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उजड़ गया केदारनाथ, यहां अब सिर्फ लाशें और मल‍बा

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केदारनाथ। उत्‍तराखंड में आयी भीषण तबाही ने राज्‍य को इस स्थिति में पहुंचा दिया है कि अब यहां कम से कम अगले तीन साल तक पर्यटन की संभावनाएं ही खत्‍म हो गयी हैं। साथ ही इसने राज्‍य की अर्थव्‍यवस्‍था को भी तबाह कर दिया है। हिंदूओं के बड़े तीर्थ स्‍थान माने जाने वाले बद्रीनाथ और केदारनाथ में अब सिर्फ मलबा और कीचड़ ही दिखाई दे रहा है।

केदारनाथ बद्रीनाथ कमेटी के चीफ एक्‍जीक्‍यूटिव आफिसर बी डी सिंह का कहना है कि अब यहां कम से कम तीन साल पर्यटन की उम्‍मीद नहीं की जा सकती है। चारों तरफ सिर्फ मलबा और लाशें ही दिखाई दे रही हैं।

यह ध्‍यान देने योग्‍य है कि पर्यटन और कृषि से ही राज्‍य की मुख्‍य आय होती है लेकिन विध्‍वंस ने दोनों को ही नुकसान पहुंचाया है। अत: राज्‍य की अर्थव्‍यवस्‍था को यहां करारा झटका लगा है।

अगर आंकड़ों की बात करें तो भले ही यह राज्‍य छोटा हो पर पिछले साल सबसे ज्‍यादा 9 फीसदी ग्रोथ इसी राज्‍य में दर्ज की गयी। इसका कारण यहां का पर्यटन ही था। यहा के हिल स्‍टेशन, मसूरी, अल्‍मोड़ा, रानीखेत और नैनीताल में प्रतिवर्ष हजारों पर्यटक आते हैं। जिससे कि राज्‍य को बड़ी आय प्राप्‍त होती है लेकिन इस प्राकृतिक आपदा के बाद राज्‍य की अर्थव्‍यवस्‍था पर बुरा प्रभाव पड़ेगा।

देहरादून

देहरादून

केदारनाथ में हुई तबाही से निकाले जाने के बाद अपने परिजनों से मिलते श्रद्धालु।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

एक श्रद्धालु को सुरक्षित स्‍थान पर ले जाते एनडीआरएफ के जवान।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

अपने खोए हुए एक प‍ारिवारिक सदस्‍य की फोटो दिखाता एक आदमी।

देहरादून

देहरादून

देहरादून के हेलीपैड पर केदारनाथ में फंसे एक श्रद्धालु का परिजन।

देहरादून

देहरादून

केदारनाथ से सेना द्वारा बचाकर लाये गये लोगों से मिलते उनके परिजन।

केदारनाथ

केदारनाथ

हिंदू‍ओं के पवित्र तीर्थ केदारनाथ में अ‍ब सिर्फ पत्‍थर और मलबा ही दिखाई दे रहा है।

केदारनाथ

केदारनाथ

हिंदू‍ओं के पवित्र तीर्थ केदारनाथ में अ‍ब सिर्फ पत्‍थर और मलबा ही दिखाई दे रहा है।

केदारनाथ

केदारनाथ

हिंदू‍ओं के पवित्र तीर्थ केदारनाथ में अ‍ब सिर्फ पत्‍थर और मलबा ही दिखाई दे रहा है।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

उत्‍तरकाशी से वायुसेना के एक जहाज द्वारा लोगों को लाया जा रहा है।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

उत्‍तरकाशी से वायुसेना के एक जहाज द्वारा लोगों को लाया जा रहा है।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

उत्‍तरकाशी से वायुसेना के एक जहाज द्वारा लोगों को लाया जा रहा है।

गुप्‍तकाशी

गुप्‍तकाशी

आपदा राहत कार्यक्रम के अंतर्गत राहत सामग्री लोगों तक पहुंचाने के लिए तैयार होता जहाज।

गौरी कुंड

गौरी कुंड

उत्‍तराखंड में आयी बाढ़ और भूस्‍खलन से एक टट्टू को निकालने की कोशिश करते लोग।

गौरी कुंड

गौरी कुंड

सेना द्वारा बचाये गये लोग।

गौरी कुंड

गौरी कुंड

सेना द्वारा की जा रही मदद का इंतजार करती एक महिला।

गौरी कुंड

गौरी कुंड

गौरी कुंड में टूटे हुए घर और होटल।

 गौरी कुंड

गौरी कुंड

रस्‍सी के पुल बनाकर लोगों को बचाकर निकालने के प्रयास करते सेना के जवान।

Comments
English summary
Official reports say that Uttarakhand is not in a state to support religious, adventure and eco-tourism for the next three years. Officials of the two shrines-Kedarnath and Badrinath say " there is nothing left of the city now.
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