बेंगलुरु की वैज्ञानिक इंटरनेशनल क्रिकेट में कर रही है कमाल, 4 गेंदों में ले चुकी हैं 4 विकेट
नई दिल्ली, 8 जून: हम इंटरनेशनल क्रिकेट में ऐसे खिलाड़ियों के नाम नहीं बता पाएंगे जिन्होंने हैट्रिक लगाई है। हम कुछ मुख्य चुनिंदा खिलाड़ियों को ही याद रख पाएंगे क्योंकि क्रिकेट के इतिहास में तीनों प्रारूपों में अभी तक बहुत सारी हैट्रिक हो चुकी है। लेकिन जब बात 4 गेंदों पर 4 विकेट लेने की आती है तो हमारे दिमाग में लसिथ मलिंगा की तस्वीर कौंध सी जाती है फिर हमें अफगानिस्तान के लेग स्पिनर राशिद खान का भी नाम याद आता है। सच यह है कि अभी तक 5 खिलाड़ियों ने 4 गेंदों पर 4 विकेट चटकाए हैं जिसमें एक महिला खिलाड़ी भी शामिल है।
भारतीय मूल की हैं जर्मन टीम के कप्तान
निश्चित तौर पर इस महिला क्रिकेटर का नाम तो बहुत ही कम लोगों को पता होगा। यह महिला क्रिकेटर भारतीय मूल की है लेकिन जर्मनी से खेलती हैं और जर्मन टीम के कप्तान भी है। यह है अनुराधा डोडाबल्लापुर जिन्होंने ऑस्ट्रिया के खिलाफ एक T20 इंटरनेशनल गेम में 4 गेंदों पर 4 विकेट चटकाए थे और पहली ऐसी महिला बनकर इतिहास भी रच दिया था। वह मुकाबला अगस्त 2020 में हुआ था। खास बात यह है उस मैच में 4 गेंदों पर आउट होने वाली तीन बल्लेबाज बोल्ड हुई थी।
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अनुराधा के तार भारत से जुड़े हैं
अनुराधा के तार भारत से जुड़े हैं, वह बेंगलुरु में पैदा हुई हैं और उनकी क्रिकेट यात्रा भी गैर परंपरागत श्रेणी में ही आती है। भारत के बच्चे क्रिकेट को बहुत पसंद करते हैं और अनुराधा भी अपवाद नहीं थीं, उन्होंने गलियों में क्रिकेट खेला और टीवी पर भी पुरुषों का काफी क्रिकेट देखा। अनुराधा को क्रिकेट का शौक बिशप कॉटन गर्ल्स स्कूल में लगा और वह इस खेल के प्रति गंभीर हो गई। कर्नाटक महिला क्रिकेट एसोसिएशन के एक ट्रेनिंग ग्रुप में भी अनुराधा ने हिस्सा लिया यात्रा आगे चलकर उनको कर्नाटक के लिए अंडर-19 लेवल पर भी खेलने को मिला।
पीएचडी के लिए कार्डियोवैस्कुलर बायोलॉजी विषय चुना
खेल के साथ उनकी पढ़ाई बिल्कुल प्रभावित नहीं हुई और उन्होंने बेंगलुरु के कॉलेज से अपनी इंजीनियरिंग पूरी की। अनुराधा आगे की स्टडी करने के लिए यूके चली गई जहां पर उन्होंने मेडिकल जेनेटिक्स में मास्टर की डिग्री ली। इंग्लैंड को भी इस खेल के लिए जाना जाता है। अनुराधा को यूके में भी अच्छा माहौल मिलना जारी रहा और उन्होंने काउंटी क्रिकेट खेला। इस दौरान अध्ययन की यात्रा भी लगातार जारी थी और अनुराधा मास्टर के बाद पीएचडी करने के लिए फ्रैंकफर्ट चली गई। उन्होंने अपनी पीएचडी के लिए कार्डियोवैस्कुलर बायोलॉजी विषय चुना।
साल 2017 में वे जर्मनी टीम के कप्तान भी नियुक्त हो गई
फ्रैंकफर्ट में महिलाओं के लिए कोई क्रिकेट क्लब नहीं था ऐसे में उन्होंने पुरुषों के क्लब से जुड़ने का फैसला किया। इसके बाद महिलाओं का एक यूरोपीय टी20 टूर्नामेंट हुआ जो साल 2013 में जर्सी में आयोजित हुआ था। वहां पर अनुराधा ने जर्मनी की ओर से भाग लिया और फिर उनकी जर्मनी टीम से जुड़ने की यात्रा शुरू हो गई। साल 2017 में वे जर्मनी टीम के कप्तान भी नियुक्त हो गई।
आज अनुराधा खेल में पहचान बनाने के साथ-साथ 'मैक्स प्लांक इंस्टीट्यूट फॉर हार्ड एंड एंड लंग रिसर्च' में एक दिल की वैज्ञानिक के तौर पर कार्यरत है।
ऑस्ट्रिया के खिलाफ 4 गेंदों पर 4 विकेट
जब अनुराधा ने ऑस्ट्रिया के खिलाफ 4 गेंदों पर 4 विकेट चटकाने का कारनामा किया था तो भारतीय भी काफी खुश हुए थे। अनुराधा कहती है कि उनको जर्मन क्रिकेट बोर्ड ने बाद में बताया कि है वर्ल्ड रिकॉर्ड बना है। किसी भी चीज में जब आप पहले स्थान हासिल करते हैं तो अच्छा लगता है।
अनुराधा को अपनी आवाज बुलंद रखने वाली शख्सियत के तौर पर भी जाना जाता है जो महिलाओं की एक मजबूत पहचान भी हैं। वे नहीं चाहती कि खेल को केवल पुरुषों से ही पहचाना जाए बल्कि महिलाओं के खेल में आने से भी काफी फर्क पड़ता है।
बेंगलुरु के अपने खाने को याद करती हैं
भारत के बाद यूरोप में अपना सफर बहुत आगे बढ़ा चुकी अनुराधा को अपने घर की याद आती है। वह बेंगलुरु के अपने खाने को याद करती हैं, उन्हें आज भी याद है किस तरह से सड़कों पर फास्ट फूड की दुकान होती थी, गणेश चतुर्थी के दौरान गांधी बाजार सजा हुआ मिलता था; और बेंगलुरु का वह पुराना मजा कुछ और ही था।
अनुराधा 35 साल की हो चुकी है और उन्होंने अट्ठारह T20 मैच खेले हैं जिसमें 23.30 की औसत से 233 रन बनाए हैं। गेंदबाजी में उनका प्रदर्शन और भी अच्छा रहा उन्होंने 9.10 की औसत से 19 विकेट दर्ज किए हैं। अनुराधा क्रिकेट कोचिंग भी करती है। वे लेवल 3 की क्रिकेट कोच भी है।