कोरोना की तीसरी लहर से पहले तीनों विदेशी वैक्सीन को लेकर दिल्ली सरकार का ये है मास्टर प्लान
दिल्ली सरकार की कोशिश है कि कोरोना की तीसरी लहर से पहले ही प्रदेश की आबादी को वैक्सीनेट कर दिया जाए...
नई दिल्ली, 27 मई: दिल्ली सरकार एक तरफ तो कोरोना वायरस की दूसरी लहर को काबू करने की लड़ाई लड़ रही है। वहीं आने वाली तीसरी लहर से लोगों को बचाने के लिए भी हरसंभव प्रयास में जुटी हुई है। दिल्ली सरकार की कोशिश है कि इससे पहले दिल्ली की आबादी को वैक्सीनेट कर दिया जाए। इसके लिये सरकार उन सभी अंतरराष्ट्रीय स्तर की कोरोना वैक्सीन इस्तेमाल करने की इजाजत देने की मांग कर रही है।
इस बीच देखा जाए तो दिल्ली सरकार की ओर से 16 जनवरी से लेकर अब तक सिर्फ 51.85 लाख से ज्यादा लोगों को ही कोरोना वैक्सीन की डोज दी गई हैं। इसमें 40 लाख से ज्यादा को पहली डोज और 11 लाख से ज्यादा लोगों को वैक्सीन की दूसरी डोज दी जा चुकी है।
इसके पीछे एक बड़ी वजह यह भी मानी जा रही है कि केंद्र की ओर से मिलने वाले वैक्सीन डोज कम संख्या में दिल्ली को मिलती हैं। सरकार का दावा तो यह है कि अगर कोरोना वैक्सीन की पर्याप्त डोज दिल्ली को उपलब्ध होती हैं तो वह अगले 3 माह में पूरी दिल्ली को वैक्सीन की डोज लगा देंगे।
कोरोना की दूसरी लहर के बीच अब बड़ी समस्या यह आ गई है कि दिल्ली में कोरोना वैक्सीन की कोवाक्सिन और कोविशील्ड का स्टॉक करीब-करीब समाप्त हो चुका है। इसकी वजह से दिल्ली सरकार को अपने तमाम सेंटरों को बंद करना पड़ गया है। ऐसे में अब दिल्ली सरकार को चिंता सता रही है कि लोगों की वैक्सीनेशन नहीं होने से आने वाली तीसरी लहर में बड़ी परेशानी पैदा हो सकती है।
इसके लिए सबसे बड़ी चिंता की बात तीसरी लहर के बच्चों के लिए ज्यादा खतरनाक बताया जाना है। ऐसे में दिल्ली सरकार अंतरराष्ट्रीय स्तर की सभी कोरोना वैक्सीन को देश में मंजूरी देने की मांग लगातार केंद्र से कर रही है।
दिल्ली सरकार कोरोना वैक्सीन कोवाक्सिन और कोविशील्ड के स्टॉक के खत्म होने के चलते चाह रही है कि रूस की ओर से निर्मित स्पूतनिक वी वैक्सीन दवा को दिल्ली में लोगों को दिया जाए। इसको लेकर दिल्ली सरकार कंपनी के साथ लगातार संपर्क में भी है।
सरकार प्रयास कर रही है कि उसको रूस की कोरोना वैक्सीन स्पूतनिक सप्लाई हो। इस पर सरकार को यह जरूर आश्वासन मिला है कि उसको वैक्सीन उपलब्ध करवाई जाएगी, लेकिन अभी वैक्सीन की कितनी डोज मुहैया कराई जाएंगी, इस पर अभी फैसला नहीं हो पाया है।
इसके अलावा दिल्ली की सरकार अंतरराष्ट्रीय स्तर की दो अन्य वैक्सीन अमेरिका की फाइजर और मॉडर्ना की भी डिमांड कर रही है। बताया जाता है कि यह दोनों ही वैक्सीन बच्चों के ऊपर कारगर बताई गई हैं। इस वजह से दिल्ली सरकार और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल इन वैक्सीन को जल्द से जल्द भारत में मंजूरी मिलने की उम्मीद कर रहे हैं।
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उधर, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर माडर्ना और फाइजर दोनों ने बोला है कि उनकी वैक्सीन के ट्रायल हो चुके हैं और उनकी वैक्सीन बच्चों के लिए उपयुक्त है। केजरीवाल सरकार का दावा है कि अगर उनको पर्याप्त मात्रा में यह वैक्सीन उपलब्ध हो जाती है तो वह बच्चों को एक से डेढ़ माह में पूरी तरीके से वैक्सीनेट कर देंगे। दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल और डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया की ओर से इन दवाओं को उपलब्ध कराने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी कई बार पत्र लिखा जा चुका है. लेकिन अभी केंद्र की ओर से इस दिशा में कोई कदम नहीं उठाया गया है।