Student election 2022: अब इस वजह से हो रही छात्र संघ चुनाव में देरी, छात्र संगठनों की बढ़ी बेचैनी
परीक्षाओं के परिणाम न आने से छात्रसंघ चुनाव की तारीख तय नहीं
उत्तराखंड के कॉलेजों में छात्र संघ चुनाव का इंतजार बढ़ता जा रहा है। छात्रों के परीक्षाओं के परिणाम न आने की वजह से अभी तक छात्र संघ चुनाव की तारीख तय नहीं हो पाई है। ऐसे में दो साल से छात्र संघ चुनाव का इंतजार कर रहे छात्रों की बैचेनी बढ़ती जा रही है।
119 महाविद्यालयों में अभी छात्र संघ चुनाव नहीं हुए
उत्तराखंड के 119 महाविद्यालयों में अभी छात्र संघ चुनाव नहीं हुए हैं। उच्च शिक्षा विभाग की और से इन कॉलेजों में छात्र संघ चुनाव दिसंबर में एक ही तारीख में एक साथ होने की बात की गई है। इसके लिए 30 नवंबर तक की डेडलाइन दी गई है। लेकिन अब तक परीक्षाओं के परिणाम घोषित नहीं हो पाए हैं। जब तक परीक्षाओं के परिणाम घोषित नहीं होते तब तक छात्र संघ चुनाव की तारीख का ऐलान भी नहीं हो सकता है। डीएवी कॉलेज के छात्र नेता सुमित कुमार ने बताया कि अभी किसी भी कक्षा के बैक पेपर के परिणाम नहीं आए हैं। यूनिवर्सिटी की और से जानकारी दी गई कि 30 नवंबर तक परिणाम घोषित कर दिए जाएंगे।इसके बाद चुनाव की तारीख तय कर दी जाएगी। सुमित ने कहा कि वे भी परीक्षा परिणाम का इंतजार कर रहे हैं। हालांकि छात्र नेता अभी से प्रचार प्रसार में जुटे हैं।
एनएसयूआई, एबीवीपी समेत कई छात्र संगठन लगातार तैयारियों में जुटे
प्रदेश के सबसे बड़े कॉलेज डीएवी कॉलेज में तारीखों के ऐलान से पहले ही छात्र नेता चुनावी माहौल तैयार करने में जुटे हैं। एनएसयूआई, एबीवीपी समेत कई छात्र संगठन लगातार तैयारियों में जुटे हैं। जो कि छात्र संघ चुनाव की तारीख का इंतजार कर रहे हैं। बता दें कि अब तक यूनिवर्सिटी कैंपस में हुए चुनावों में एबीवीपी को करारी हार का सामना करना पड़ा है। इन चुनावों में एनएसयूआई का शानदार प्रदर्शन रहा है। जिससे एनएसयूआई पहले से ज्यादा मजबूती से डीएवी समेत अन्य कॉलेजों में चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हें। सबसे ज्यादा छात्र नेताओं की नजर डीएवी कॉलेज पर है। ऐसे में छात्र संघटनों को अब चुनाव की तारीखों का इंतजार है।
2 साल बाद छात्र संघ चुनाव का बिगुल बजने वाला
2 साल बाद उत्तराखंड के कॉलेज और महाविद्यालयों में छात्र संघ चुनाव का बिगुल बजने वाला है। जिसका हर कोई इंतजार कर रहा है। छात्र राजनीति का सबसे बड़ा अड्डा माने जाने वाले डीएवी कॉलेज में अब तक 13 बार एनएसयूआई को हार का मुंह देखना पड़ा है। 2018 तक 12 बार एबीवीपी तो 2019 में हुए छात्र संघ चुनाव में एक बार एबीवीपी से बगावत कर पूर्व अध्यक्षों के समर्थित निर्दलीय लड़ने वाले निखिल शर्मा डीएवी के अध्यक्ष रहे। निखिल के अध्यक्ष कार्यकाल के बाद अब तक चुनाव नहीं हुआ। ऐसे में इस बार एबीवीपी, एनएसयूआई और बागी गुट के लिए ये चुनाव काफी अहम माना जा रहा है। डीएवी पूरी तरह से चुनावी रंग में नजर आने लगा है।