छत्तीसगढ़ में Digital Budget पेश करने की तैयारी, काम मे आएगी तेजी, बचेंगे करोड़ों रुपए
छत्तीसगढ़ विधानसभा में पहली दफा ऑनलाइन बजट पेश करने की तैयारी चल रही है। राज्य के वित्त विभाग ने इसके लिए प्रस्ताव भेजा है। इस प्रस्ताव पर छत्तीसगढ़ विधानसभा में काम जारी है।
रायपुर, 14 सितंबर। छत्तीसगढ़ विधानसभा में पहली दफा ऑनलाइन बजट पेश करने की तैयारी चल रही है। राज्य के वित्त विभाग ने इसके लिए प्रस्ताव भेजा है। इस प्रस्ताव पर छत्तीसगढ़ विधानसभा में काम जारी है। अगर यह संभव हुआ, बजट सत्र के दौरान विधायकों को बजट की मैनुअल कापी देने क स्थान पर उनके टेबल पर ही मॉनिटर लगाए जायेंगे। जिसके लिए पहले सभी विधायकों को इसे चलाने की ट्रेनिंग भी दी जाएगी।
बचेगा राजस्व
अगर छत्तीसगढ़ सरकार डिजिटल तरीके से अपना बजट पेश करती है, तो सरकार के करोड़ों रुपए का राजस्व बचेगा। इसके पूर्व उत्तराखंड, असम और उड़ीसा में ई-बजट पेश किया जा चुका है ,वहीं केंद्र सरकार ने भी साल 2021 और 2022 का बजट इसी तरीके से पेश किया था। छत्तीसगढ़ विधानसभा और वित्त विभाग के तकनीकी अफसरों के बीच इस विषय पर बैठक हो चुकी है।
इस बार अधिकतर विधायक युवा और शिक्षित हैं, इस कारण से उन्हें मानिटर आपरेट करने में परेशानी नहीं होगी। नए बजट के संबंध में वित्त विभाग ने विभागों से ऑनलाइन प्रस्ताव मंगवा लिए हैं। बजट 2022-23 के तैयार प्रारूप के मुताबिक 13 सितंबर से इस पर काम शुरू हो रहा है। छत्तीसगढ़ में इस साल राज्य सरकार का बजट चुनावी बजट होगा,इसलिए भी इसपर सबकी नजर रहेगी।
धीरे धीरे हो रहा है सुधार
5 वर्ष पूर्व तत्कालीन स्पीकर गौरीशंकर अग्रवाल ने छत्तीसगढ़ विधानसभा सचिवालय में पेपर लेस काम शुरू करवाया था।जिसके बाद सदन के पटल पर रखे जाने वाले प्रतिवेदन पैन ड्राइव और सीडी में दिए जाने लगे। मौजूदा अध्यक्ष डॉ. चरणदास महंत ने प्रश्नकाल के लिए विधायकों से सवाल भी ऑनलाइन मंगवाने की प्रकिया बीते दो सेशन से शुरू कर दी है। इस सुविधा के बाद राज्य के विधायक अब घर बैठकर ही सवाल भेज रहे हैं।
भाजपा ने ढूंढी सियासत
इधर छत्तीसगढ़ सरकार के डिजिटल बजट प्रस्तुत करने की तैयारी पर लोकसभा सांसद और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अरूण साव ने कहा है बजट डिजिटल हो या मैनुअल लेकिन धोखेबाज नही होना चाहिए। साव ने कहा राज्य सरकार ने मूल व अनुपूरक बजट मिलाके 11 से ज्यादा बार विधानसभा में बजट प्रस्तुत किया है लेकिन कांग्रेस ने घोषणा पत्र में किए वादे के अनुरूप किसानों के 2 साल का बोनस जिसकी राशि लगभग 4,800 करोड़ है उसका प्रावधान क्यों नही किया? साव ने सवाल किया आखिर राज्य सरकार अपने डिजिटल बजट में कब इन राशियों का प्रावधान करेगी?
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