‘सर ने डांटा’ बुरा लगा, हमने तो छुट्टी ले ली.... अब क्या होगा इस शहर का
जबलपुर, 14 सितंबर: लोक सेवक चाहे किसी भी विभाग के हो सरकार उनको मोटी सैलरी इसलिए देती हैं, ताकि वह ईमानदारी से अपनी ड्यूटी करें। लेकिन इनमें से कुछ ऐसे है जो दफ्तरों को टाइम पास का अड्डा मान रहे हैं। जबलपुर नगर निगम में भी ऐसे लापरवाह कर्मचारियों अधिकारियों की भरमार हैं। जिन पर कमिश्नर ने नकेल कसना शुरू की तो कई अधिकारियों ने छुट्टी ले ली। कहा जा रहा है कि उन लोगों को 'सर की डांट' का बुरा लगा हैं।
कमिश्नर धड़ाधड़ कर रहे सस्पेंड
सरकारी दफ्तरों की भर्राशाही पर अंकुश लगाओं तो मुसीबत और हाथ पर हाथ रखे बैठें रहो, तब भी परेशानी। ऐसी ही स्थिति से जबलपुर नगर निगम मुख्यालय जूझ रहा हैं। यहां कुछ विभागों के लापरवाह अफसरों के खिलाफ जब कमिश्नर ने कार्रवाई की तो उन्होंने छुट्टी ले ली हैं। दशहरा जैसे पर्व के ठीक पहले मची उथल-पुथल से हर कोई हैरान है। सबसे ज्यादा दिक्कत PWD और बिजली विभाग में है। जहाँ पब्लिक की सबसे ज्यादा शिकायतें थी।
कई के वेतन में कटौती
दरअसल पिछले दिनों कमिश्नर ने बिजली विभाग के इंजीनियर और फील्ड ऑफिसर की मीटिंग ली थी। सीएम हेल्प लाइन समेत पब्लिक की स्ट्रीट लाइट संबंधी शिकायतों की समीक्षा की गई। जिसमें पता चला कि कई शिकायतें महीनों से पेंडिंग है और उनके निराकरण का कोई प्रयास नहीं किया गया। इसी तरह PWD डिपार्टमेंट में भी भर्राशाही का ऐसा ही आलम रहा। जिसके बाद दर्जन भर अधिकारी कर्मचारियों को सस्पेंड कर दिया गया। आधा दर्जन से ज्यादा कर्मचारियों के वेतन में कटौती के निर्देश जारी कर दिए गए।
‘सर ने डांटा’, नहीं आएंगे दफ्तर
जिन अधिकारी कर्मचारियों के खिलाफ एक्शन लिया गया, वह कह रहे है कि भरी मीटिंग में कोई अफसर क्या अपने मातहत कर्मचारियों अधिकारियों को इस तरह से डांटता है क्या? डांट डपट की शैली को लेकर ऐसे अधिकारियों में कमिश्नर के खिलाफ गुस्सा है। यही वजह है कि वह छुट्टी लेकर घर पर बैठ गए है। दोनों ही विभाग का आधा स्टाफ बचा है, जो ड्यूटी कर रहा है।
नगर सत्ता काबिज होते ही दिखाए तेवर
कहा यह भी जा रहा है कि नगर निगम चुनाव के पूर्व भी कमिश्नर सभी विभागों में कसावट लाने ऐसी कार्रवाई कर चुके है। उस वक्त ऐसी नौबत नहीं आई कि अधिकारी कर्मचारी छुट्टी लेकर घर पर बैठे हो। लेकिन महापौर के पदभार ग्रहण करने के बाद कुछ ख़ास अधिकारी कर्मचारियों ने अपने तेवर कड़े कर दिए हैं। दबीं जुबान में कहा जा रहा है कि वह कमिश्नर के खिलाफ मोर्चा खोलने की तैयारी कर चुके हैं।
कमिश्नर की दो टूक, काम तो ईमानदारी से ही होगा
निगमायुक्त आशीष वशिष्ठ ने कहा है कि अधिकारियों कर्मचारियों को अपनी कार्यप्रणाली में बदलाव लाना होगा। तेजी से बढ़ रहे शहर में समस्याएं भी बढ़ रही हैं और करदाता आम जनता नगर निगम से ढेरों अपेक्षाए रखती हैं। ढुलमुल रवैया पूरे प्रशासन की छवि धूमिल करता है, ऐसी स्थितियों में किसी की भी कोई लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जा सकती। छुट्टी लेकर जबरदस्ती घर में बैठे कर्मचारी अधिकारियों को चेतावनी भी जारी की गई है। वही आने वाले दशहरा पर्व को लेकर शहर की सड़कों के गड्ढे और स्ट्रीट साइट सुधार के कार्य चिंता का विषय बन गए है।
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