स्वास्थ्य सेवाओं में हमारे काम की हो रही तारीफ, 15 लाख लोगों को दे सकते हैं नौकरी: सीएम योगी
नई दिल्ली। भारत में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों का आंकड़ा 30 हजार के बहुत करीब पहुंच चुका है, महामारी से अब तक देशभर में 934 लोगों की मौत हो चुकी है। जनसंख्या के मामले में भारत के सबसे बड़ा राज्य उत्तर प्रदेश (यूपी) में कोरोना वायरस का तांडव महाराष्ट्र या अन्य राज्यों जैसा नहीं है लेकिन वहां के कुछ जिलों की स्थिति गंभीर बनी हुई है। यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ एक मीडिया संस्थान को दिए इंटरव्यू में कोरोना वायरस और दूसरे राज्यों में फंसे मजदूरों को लेकर सरकार द्वारा उठाए गए उचित कदमों के बारे में जानकारी दी है।
यूपी में कोरोना वायरस के विस्तार को कैसे प्रबंधित किया?
'द इंडियन एक्सप्रेस' से बातचीत में यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कई सारे सवालों का जवाब दिया। एक सवाल में उनसे पूछा गया कि उत्तर प्रदेश, सबसे अधिक आबादी वाला राज्य होने के बावजूद, अब तक एक हद तक वायरस के प्रसार को रोकने में सक्षम है। आपने इसे कैसे प्रबंधित किया? 'इसके जवाब में उन्होंने कहा, मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभारी हूं, जिन्होंने पहले ही इस महामारी के खिलाफ देश को चेतावनी दे दी थी। यूपी ने पीएम के मार्गदर्शन का पालन किया है।' उन्होंने कहा, 'मेरे कैबिनेट सहयोगियों ने मेरे साथ मिलकर एक कार्य योजना तैयार की है चाहे वह निर्माण श्रमिकों का मामला हो या स्ट्रीट वेंडर, पोर्टर्स आदि के रखरखाव या भत्ता देने का मामला हो, सरकार ने सबका ध्यान रखा है। इसके अलावा कमजोर वर्गों को खाद्यान्न प्रदान करने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों की 11 टीमों ने प्रभावी रूप से कार्य योजना को लागू किया। इनमें से प्रत्येक टीम की जिम्मेदारी और जवाबदेही है। आज, 17 प्रयोगशालाओं में प्रतिदिन 4,000 परीक्षण किए जा रहे हैं।'
स्वास्थ्य कर्मचारियों की सुरक्षा के लिए उठाए ये कदम
एक सवाल में पूछा गया कि क्या सरकार ने स्वास्थ्य कर्मचारियों की सुरक्षा के लिए पर्याप्त कदम उठाए हैं? इसके जवाब में सीएम योगी ने कहा, सबसे पहले मैं सभी स्वास्थ्य कर्मचारियों, डॉक्टरों और नर्सों को धन्यवाद देता हूं, जो पूरी निष्ठा के साथ मानवता की सेवा के लिए लगातार काम कर रहे हैं। सीएम ने कहा, हमने कोरोना वारियर्स को पूरी सुरक्षा दी है। अगर कोई नियमों का उल्लंघन करता है, तो उसके खिलाफ कानून के दायरे में सख्त कार्रवाई की जा रही है। हमारे पास स्वास्थ्य कर्मियों को संक्रमण से बचाने के लिए पर्याप्त मात्रा में पीपीई किट, एन 95 मास्क और सैनिटाइजर हैं। दूसरी बात, मैं लोगों से अपील करता हूं कि हम डॉक्टरों, नर्सों, पुलिस कर्मियों और स्वास्थ्य और सफाई कर्मचारियों का सम्मान करें और उन्हें प्रोत्साहित करें जो कोरोना के खिलाफ मोर्चे पर लड़ रहे हैं।
अभिभावक की तरह हैं पीएम मोदी
अगले सवाल में पूछा गया कि COVID 19 से लड़ने के लिए रणनीति तैयार करने के बाद राज्य को सबसे बड़ा फायदा क्या हुआ? जवाब में सीएम योगी बोले, सबसे पहला फायदा तो नरेंद्र मोदी जैसे पीएम का है, जो हर समस्या के समाधान के लिए एक अभिभावक की तरह हमारा मार्गदर्शन करते रहते हैं। दूसरा, किसी भी रणनीति को तैयार करने के लिए एक बेहतर टीम और समन्वय की आवश्यकता होती है। मंत्रिमंडल के साथ समन्वय में मैंने COVID से लड़ने की रणनीति बनाई और इसे लागू करने के लिए, वरिष्ठ अधिकारियों की 11 टीमों का गठन किया गया और उनकी जिम्मेदारी तय की गई। हर दिन मैं एक समीक्षा बैठक करता हूं और निर्देश देता हूं। आज स्वास्थ्य सेवाओं की बेहतरी के लिए सरकार द्वारा पिछले तीन वर्षों में उठाए गए कदमों के सकारात्मक परिणाम सबके सामने हैं।
15 लाख को दे सकते हैं नौकरी
प्रवासी मजदूरों को लेकर किए गए सवाल, राज्य में लौटने वाले प्रवासी श्रमिकों के कारण बेरोजगारी बढ़ सकती है, क्या राज्य के पास उनके लिए कार्यक्रम हैं? के जवाब में सीएम योगी ने कहा कि 2017 से पहले यूपी बेरोजगारी की गिरफ्त में था, लेकिन जब हमने सरकार बनाने के बाद रोजगार सृजन की दिशा में काम किया और कई नौकरियां पैदा भी कीं। उन्होंने आगे कहा, जिन मजदूरों को लेकर कहा जा रहा है कि बेरोजगारी बढ़ेगी, मैं बता दूं कि उन्हें यहां भी रोजगार मिलेगा। संभावनाओं में कोई कमी नहीं है। चुनौतियां हैं लेकिन हमारे पास कई अवसर भी हैं। लॉकडाउन के दौरान, सरकार ने डोरस्टेप डिलीवरी के माध्यम से 15 लाख से अधिक लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार प्रदान किया है।'
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