अब सेना के जवान रहेंगे ज्यादा सुरक्षित, DRDO ने तैयार की कम वजन वाली बुलेट प्रुफ जैकेट
नई दिल्ली: पिछले 11 महीनों से लद्दाख में भारत का चीन के साथ सीमा विवाद जारी है। पाकिस्तान भी कश्मीर घाटी में शांति भंग की कोशिश में लगा रहता है। इस वजह से भारत अपनी रक्षा तैयारियां मजबूत कर रहा है। साथ ही दूसरे देशों पर निर्भरता खत्म करने की कोशिश है। इसके लिए आत्मनिर्भर भारत पर पूरा फोकस किया जा रहा। इस बीच डीआरडीओ ने जवानों के लिए एक खास बुलेट प्रुफ जैकेट बनाने में सफलता हासिल की है। जिससे जवान सुरक्षित तरीके से दुश्मनों से लोहा सकते हैं।
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डीआरडीओ की लेबोरेटरी ने डिफेंस मटेरियल एंड स्टोर्स रिसर्च (DMSRDE) के साथ एक कम वजन वाली बुलेट प्रुफ जैकेट तैयार की है, जो सिर्फ 9 किलोग्राम की है। ये जैकेट भारतीय सेना के गुणात्मक आवश्यकताओं को हर तरीके से पूरा करती है। इस जैकेट के फ्रंट हार्ड आर्मर पैनल का टेस्ट बैलिस्टिक रिसर्च लेबोरेटरी चंडीगढ़ में किया गया। जिसमें पता चला कि ये बीआईएस मानकों को पूरा करती है। वहीं तकनीकी की मदद से डीआरडीओ के वैज्ञानिकों ने इस बीपीजे का वजन 10.4 किलोग्राम से कम करके 9 किलोग्राम कर दिया है। जिससे जवान इसे आसानी से पहन सकते हैं।
पिछले
महीने
भी
मिली
थी
बड़ी
कामयाबी
मार्च
में
आईएनएस
करंज
जंगी
के
भारतीय
नौसेना
में
शामिल
होने
के
बाद
डीआरडीओ
ने
एक
बड़ी
कामयाबी
हासिल
की
थी,
जहां
उसने
एयर
इंडिपेंडेंट
प्रोपल्शन
(एआईपी)
टेक्नोलॉजी
का
आखिरी
टेस्ट
पूरा
कर
लिया।
भारतीय
पनडुब्बियों
को
और
भी
ज्यादा
घातक
बनाने
की
दिशा
में
इसे
बहुत
बड़ी
सफलता
मानी
जा
रही
है,
क्योंकि
दुनिया
के
कुछ
विकसित
देशों
के
पास
ही
अभी
ये
टेक्नोलॉजी
है।
इस
टेक्नोलॉजी
से
पनडुब्बियों
में
ना
तो
ज्यादा
तेज
आवाज
होगी
और
ना
ही
दुश्मन
को
उसकी
जल्दी
भनक
लगा
पाएगी।