जनसंख्या नियंत्रण बिल पर बोले भाजपा सांसद रवि किशन, कांग्रेस लाती तो हम नहीं करते 4 बच्चे
बीजेपी सांसद और अभिनेता रवि किशन ने जनसंख्या नियंत्रण विधेयक पेश करने की बात कही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस कानून बनाई होती तो उनके चार बच्चे नहीं होते।
भाजपा सांसद रवि किशन ने देश में बढ़ती जनसंख्या को लेकर कांग्रेस पर जोरदार हमला बोला है। उन्होंने एक न्यूज चैनल के कार्यक्रम में आरोप लगाया है कि उन्हें संसद में इसलिए जनसंख्या नियंत्रण बिल लेकर लाने की आवश्यकता पड़ी है, क्योंकि कांग्रेस ने अपने कार्यका्ल में यह नहीं किया। उन्होंने कहा कि वह खुद चार बच्चों के पिता हैं, इसलिए वह समझते हैं। उनकी दलील है कि अगर कांग्रेस ने अपने समय यह कानून बना दिया होता तो वह भी चार बच्चे नहीं करते। लेकिन, उनके समय में इतनी जागरूकता ही नहीं पैदा की गई थी। अभिनेता से नेता बने रवि किशन अभी उत्तर प्रदेश के गोरखपुर से लोकसभा सांसद हैं।
टीवी कार्यक्रम में जनसंख्या नियंत्रण बिल पर बोले रवि किशन
हिंदी न्यूज चैनल आजतक के एजेंडा आजतक कार्यक्रम में बीजेपी एमपी रवि किशन ने खुद चार बच्चों के पिता होने के बावजूद जनसंख्या नियंत्रण बिल लाने को लेकर अपनी दलीलें रखी हैं। उनका कहना है कि उनके 4 बच्चे हैं तो इसमें उनकी कोई गलती नहीं है, क्योंकि देश में ऐसा कोई कानून ही नहीं था। लेकिन, इस स्थिति को बदलने के लिए ही वह संसद में प्राइवेट मेंबर बिल ला रहे हैं। उन्होंने टीवी कार्यक्रम में भाजपा सांसद मनोज तिवारी की मौजूदगी में ऐलान किया कि वह कार्यक्रम से निकलकर सीधे संसद जा रहे हैं, जहां वह जनसंख्या नियंत्रण विधेयक पेश करेंगे।
'अगर कांग्रेस सोची होती तो...'
देश में जनसंख्या नियंत्रण कानून की आवश्यकता के बारे में रवि किशन ने बताया कि चीन ने क्या किया है। उन्होंने कहा कि 'ऑस्ट्रेलिया, कनाडा हम जाते हैं तो देखते हैं कि पॉपुलेशन कंट्रोल है, इसलिए सबकुछ ऑर्गेनाइज्ड है। वो बोले कि अपने देश की आबादी 135 करोड़ है। 80 करोड़ को कोविड के बाद से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अनाज मुफ्त दे रहे हैं। किसान को भी 6 हजार दिया जा रहा है। वैक्सीन भी दिया है। विधवा पेंशन, कुसुम योजना, इलाज के लिए 5 लाख रुपए जैसे लाभ दिए जा रहे हैं।' उन्होंने आरोप लगाया कि अगर कांग्रेस या पिछली सरकारें जो 60 साल तक थीं, वह आने वाली पीढ़ी के लिए सोचती, थोड़ी अनुशासित होती तो 2014 से जो प्रधानमंत्री संघर्ष कर रहे हैं देश को ऑर्गेनाइज करने के लिए, वह पहले से ही हो चुका होता।
कांग्रेस कानून लाती तो हम नहीं करते 4 बच्चे-रवि किशन
जब रवि किशन के सामने खुद उनके अपने चार बच्चे होने की बात उठी तो वो बोले कि 'मुझपर चार बच्चों को लेकर बोलेंगे तो मेरे पास उसका लंबा, अच्छा-खासा जवाब है। मैं इसका जवाब दूंगा कि एक पिता जिसके चार बच्चे हैं, वह क्यों यह बिल ला रहा है, यह समझना होगा।' उन्होंने स्पष्ट तौर पर कहा, "कांग्रेस अगर बिल लाती, हमको मालूम होता...लॉ रहता तो हम नहीं करते बच्चा....। सरकार थी, कानून उनके पास था...हम जागरूक नहीं थे.....हमलोग तो खेलते-कूदते अंगड़ाई ले रहे थे जीवन में.....हमलोग को क्या मालूम था।" वो बोले कि जब कांग्रेस कहती है कि 60 साल तक हमने चलाया...हमने शासन किया तो यह तो सवाल उठेंगे ही। उन्होंने कहा है कि हमारे प्रधानमंत्री चीजों को ठीक कर रहे हैं कि आने वाले समय में हमारे बच्चों को नहीं भुगतना पड़े।
सरकार विधायी रास्ते के लिए नहीं तैयार
रवि किशन पहले से ही जनसंख्या नियंत्रण विधेयक लाने की कोशिश कर रहे हैं। जबकि, सरकार ने इसके लिए किसी विधायी रास्ता अपनाने का संकेत अभी तक नहीं दिया है। इसी साल जुलाई में भी उन्होंने कहा था कि 'हम तभी विश्व गुरु बन सकते हैं, जब जनसंख्या नियंत्रण विधेयक लाएंगे। जनसंख्या पर नियंत्रण बहुत आवश्यक है। जिस तरह से यह बढ़ रही है, हम विस्फोट की ओर बढ़ रहे हैं।' मोदी सरकार में शामिल गिरिराज सिंह जैसे मंत्री भी जनसंख्या नियंत्रण का मुद्दा उठाते रहे हैं। हालांकि, सरकार 2045 तक इसे स्थिर तो करना चाहती है, लेकिन विधायी रास्ता चुनने पर विचार नहीं किया है।
जनसंख्या में अगले साल चीन को पीछे छोड़ देगा भारत-संयुक्त राष्ट्र
कुछ महीने पहले संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट आई थी, जिसमें कहा गया था कि अगले साल तक जनसंख्या के मामले में भारत चीन को पीछे छोड़ देगा। लेकिन, इसके साथ ही वर्ल्ड पॉपुलेशन प्रॉस्पेक्ट्स 2022 में इस बात पर भी जोर दिया गया है कि भारत की टोटल फर्टिलिटी रेट (TFR) 1950 में प्रति महिला 5.9 बच्चों से कम होकर 2020 में 2.2 बच्चा प्रति महिला रह चुका है ।
सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर सुनवाई से किया था इनकार
इससे पहले पिछले महीने 18 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट ने जनसंख्या 'विस्फोट' पर रिपोर्ट तैयार करने और जनसंख्या नियंत्रण कानून की संभावना तलाशने के लिए भारत के विधि आयोग को निर्देश देने की मांग वाली याचिका सुनने से मना कर दिया था। अदालत ने कहा था कि इसपर सरकार फैसला लेगी और साथ ही साथ भाजपा नेता अश्विनी उपाध्याय की याचिका को लेकर यह टिप्पणी भी की थी कि 'जनसंख्या कम हो रही है।' अदालत ने मौखिक टिप्पणी में कहा था कि संभवत: 10 या 20 साल में जनसंख्या स्थिर हो जाएगी .और हम जनसंख्या को मिटा नहीं सकते।