सैन्य संबंध मजबूत करने के लिए चीनी सेना का प्रतिनिधिमंडल पहुंचा भारत
नई दिल्ली। द्विपक्षीय मुद्दों और सीमा पर शांति बनाए रखने के लिए चीनी सेना की एक उच्च स्तरीय टीम मंगलवार को सुकना पहुंची है, जिसकी अगुवाई चीन के पश्चिमी थीएटर कमांड के डिप्टी कमांडर कर रहे हैं। चीन की टीम भारतीय सेना के 33 कॉर्प्स के मुख्यालय में अपने समकक्षों से बातचीत करेगी, डोकलाम गतिरोध के बाद पहली उच्च स्तरीय सैन्य बैठक मानी होगी। चीनी सेना की 10 सदस्य टीम 6 जुलाई तक भारत में रहेगी। बता दें कि चीनी प्रतिनिधिमंडल ने भारतीय सेना के उपाध्यक्ष लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अंबू से मुलाकात की हैं।
सेना ने अपने बयान में कहा कि वुहान शिखर सम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने को लेकर वार्ता की थी। जिसके बाद चीनी सेना के पश्चिमी थियेटर कमांड के डिप्टी कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल लियू जियावू के नेतृत्व में सेना का उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल मंगलवार को सुकना पहुंचा है।
यह भी पढ़ें: हम डोकलाम जैसी टेंशन और नहीं झेल सकते- चीन
भारत की तरफ से सैन्य प्रतिनिधि मंडल का नेतृत्व लेफ्टिनेंट जनरल प्रदीप एम बाली कर रहे हैं। सूकना में दोनों देशों के बीच एक उच्च स्तरीय बैठक होगी, जिसमें सीमा को लेकर प्रतिनिधिमंडल आइडिया शेयर करेंगे। उसके बाद 5 जुलाई को पीएलए (पीपुल्स लिबरेशन आर्मी) का प्रतिनिधिमंडल कोलकाता के लिए रवाना हो जाएगा, जहां सेना का पूर्वी कमांड का हेडक्वार्टर स्थित है।
बता दें कि डोकलाम के बाद चीन और भारत बीच यह पहली उच्च स्तरीय सैन्य बैठक है। दोनों देशों की प्रतिनिधि मंडलों की इस मुलाकात को सैन्य संबंधों को मजबूत करने के लिए एक बड़ी पहल माना जा रहा है।
यह भी पढ़ें: OPCW में भारत ने किया ब्रिटेन का विरोध, NSG में चीन से सपोर्ट की जगी आस