प्रयागराज लाठीचार्ज: घायल अभ्यर्थियों से प्रियंका गांधी ने की बात, कहा- अत्याचार करने वालों पर हो कार्रवाई
नई दिल्ली, 27 जनवरी: रेलवे रिक्रूटमेंट बोर्ड में एनटीपीसी यानी नॉन टेक्निकल पॉपुलर कैटेगरी भर्ती को लेकर कई राज्यों में छात्रों का प्रदर्शन जारी है। दो दिन पहले प्रयागराज में भी प्रदर्शनकारियों ने ट्रेन रोक दी थी। जिसके बाद पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। बाद में कुछ पुलिसकर्मियों ने हॉस्टल में घुसकर छात्रों की पिटाई की। इस घटना में कई छात्र घायल हुए थे। चुनावी सीजन होने की वजह से कांग्रेस ने इस मुद्दे को भुनाना शुरू कर दिया है। जिसके तहत कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने घायल छात्रों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बात की।

यूपी कांग्रेस ने एक स्क्रीनशॉट ट्वीट किया है, जिसमें प्रियंका गांधी छात्रों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बात कर रही हैं। इसके साथ ही पार्टी ने लिखा कि प्रयागराज में पुलिसिया दमन का शिकार हुए छात्रों से प्रियंका गांधी ने बात की। रेलवे भर्ती को लेकर प्रदर्शन के बाद पुलिस ने हॉस्टल और लॉज के दरवाजे तोड़कर छात्रों को पीटा था। प्रियंका गांधी ने छात्रों को सांत्वना दी और जल्द प्रयागराज आकर उनसे मिलने का वादा किया।
कांग्रेस के अलावा प्रियंका ने भी अपने निजी ट्विटर अकाउंट से छात्रों से बातचीत का वीडियो शेयर किया है। उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि आज बातचीत के दौरान प्रयागराज में तैयारी करने वाले युवाओं ने बताया कि उनको प्रदर्शन स्थल से 1 किमी दूर स्थित लॉजों में घुस-घुसकर पीटा गया। ये सरासर अन्याय है। छात्रों पर अत्याचार करने वालों पर कठोर कार्रवाई होनी चाहिए। युवाओं, इन चुनावों में तय करो "जॉब पर बात नहीं, तो वोट नहीं"।
आज बातचीत के दौरान प्रयागराज में तैयारी करने वाले युवाओं ने बताया कि उनको प्रदर्शन स्थल से 1 किमी दूर स्थित लॉजों में घुस-घुसकर पीटा गया
ये सरासर अन्याय है। छात्रों पर अत्याचार करने वालों पर कठोर कार्रवाई होनी चाहिए।
युवाओं, इन चुनावों में तय करो "जॉब पर बात नहीं, तो वोट नहीं" pic.twitter.com/g6tUKiEaSr
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) January 27, 2022
6 पुलिसकर्मी सस्पेंड
छात्रों की पिटाई के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए थे। जिसके बाद प्रयागराज पुलिस भी बैकफुट पर आई। आनन-फानन में जांच की बात कहकर एसएसपी ने 6 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया। जिसमें एक इंस्पेक्टर, दो सब इंस्पेक्टर और तीन कॉन्स्टेबल शामिल हैं। इन सभी पर गैर जरूरी ताकत का इस्तेमाल करने का आरोप है। मामले में प्रयागराज के एसएसपी ने कहा कि इस घटना में राजनीतिक साजिश लग रही है। आशंका ये भी है कि इसके लिए फंडिंग की गई थी।