फैक्ट चेक: मस्जिदों को बंद करने के आदेश को चुनौती देने वाला VIDEO क्या भारत का है, जानिए सच
नई दिल्ली। सोशल मीडिया पर आए दिन कोई ना कोई वीडियो वायरल होता है लेकिन उस वीडियो को लेकर किया जा रहा दावा पड़ताल के बाद फेक साबित होता है। इसी तरह का एक अन्य वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है जिसमें एक शख्स लोगों की भीड़ को संबोधित करते हुए कह रहा है कि उन्हें मस्जिदों में प्रवेश पर रोक के सरकारी आदेश का विरोध करना चाहिए। सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा था कि ये शख्स भारत का है, लेकिन ये दावा गलत साबित हुआ है।
पाकिस्तान का है ये वीडियो
ये मामला पाकिस्तान का है जो इस महीने के शुरू में सामने आया था। पाकिस्तान के मनसेहरा में एक अंतिम संस्कार के लिए बड़ी संख्या में लोग जमा हुए थे, जहां जमात-उलेमा-ए-इस्लाम के मुफ्ती किफायतुल्लाह भी मौजूद थे। उन्होंने कहा कि यदि आप ऐसा करते हैं, तो हमें यह सोचने के लिए मजबूर होना पड़ेगा कि अमेरिका के निर्देश पर मस्जिदों को निशाना बनाया जा रहा है। हम अपनी जान दे देंगे, लेकिन अपनी मस्जिदों को नहीं।
किफ़ायतुल्लाह को गिरफ्तार कर लिया गया
ट्विटर पर एक यूजर ने भी पुष्टि की कि यह वीडियो पाकिस्तान का है। उस्मान अली ने ट्विटर पर कहा कि इस वीडियो के सामने आने के बाद मनसेहरा में मुफ्ती किफ़ायतुल्लाह को गिरफ्तार कर लिया गया। इस यूजर ने यह भी कहा कि हर बार जब वह इस क्लिप को देखता है, तो वह प्रार्थना करता है कि अल्लाह हम पर दया करे और अल्लाह हमें इन बेवकूफों से बचाए।
पाकिस्तान में उड़ीं लॉकडाउन की धज्जियां
वायरल हो रहे वीडियो में शख्स का ये भी कहना था कि अगर सरकार मस्जिदों में 5 से अधिक लोगों को जाने की अनुमति नहीं देती है, तो लोग अपनी जान देने के लिए भी तैयार हैं। पूरी दुनिया इस वायरस पर कैसे जीत हासिल की जाए इसका रास्ता तलाशने में जुटी है वहीं पाकिस्तान में मौलवियों ने कोरोनोवायरस बीमारी कोविद-19 के प्रसार को रोकने के लिए सरकारी दिशानिर्देशों का पालन करने से इनकार कर दिया है। उन्होंने लॉकडाउन के नियमों का पालन करने से इनकार करते हुए कहा कि हर दिन की जाने वालीं पांच वक्त की नमाज और शुक्रवार की नमाज मस्जिदों में आयोजित की जाएगी।