लखनऊ में मांस व्यापारी आज से हड़ताल पर, सब्जियों के दामों में उछाल
लखनऊ में व्यापारियों के कई संगठनों ने हड़ताल का ऐलान किया है, जिसके बाद शनिवार से लखनऊ में मांस बिल्कुल नहीं मिल पाएगा।
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी की सरकार आने के बाद पिछले कुछ दिन से पुलिस की सख्ती के बाद मांस की दुकाने तकरीबन बंद हैं। भैंस के मांस की दुकानों को तो प्रशासन से बंद करा ही दिया है, मटन और चिकन की दुकानें भी प्रदेश भर में बंद हैं। सरकार की ओर से कहा गया है कि ये दुकाने बिना लाइसेंस के चल रही थीं। इसके विरोध को लेकर शनिवार से सूबे की राजधानी लखनऊ में व्यापारियों के कई संगठनों ने हड़ताल का ऐलान किया है, जिसके बाद शनिवार से लखनऊ में मांस बिल्कुल नहीं मिल पाएगा।
लखनऊ मुर्गा मंडी समिति के सदस्य रिजवान सिद्दीकी ने बताया कि शनिवार से सभी व्यापारी हड़ताल पर हैं। मांस के साथ-साथ अंडे की दुकाने भीं लखनऊ में बंद रहेंगी। हालांकि शुक्रवार से ही मांस की लगभग 80 फीसदी दुकाने बंद हैं। वहीं सूबे में मांस की ब्रिकी बंद होने से सब्जियों के दाम में तगड़ा उछाल आया है। व्यापारियों का कहना है कि गाय के मांस या कटान से इस कार्रवाई का कोई ताल्लुक नहीं है क्योंकि गाय के मांस पर प्रदेश में लंबे समय से प्रतिबंध है।
व्यापारियों का कहना है कि अंडे, मटन, चिकन और भैंस के मांस के अलावा मछली विक्रेताओं से भी हड़ताल में शामिल होने को कहा गया है और उन्होंने सहमति भी जताई है। व्यापारियों का कहना है कि हड़ताल सरकार की कार्रवाई के विरोध में हैं क्योंकि अवैध बूचड़खानों को बंद करने की बात कहकर छोटे दुकानदारों के रोजगार को चोट पहुंचाई जा रही है। वहीं उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव राहुल भटनागर की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि प्रदेश में दुधारू पशुओं के अनाधिकृत परिवहन और अवैध वध की गतिविधियों पर पूर्णतः रोक लगाना यूपी सरकार की अहम प्राथमिकता है। इसको लेकर सभी जिलाधिकारियों के साथ-साथ पुलिस प्रशासन को खास निर्देश दिए गए हैं।पढ़ें- पशुओं के अवैध वध और परिवहन को लेकर योगी सरकार की अधिकारियों को खास हिदायत