दुष्कर्म के विरोध पर पिता ने जला दिया था मासूम का प्राइवेट पार्ट, 17 महीने संघर्ष कर मां ने दिलाई सजा
फिरोजाबाद। 10 साल की मासूम बच्ची से दुष्कर्म और विरोध करने पर उसका प्राइवेट पार्ट केरोसिन डालकर जला देने के मामले में कोर्ट बच्ची के पिता को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने दोषी पिता को उम्रकैद और 2.85 लाख रुपए के जुर्माने की सजा सुनाई है। बता दें कि बेटी को इंसाफ दिलाने के लिए पति से अलग रह रही उसका मां ने 17 महीने संघर्ष किया। आज मां के संघर्ष ने आरोपी पिता को सलाखों के पीछे पहुंचा दिया है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, महिला आगरा के हरीपर्वत थाना क्षेत्र की रहने वाली है, जिसकी शादी 13 साल पहले नारखी क्षेत्र में हुई थी। बता दें कि महिला पति से झगड़े के बाद चार में से तीन बच्चों को लेकर आगरा अपने मायके में आ गई थी। लेकिन उसकी 10 साल की बेटी पिता के साथ रह गई थी। मार्च 2018 में पिता ने अपनी मासूम बेटी के साथ दुष्कर्म करने की कोशिश, लेकिन उसके द्वारा विरोध करने पर आरोपी ने उसका प्राइवेट पार्ट जला दिया था।
मासूम बच्ची को गंभीर हालत में इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया। लेकिन परिवार के लोगों ने इस बारे में पुलिस को कोई जानकारी नहीं दी। दो महीने बाद दो जुलाई 2018 को मां जब बेटी से मिलने के लिए गई तब उसे घटना का पता चला। उसने ठान लिया कि बेटी को इंसाफ दिलाकर रहेगी। उसने आगरा के महिला थाने में केस दर्ज कराया। पुलिस ने आरोपी पिता के खिलाफ चार्जशीट दाखिल दी। स्पेशल जज (पोक्सो एक्ट) वीके जायसवाल की कोर्ट में मुकदमा चला। अंतत: सजा हुई।
जिला शासकीय अधिवक्ता वसंत गुप्ता ने बताया कि उन्होंने नौ गवाह पेश किए। दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट में दोष सिद्ध पाते हुए कोर्ट ने अपराधी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। अलग-अलग मामलों में मिलाकर 2.85 लाख का जुर्माना किया। इसमें से 50 फीसदी धनराशि पीड़ित बच्ची को दी जाएगी।