भारत-अमेरिका व्यापार परिषद ने बजट को संतुलित और प्रगतिशील बताया
वाशिंगटन, 27 फरवरी (आईएएनएस)। भारत-अमेरिका व्यापार परिषद (यूएसआईबीसी) ने भारत के नए बजट की प्रशंसा करते हुए कहा कि आवश्यक निवेश आकर्षित करने, नए तरीकों को प्रोत्साहित करने और देश के सभी नागरिकों के लिए समग्र विकास के वास्ते इसने एक मजबूत आधारशिला रखी है।
आर्थिक विकास के लिए बीमा क्षेत्र के महत्व को स्वीकार करने का स्वागत करते हुए यूएसआईबीएस ने भारत सरकार से बीमा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश की सीमा बढ़ाकर 49 प्रतिशत करने का आग्रह किया। संस्था ने कहा कि भारत के महत्वाकांक्षी आधारभूत ढांचा क्षेत्र निर्माणों को वित्त उपलब्ध कराने में मदद के वास्ते दीर्घकालिक निवेश आकर्षित करने के लिए यह बहुत महत्वपूर्ण है।
व्यापार संस्था ने शुक्रवार को कहा कि भारत के 2010-11 के बजट में पहले से ही तेज प्रगति कर रही अर्थव्यवस्था के विकास की गति बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण कदमों की व्याख्या की गई है। इससे संकेत मिलता है कि भारत के लिए वर्ष 2008-09 की मंदी इतिहास की बात है।
संघीय घाटे में कमी लाने, सीमा शुल्क संहिता में सकारात्मक बदलाव, बैंकिंग और वित्तीय क्षेत्र में मजबूती और विस्तार और विभिन्न क्षेत्रों में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश को आसान बनाने की प्रतिबद्धता व्यापार विशेषकर अमेरिकी उद्योग जगत के लिए महत्वपूर्ण है।
बाजार आधारित निजी क्षेत्र की अगुवाई वाले विकास के महत्व के बारे में वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की टिप्पणी का स्वागत करते हुए यूएसआईबीएस के अध्यक्ष रॉन सोमर्स ने कहा, "एक जीवंत और प्रतिस्पर्धात्मक निजी क्षेत्र की अगुवाई में निरंतर विकास भारतीय नागरिकों के जीवन में सुधार के लिए महत्वपूर्ण है।"
उन्होंने कहा कि इस बजट में आधारभूत ढांचा, शिक्षा, कारपोरेट प्रशासन और वित्तीय जवाबदेही पर जोर देकर सरकार ने संदेश दिया है कि वह सभी नागरिकों के हित में भारत की विकास दर को दोहरे अंकों में ले जाने को तैयार है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।