से जयंत चौधरी को उपमुख्यमंत्री बनाने का वादा करने पर समर्थन देने की बात कह दी है।

प्रदेश जाट महासभा के अध्यक्ष ने दिया ऑफर
उत्तर प्रदेश जाट महासभा के अध्यक्ष अनिल चौधरी ने अंग्रेजी न्यूज चैनल टाइम्स नाउ से बातचीत में भाजपा को पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जाट समाज का समर्थन पाने के लिए बहुत बड़ा ऑफर दिया है। उन्होंने कहा है कि अगर बीजेपी राष्ट्रीय लोक दल के प्रमुख जयंत चौधरी को उपमुख्यमंत्री बनाने का वादा करती है तो सारे जाट यूपी चुनाव में बीजेपी के पक्ष में एकजुट हो सकते हैं। उन्होंने कहा है कि बीजेपी ने करीब 21 जाट उम्मीदवारों को टिकट दिया है और आरएलडी से जो लड़ रहे हैं, सबको साथ लिया जा सकता है। उन्होंने बुधवार को दिल्ली में करीब 250 कद्दावर जाट नेताओं के साथ गृहमंत्री अमित शाह की बैठक को लेकर कहा है कि 'अच्छा है कि हमारे जाट बंधुओं को समझा रहे हैं।'

जयंत को उपमुख्यमंत्री घोषित करें- प्रदेश जाट महासभा अध्यक्ष
प्रदेश जाट महासभा के नेता का साफ कहना है कि अगर बीजेपी को पश्चिमी यूपी में हमेशा उनकी बिरादरी का समर्थन चाहिए तो जयंत को सम्मानजनक जगह देकर साथ में लाना होगा। सम्मानजनक जगह मिलने के बाद कोई दिक्कत नहीं होगी। उन्होंने साफ कहा, "हमारी मांग ये है कि जयंत चौधरी को उचित प्रतिनिधित्व मिलना चाहिए उत्तर प्रदेश में, उन्हें उपमुख्यमंत्री पश्चिम की तरफ से घोषित कर दें तो जाटों के बारे में जो दिक्कत आ रही है, वो सारे एकजुट हो जाएंगे।" इसके साथ ही उन्होंने केंद्र में जाटों के आरक्षण के मुद्दे को भी उठाने की कोशिश की, लेकिन उसे चुनाव के लिए शर्त में शामिल नहीं किया है। बुधवार को अमित शाह के साथ उस बैठक में शामिल भाजपा सांसद परवेश वर्मा ने कहा था कि इस संबंध में जाट समाज के लोग जयंत से बात करेंगे और उनके लिए बीजेपी का दरवाजा हमेशा खुला हुआ है।

जयंत चौधरी ने भाजपा का ऑफर ठुकराया है
जानकारी के मुताबिक इससे पहले गृहमंत्री अमित शाह ने बैठक में जाट नेताओं से कहा था कि जयंत चौधरी ने गलत रास्ता (समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन करके) चुन लिया है। उन्होंने चुनाव के बाद की विभिन्न संभावनाओं की बात कही थी और संकेत दिया था कि वह जयंत चौधरी का स्वागत करने के लिए तैयार हैं। यह बैठक भाजपा सांसद और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा के सांसद बेटे परवेश साहिब सिंह वर्मा के घर पर हुई थी। हालांकि, भाजपा की ओर से वह ऑफर मिलते ही जयंत चौधरी ने ट्विटर का इस्तेमाल करके लिखा था, "न्योता मुझे नहीं, उन +700 किसान परिवारों को दो, जिनके घर आपने उजाड़ दिए!!"

भाजपा की ओर से लगातार चल रही है कोशिश
गौरतलब है कि इस विधानसभा चुनाव में आरएलडी ने समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन किया है। गठबंधन को उम्मीद है कि वह पश्चिमी उत्तर प्रदेश में इस बार सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी को कड़ी टक्कर देगा। वैसे बीजेपी के नेता ये भी कह रहे हैं कि किसान आंदोलन से बीजेपी की जीत प्रभावित नहीं होगी। लेकिन, जिस तरह से बीजेपी की ओर से किसान आंदोलन की वजह जाटों के एक वर्ग में नाराजगी को दूर करने की पहल शुरू हुई है और उसके बाद समाज की ओर से भी जिस तरह से सकारात्मक संकेत मिल रहे हैं, उससे चुनावी समीकरण दिलचस्प मोड़ लेता जा रहा है। यूपी में 10,14,20,23,27 फरवरी और 3 एवं 7 मार्च को चुनाव होंगे और वोटों की गिनती 10 मार्च को होगी।