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101 लड़कियों का भविष्य संवारने वाले जडेजा क्या पत्नी का भाग्य बना पाएंगे ?

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भारत के स्टार ऑलराउंडर रवीन्द्र जडेजा अब राजनीति की पिच पर कमाल दिखाने की तैयारी में है। अपने लिए नहीं बल्कि अपनी पत्नी रिवाबा के लिए। रिवाबा जामनगर उत्तर सीट से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ रही हैं। अब वे अपनी पत्नी के लिए जनता से वोट मांग रहे हैं। फिलहाल वे अभी टीम इंडिया का हिस्सा हैं इसलिए सीधे राजनीति में नहीं उतरे हैं। अभी वे पत्नी के चुनाव प्रचार के जरिये राजनीति के बाउंसर को खेलने की प्रैक्टिस कर रहे हैं। रवीन्द्र जडेजा एक ऐसे क्रिकेटर हैं जिनका सामाजिक सरोकार से भी गहरा नाता है। इस साल जून में उन्होंने गुजरात की 101 छोटी बच्चियों के भविष्य को संवारने की पहल की थी। इस पहल के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रवीन्द्र जडेजा की सार्वजनिक रूप से तारीफ की थी। इस योगदान के लिए प्रधानमंत्री ने उन्हें प्रशंसा पत्र भी भेजा था। प्रधानमंत्री की इस तारीफ में ही रिवाबा के भविष्य का संकेत छिपा था। रिवाबा वैसे तो 2019 से भाजपा की नेता थीं लेकिन उनकी चुनावी पारी 2022 में शुरू हुई।

प्रधानमंत्री ने क्यों की थी रवीन्द्र जडेजा की तारीफ ?

प्रधानमंत्री ने क्यों की थी रवीन्द्र जडेजा की तारीफ ?

रवीन्द्र जडेजा और रिवाबा की एक बेटी है निधान्या। 8 जून 2022 को निधान्य पांच साल की हुई तो रवीन्द्र जडेजा ने बेटी के जन्मदिन को खास तरीके से मनाने का फैसला किया। पति-पत्नी ने तय किया कि निधान्या के पांचवें जन्म दिन पर 101 लड़कियों को खास तोहफा देंगे। उन्होंने जामनगर के पोस्टऑफिस में 101 लड़कियों के सुकन्या समृद्धि योजना के लिए खाता खुलवाया। हर खाते में 11-11 हजार रुपये जमा कराये। इस तरह रवीन्द्र और रिवाबा ने 101 लड़कियों को ऐसा उपहार दिया जिससे उनका भविष्य उज्ज्वल हो रहा है।

क्या है कन्या समृद्धि योजना ?

क्या है कन्या समृद्धि योजना ?

यह 10 साल से कम उम्र की बच्चियों के लिए एक बचत योजना है। इसमें सालाना न्यूनतम निवेश 250 रुपये लेकर 1.50 लाख रुपये तक किया जा सकता है। 14 साल तक प्रीमियम जमा करना होता है। लेकिन परिपक्वता की अवधि 21 साल है। इस योजना में जमा राशि पर 7.20 फीसदी की दर से ब्याज मिलता है। बच्ची जब 18 साल की हो जाती है तब वह खाता का खुद संचालन कर सकती है। फिर वह पढ़ाई या शादी के समय इन जमा पैसों का सदुपयोग कर सकती हैं। इस तरह जडेजा ने बच्चियों की आर्थिक सुरक्षा के लिए एक बड़ा योगदान दिया। इसकी वजह से ही प्रधानमंत्री ने रवीन्द्र जडेजा की प्रशंसा की थी। जडेजा एक सफल क्रिकेटर तो हैं ही, उनकी मानवीय संवेदना भी काबिलेतारीफ है।

क्या भाजपा और रवीन्द्र जडेजा के नाम का मिलेगा फायदा ?

क्या भाजपा और रवीन्द्र जडेजा के नाम का मिलेगा फायदा ?

रवीन्द्र जडेजा की लोकप्रियता का फायदा रिवाबा जडेजा को मिला। भाजपा को रवीन्द्र जडेजा में इतनी प्रबल संभावना दिखी कि उसने जामनगर उत्तर के सीटिंग विधायक धर्मेंद्र सिंह जडेजा का टिकट काट कर रिवाबा को उम्मीदवार बना दिया। वैसे जामनगर उत्तर सीट की चुनावी लड़ाई इतनी आसान नहीं जितनी दिख रही है। रवीन्द्र जडेजा पर भी एक बड़ा दबाव है। उनके पिता अनिरुद्ध सिंह और बहन नयनाबा कांग्रेस में हैं। रिवाबा के चाचा हरि सिंह सोलंकी भी कांग्रेस के नेता हैं। ऐसे में चुनावी राजनीति के कारण रवीन्द्र जडेजा के परिवार में कलह शुरू हो सकती है। जडेजा की बहन नयनाबा ने रिवाबा को एक कमजोर उम्मीदवार बताया है।

जामनगर उत्तर सीट

जामनगर उत्तर सीट

जामनगर उत्तर सीट के सीटिंग विधायक धर्मेंद्र सिंह जडेजा 2012 में कांग्रेस के टिकट पर जीते थे। लेकिन 2017 के चुनाव के पहले वे भाजपा में आ गये और फिर विधायक बने। लेकिन एक कानूनी मुकदमे की वजह से भाजपा ने इस बार उनका टिकट काट दिया। कांग्रेस ने इस सीट पर वीपेन्द्र सिंह जडेजा को मैदान में उतारा है। अगर जातीय समीकरण की बात करें तो यहां दो राजपूत उम्मीदवारों के बीच मुकाबला है। पहले चर्चा थी कि रवीन्द्र जडेजा की बहन नयनाबा को कांग्रेस यहां से टिकट दे सकती है। अगर ऐसा होता तो रिवाबा की मुश्किल बढ़ जाती। आप के कर्सन कर्मूर ने यहां मुकाबले को दिलचस्प बना दिया है। हालांकि कांग्रेस उम्मीदवार वीपेन्द्र, आप को वोटकटवा बता रहे हैं। अगर ऐसा है भी तो इसका नुकसान कांग्रेस को ही होने वाला है।

रवीन्द्र जडेजा के परिवार में राजनीति की दो धारा

रवीन्द्र जडेजा के परिवार में राजनीति की दो धारा

रवीन्द्र जडेजा के परिवार में राजनीति की दो धारा प्रवाहित है। रवीन्द्र और उनकी पत्नी रिवाबा भाजपा समर्थक हैं तो उनके पिता और बहन नयनाबा कांग्रेस समर्थक। इसकी वजह से 2021 के स्थानीय चुनाव में यह परिवार दो गुटों में बंट गया था। नयनाबा ने कांग्रेस के लिए प्रचार किया था जब कि रिवाबा ने भाजपा के लिए। उस समय जामनगर नगर निगम की 64 सीटों पर चुनाव हुए थे जिसमें भाजपा को 50 सीटों पर जीत मिली थी। कांग्रेस के खाते में केवल 11 सीट आयी थी। 3 सीटों अन्य को मिलीं थीं। यानी एक साल पहले हुए चुनाव में जामनगर की जनता ने भाजपा को बड़ा जनसमर्थन दिया था। अब देखना है कि विधानसभा चुनाव के समय जनता क्या क्या रुख रहता है।

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English summary
ravindra jadeja wife rivaba jadeja gujarat assembly elections 2022 bjp candidate
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