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सीएम योगी के विशेष वरासत अभियान को मिला लोगों का भरपूर समर्थन, 24 दिनों में 2 लाख से ज्यादा आवेदनों का निपटारा

By Oneindia Staff
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लखनऊ। राज्य में भूमि विवादों को जड़ से खत्म करने को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर शुरु हुए "विशेष वरासत अभियान" को ग्रामीण क्षेत्रों में जनता का भरपूर समर्थन मिल रहा है। यही वजह है कि गत 15 दिसंबर से "आपकी जमीन, आपका अधिकार, सबको मिले अपना उत्तराधिकार" के संकल्प से शुरू हुए विशेष वरासत अभियान के तहत मात्र 24 दिनों में ही राजस्व विभाग ने वरासत से संबंधित 2.16 लाख आवेदनों का निस्तारण कर दिया है। चंद दिनों में ही इतनी बड़ी संख्या में वरासत संबंधी मामलों का निस्तारण किए जाने से अब राज्य के गांव-गांव में विशेष वरासत अभियान में रूचि लेते हुए लोग निर्विवाद उत्तराधिकारों को खतौनियों में दर्ज कराने के लिए बढ़चढ़ कर आवेदन कर रहें हैं। इसे देखते हुए यह दावा किया जा रहा है कि आवेदन करने वालों की संख्या में इजाफा होगा और आगामी 15 फरवरी के बाद राज्य में वरासत से संबंधित एक भी विवाद शेष नहीं रहेगा।

Varasat abhiyan in UP gets public support

इस अभियान के प्रति लोगों के रुझान को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य के सभी मंडलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों को विशेष वरासत अभियान में प्राप्त आवेदनों का शत-प्रतिशत ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कराने के निर्देश दिएं हैं। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा है कि राजस्व ग्राम समिति की बैठक के लिए व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाए, ताकि इस अभियान में अधिकतम सहभागिता सुनिश्चित की जा सके। मुख्यमंत्री के इस निर्देश पर राजस्व विभाग के अधिकारियों के विशेष वरासत अभियान के प्रचार प्रचार का कार्य तेज कर दिया है और लेखपाल तथा विभाग के अन्य अधिकारी गांव-गांव पहुंच कर लोगों से आवेदन रहे हैं। राजस्व परिषद के अध्यक्ष दीपक कुमार ने भी वरासत अभियान की समीक्षा करने के बाद सभी मंडलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों को वरासत अभियान के तहत प्राप्त हो रहे आवेदनों को तय सीमा में निस्तारित करने को कहा है।

इस अभियान के प्रति सरकार की सक्रियता का ही यह परिणाम है कि राज्य के 1,08,920 राजस्व ग्रामों में निर्विवाद उत्तराधिकारियों को खतौनियों में दर्ज कराने के लिए बड़ी संख्या में लोग आगे रहे हैं। जिसके चलते गत 15 दिसंबर से अब तक 3,38,032 आवेदन प्राप्त हुए हैं। जिनमें से 2,16,885 आवेदनों का राजस्व विभाग ने निस्तारित कर दिया हैं। ग्रामीणों से प्राप्त शेष बचे आवेदनों को भी निस्तारित करने की प्रक्रिया चल रही है। अधिकारियों का कहना है कि राज्य में वरासत संबंधी विवादों को पूरी तरह से खत्म करने के लिए बीते 24 दिनों से पांच चरणों में चलाए जाने जा रहे विशेष वरासत अभियान के तहत गांव-गांव जा कर राजस्व विभाग के लेखपाल तथा अन्य अधिकारी ग्रामीणों से वरासत संबंधी प्रकरणों की जानकारी लेकर उसका निस्तारण कर रहें हैं।

इस विशेष वरासत अभियान को जहां सरकार बहुत महत्व दे रही है, वहीं जनता का सहयोग भी मिला है। सरकार चाहती है कि वर्षों से लंबित वरासत संबंधी एक भी प्रकरण शेष ना रहे। इसी सोच के तहत 15 दिसंबर से प्रदेश की सभी ग्राम पंचायतों तथा ब्लाकों में विशेष वरासत अभियान चल रहा है। इस अभियान के तहत लोगों को वरासत दर्ज कराने के लिए ऑनलाइन व ऑफलाइन दोनों तरह की सुविधाएं दी गई हैं। जिनकी जमीन गांवों में है लेकिन वह कहीं और रह रहे हैं उनके लिए हर तहसील स्तर पर एक काउंटर भी खोला गया है। अभियान के तहत लोग ज्यादा से ज्यादा आवेदन करे, इसके तहत हेल्पलाइन नम्बर तथा ई-मेल आईडी की व्यवस्था की गई है। हर आवेदक राजस्व परिषद की हेल्पलाइन तथा मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर सम्पर्क कर विशेष वरासत अभियान के सम्बन्ध में आवश्यक जानकारी प्राप्त कर सके, इसकी भी व्यवस्था की गई है। राजस्व विभाग के अफसरों का दावा है कि 15 फरवरी के बाद राज्य में वरासत संबंधी प्रकरणों का निस्तारण कर दिया जाएगा और ऐसा करने वाला उत्तर प्रदेश देश का पहला राज्य होगा।

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English summary
Varasat abhiyan in UP gets public support
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