गाजीपुर: बिस्तर के पास अंगीठी रखकर सोया था शख्स, झोपड़ी में आग लगने से तीन बच्चों की जलकर मौत
Ghazipur Fire Accident: गाजीपुर। उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के गाजीपुर (Ghazipur) में ठंड से बचने के लिए जलाए गए अलाव ने एक परिवार की तीन जिंदगी छीन लीं। अलावा के कारण झोपड़ी में आग लग गई, जिसमें तीन बच्चों की झुलसकर दर्दनाक मौत हो गई। वहीं, गंभीर रूप से झुलसी बच्चों की मां को अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसका इलाज चल रहा है। पुलिस ने बच्चों के शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है और मामले में आगे की कार्रवाई कर रही है।
बिस्तर के पास रखकर सोया था अंगीठी
मूल रूप से चंदौली जिले के रहने वाला बबलू वनवासी पत्नी भागीरथी व तीन बच्चों संग भट्ठा पर ईंट की पथाई का काम करता था। बुधवार की शाम को काम खत्म करने के बाद बबलू के परिवार ने घर में खाना खाया, इसके बाद भट्टा परिसर स्थित अपने झोपड़ी में सोने की तैयारी की। ठंड से बचने के लिए बबलू किनारे जली अंगीठी रखकर नीचे पुआल पर पड़े बिस्तर पर सो गया। रात करीब एक बजे अंगीठी की आग बिस्तर में लग गई, देखते ही देखते आग पूरी झोपड़ी में लग गई। बबलू झोपड़ी से बाहर निकलकर मदद के लिए चिल्लाने लगा। आवाज सुनकर पास की ही झोपड़ी में सो रहे कई लोग मौके पर पहुंचे और हैंडपंप से पानी लेकर आग को बुझाई।
तीन बच्चों की मौत, मां की हालत गंभीर
लोगों ने बबूल की पत्नी भागीरथी और चार साल के मासूम डमरू को झुलसी हुई हालत में बाहर निकाला। वहीं, पूजा (13), चंद्रिका (7) की मौत हो चुकी थी। जानकारी मिलते ही भट्ठा मालिक मौके पर पहुंचे और आग से झुलस चुके लोगों को एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया, जहां डॉक्टरों ने सभी की हालत देख उन्हें बीएचयू वाराणसी के लिए रेफर कर दिया। उपचार के दौरान गुरुवार की सुबह डमरू की भी मौत हो गई। घटना की जानकारी पर सीओ हितेंद्र कृष्ण, तहसीलदार आलोक कुमार व कोतवाल राजीव कुमार सिंह मौके पर पहुंचे और घटना की जानकारी ली।
अलीगढ़ में पति बना हैवान, पत्नी को कई दिन रखा भूखा, खाना मांगने पर कुत्ते से कटवाया