ऑक्सीजन बचाने के लिए सीएम अमरिंदर ने लिया बड़ा फैसला, लोहा इंडस्ट्री को काम बंद करने का आदेश
चंडीगढ़, अप्रैल 24: पूरे देश में कोरोना की दूसरी लहर के बीच अस्पतालों में ऑक्सीजन का संकट गहराया हुआ है। पंजाब भी ऑक्सीजन की जारी किल्लत से अछूता नहीं है। ऐसे में इस समस्या से पार पाने के लिए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने एक अहम फैसला लिया है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने राज्य की लोहा और स्टील इंडस्ट्री में काम रोकने के आदेश जारी कर दिए है, जिससे ऑक्सीजन का इस्तेमाल मेडिकल तौर पर किया जा सके।
पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने जिला और राज्य स्तर पर ऑक्सीजन कंट्रोल रूम की तुरंत स्थापना करने के साथ ही प्रदेश में ऑक्सीजन के संकट को रोकने के लिए राज्य के लौह और इस्पात उद्योगों में परिचालन को बंद करने का आदेश जारी कर दिया है, जिससे प्रदेश में बढ़ रही ऑक्सीजन की मांग की आपूर्ति की जा सकें। वहीं इस संकट से थोड़ा बहुत प्रदेश को उभरा जा सकें। इसके अलावा सरकार की ओर से राज्य और जिला स्तर पर नियंत्रण कक्ष स्थापित करेंगे, जो सभी सरकारी और निजी अस्पतालों में ऑक्सीजन की आपूर्ति की निगरानी करेगा।
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दरअसल, पंजाब में कोरोना के बढ़ते मरीजों के बीच ऑक्सीजन की खपत लगातार बढ़ रही है। ऐसे में सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह ने ऑक्सीजन की आपूर्ति के लिए केंद्र सरकार से मदद की गुहार लगाई हैं। पिछले साल कोरोना महामारी के बीच जहां पंजाब में ऑक्सीजन की मांग 15-20 मीट्रिक टन थी, वहीं अब यह आंकड़ा कई गुना बढ़कर 105 से 110 मीट्रिक टन पर पहुंच गया है। यहीं नहीं सरकार को इस बात भी अंदेशा है कि यह आंकड़ा यहीं ना रुकते हुए 150-170 मीट्रिक टन रोजाना पहुंच जाएगा। पंजाब में कोई भी मेडिकल ऑक्सीजन प्लांट नहीं है। ऑक्सीजन के लिए पंजाब को हिमाचल समेत कई दूसरे राज्यों पर निर्भर रहना पड़ता है।