कांग्रेस शासित सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से आज राहुल गांधी करेंगे मुलाकात
नई दिल्ली। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी आज उन तमाम प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों से मुलाकात करेंगे जहां कांग्रेस की सरकार है। सभी पांच राज्य जहां कांग्रेस की सरकार है, वहां के मुख्यमंत्री आज राहुल गांधी से मुलाकात करेंगे। लोकसभा चुनाव में हार के बाद राहुल गांधी की इन तमाम मुख्यमंत्रियों के साथ पहली मुलाकात है। माना जा रहा है कि ये सभी मुख्यमंत्री राहुल गांधी से अपील करेंगे कि वह अपने इस्तीफे की पेशकश को वापस ले लें। जिस तरह से इस बार भी लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा है, उसके बाद इसकी जिम्मेदारी लेते हुए राहुल गांधी ने पार्टी के अध्यक्ष पद से इस्तीफे की पेशकश की थी। इस्तीफे की पेशकश के बाद से ही राहुल को मनाने का दौर चल रहा है, लेकिन राहुल अपने फैसले पर अडिग हैं।
खुद राहुल ने बुलाई बैठक
सूत्रों ने बताया कि यह बैठक खुद राहुल गांधी ने बुलाई है, लेकिन खुद मुख्यमंत्रियों ने राहुल से मिलने का समय मांगा था। जिस तरह से कांग्रेस को हार का सामना करना पड़ा था, उसके बाद पार्टी के भीतर लगातार इस्तीफों का सिलसिला जारी है। राज्यसभा सांसद और पंजाब कांग्रेस अध्यक्ष प्रताप सिंह बाजवा ने भी पार्टी के सचिव केसी वेणुगोपाल को पत्र लिखकर कहा है कि पार्टी अध्यक्ष का हाथ मजबूत करने के लिए वरिष्ठ नेताओं द्वारा ऐसा करना बेहद जरूरी है। उनके मुताबिक राहुल को काम करने की खुली छूट मिलेगी,तभी वे पार्टी हित में फैसले ले सकेंगे।
पार्टी के भीतर से उठी आवाज
बाजवा ने कहा है कि 'पार्टी की इमेज बेहतर करने के लिए राहुल गांधी जो भी फैसला करेंगे, हम लोग उनके साथ हैं। मझे लगता है कि वरिष्ठ नेताओं को, चाहे वे कांग्रेस वर्किंग कमिटी के सदस्य हों या मौजूदा मुख्यमंत्री या फिर प्रदेशों के अध्यक्ष हों, उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए।' पंजाब कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष बाजवा ने एआईसीसी की विवेश मामलों से जुड़ी समिति के उपाध्यक्ष पद से इस्तीफा देने के बाद पार्टी के सीनियर नेताओं को ये सलाह दी है।
कांग्रेस के भीतर अजीब सी स्थिति
कांग्रेस में इस वक्त एक अजीब सी स्थिति बनी हुई है। छोटे नेताओं की ओर से तो इस्तीफे की पेशकश हो रही हैं, लेकिन बड़े नेता अपने पद से चिपके हुए हैं। राहुल गांधी के खुद के इस्तीफे की स्थिति पर भी पार्टी कुछ भी साफ नहीं कर पा रही है। एक महीना से ज्यादा गुजर चुका है, लेकिन इस्तीफे की पेशकश के बाद भी राहुल का कोई उत्तराधिकारी कांग्रेस तय नहीं कर पाई है। क्योंकि, कांग्रेस में कागज पर कोई भी बड़ा औपचारिक फैसला वर्किंग कमिटी ही लेती है, जिसके सदस्यों से भी अब इस्तीफे की मांग उठने लगी है
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