बढ़ सकती तंबाकू सेवन की न्यूनतम आयु, 18 वर्ष से बढ़ाकर इतने साल करने पर विचार
नई दिल्ली- स्वास्थ्य मंत्रालय देश में तंबाकू सेवन की न्यूनतम उम्र और ज्यादा बढ़ाने पर विचार कर रहा है। गौरतलब है कि अभी देश में तंबाकू सेवन और खरीदने-बेचने के लिए न्यूनतम उम्र 18 वर्ष निर्धारित है। लेकिन, मंत्रालय इसे बढ़ाकर 21 साल तक करने पर विचार कर रहा है। इससे जुड़ा प्रस्ताव सरकार के पास पांच वर्षों से है, लेकिन अब स्वास्थ्य मंत्रालय की एक समिति ने इससे जुड़े कानूनों में भारी बदलाव के सुझाव दिए हैं। जिसमें नियम तोड़ने वालों पर जुर्माने की राशि में भारी इजाफे से लेकर इन पदार्थों की खरीद-बिक्री पर भी सख्त निगरानी रखने जैसे सुझाव शामिल हैं। आइए जानते हैं कि क्या है इन सुझावों में ?
18 से 21 वर्ष की जा सकती है तंबाकू सेवन की न्यूनतम आयु
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय तंबाकू सेवन की न्यूनतम कानूनी उम्र बढ़ाने पर विचार कर रहा है। मौजूदा समय में देश में तंबाकू सेवन के लिए न्यूनतम कानूनी उम्र 18 वर्ष निर्धारित है, जिसे बढ़ाकर 21 साल किए जाने पर विचार किया जा रहा है। इसके लिए सिगरेट और दूसरे तंबाकू उत्पाद कानून (सीओटीपीए) के प्रावधानों को और मजबूत करने की कोशिश हो रही है। दरअसल, सरकार ने तंबाकू सेवन पर नियंत्रण के लिए जरूरी कानूनी सुधारों पर सलाह देने के लिए मंत्रालय में एक सब-ग्रुप गठित किया था, जिसने अपने सुझाव मंत्रालय को सौंप दिए हैं। इस समिति ने तंबाकू सेवन के लिए न्यूनतम आयु 18 से 21 वर्ष करने के अलावा भी कुछ महत्वपूर्ण सुझाव दिए हैं।
जुर्माने की राशि में इजाफे का भी सुझाव
इस मामले से जुड़े स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि समिति ने उम्र सीमा बढ़ाने के साथ-साथ नियमों को तोड़ने वालों पर जुर्माने की राशि बढ़ाने की भी सिफारिश की है। इसके अलावा तंबाकू पदार्थों की ट्रैकिंग के प्रावधान लागू करने और उसके लिए ट्रैकिंग मेकेनिज्म तैयार करने को भी कहा है, ताकि सिगरेट और तंबाकू उत्पादों के गैर-कानूनी कारोबार पर नियंत्रण रखा जा सके। अधिकारी ने बताया कि ग्लोबल एडल्ट टोबैको सर्वे के अनुसार तंबाकू की शुरुआत करने की औसत उम्र 17.9 वर्षों (GATS1 में) से बढ़कर 18.9 वर्ष (GATS2 में) हो चुकी है। अधिकारी के मुताबिक ज्यादातर लोग युवा अवस्था में स्मोकिंग शुरू करते हैं, खासकर स्कूल के अंतिम दिनों या कॉलेज में। तंबाकू कंपनियां अक्सर 18 से 21 आयु वर्ग के युवाओं को ही टारगेट करती हैं, क्योंकि इन्हें आकर्षित करना ज्यादा आसान रहता है।
उम्र में इजाफे से तंबाकू सेवन में भारी कमी का अनुमान
स्वास्थ्य मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक 'कानूनी उम्र 21 साल करने से तंबाकू लेने वाले युवाओं की संख्या में प्रति साल भारी कमी आएगी। यहां तक कि माता-पिता भी 21 साल से कम उम्र के बच्चों को ऐसे उत्पाद खरीदने के लिए दुकानों पर नहीं भेज सकेंगे।' तंबाकू प्रोडक्ट के गैर-कानूनी कारोबार की ट्रैकिंग के बारे में उन्होंने बताया कि 'इस सिस्टम के तहत निर्माण वाली जगह पर ही तंबाकू उत्पादों पर एक बार कोड लगा दिया जाएगा, जिससे सरकारी एजेंसियों को यह सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी कि यह कानूनी है या नहीं और उसपर उचित टैक्स चुकाया गया है या नहीं। ' मंत्रालय सार्वजनिक स्थानों पर स्मोकिंग पर लगाने वाले जुर्माने को भी बढ़ाने पर विचार चल रहा है, जो कि अभी 200 रुपये तक है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन की गाइडलाइंस के मुताबिक पहल
बता दें कि मौजूदा सिगरेट और दूसरे तंबाकू उत्पाद कानून सार्वजनिक स्थलों में स्मोकिंग प्रतिबंधित करता है, शैक्षणिक संस्थानों के सौ मीटर के दायरे में सिगरेट और दूसरे तंबाकू उत्पादों की बिक्री पर रोक लगाता है और 18 साल से कम उम्र के बच्चों को ये उत्पाद देना निषेध करता है। अधिकारी के मुताबिक इस कानून को विश्व स्वास्थ्य संगठन के गाइडलाइंस के मुताबिक ज्यादा प्रभावी बनाने का लक्ष्य है। बता दें कि सरकार ने 2003 के मौजूदा कानूनों में संशोधन के लिए जनता के बीच 2015 में एक संशोधन विधेयक का प्रस्ताव लेकर आई थी। लेकिन, 2017 में इसे और बेहतर प्रस्ताव के साथ लाने की बात कहकर वापस ले लिया गया था। उस ड्राफ्ट प्रस्ताव में दंड की रकम 1,000 रुपये करने और होटल, रेस्टोरेंट एवं एयरपोर्ट से स्मोकिंग के लिए तय जगह को हटाने की बात थी।
26.7 करोड़ व्यस्क करते हैं तंबाकू का सेवन
ग्लोबल एडल्ट टोबैको सर्वे-2 के मुताबिक 19 फीसदी पुरुष, 2 फीसदी महिलाएं और कुल 10.7 फीसदी व्यस्क तंबाकू से धूम्रपान करते हैं, जबकि 29.6 फीसदी पुरुष, 12.8 फीसदी महिलाएं और कुल 21.4 फीसदी व्यस्क धुआं-रहित तंबाकू का इस्तेमाल करते हैं। इसमें यह बात भी सामने आई है कि कुल 28.6 फीसदी यानि 26.7 करोड़ व्यस्क किसी न किसी रूप में तंबाकू का सेवन करते हैं।
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