और कितनी जानें लेगा ये एनआरएचएम घोटाला: दिग्विजय सिंह
उन्होंने पत्रकारों से कहा कि सुनील वर्मा ने आत्महत्या नहीं की है और उनकी हत्या की गई है। एनआरएचएम घोटाले की तरह इस मामले की भी सीबीआई जांच होनी चाहिए। पेशे से इंजीनियर सुनील वर्मा ने जो सुसाईड नोट छोड़ा है उसमें उन्होंने मौत के लिए किसी को जिम्मेदार नहीं ठहराया है। सीबीआई ने कुछ दिन पहले उनके घर पर छापा मारा था।
गौरतलब है कि इससे पहले भी इस घोटाले में 3 लोगों की जान जा चुकी है। सबसे पहले सीएमओ विनोद आर्या की उनके आवास के पास ही हत्या कर दी गई थी। उसके बाद दूसरे सीएमओ वीपी सिंह को भी उनके आवास के पास मॉर्निंग वॉक के दौरान गोली मार दी गई थी। इस मामले में ही डिप्टी सीएमओ वाईएस सचान की भी मौत हो चुकी है। हालांकि अभी यह साफ नहीं हो पाया है कि उन्होंने आत्महत्या की थी या उनकी हत्या की गई।
इस घोटाले में बसपा के 2 मंत्रियों की कुर्सी भी जा चुकी है। जिसमें भाजपा में शामिल हुए बाबू राम कुशवाहा का नाम शामिल है। इस मामले में पिछले कुछ दिनों में सीबीआई ने उत्तर प्रदेश के कई हिस्सों में छापेमारी की है। जिसके बाद कई गिरफ्तारियां संभव हैं। एनआरएचएम घोटाले पर सीएजी की भी रिपोर्ट आ चुकी है जिसमें 2100 करोड़ रुपए का घपला होने की बात कही गई है।