उत्तर प्रदेश न्यूज़ के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
Oneindia App Download

गोरखपुर के बाद ऑक्सीजन की कमी से मैनपुरी में बच्चे की मौत

गोरखपुर के बाबा राघवदास मेडिकल कॉलेज में हुए दिल को दहला देने वाले हादसे के बाद भी प्रदेश सरकार के स्वास्थ्य विभाग ने सबक लेने का काम नहीं किया है।

By Rajeevkumar Singh
Google Oneindia News

मैनपुरी। गोरखपुर के बाबा राघवदास मेडिकल कॉलेज में हुए दिल को दहला देने वाले हादसे के बाद भी प्रदेश सरकार के स्वास्थ्य विभाग ने सबक लेने का काम नहीं किया है। ऑक्सीजन की कमी और स्वास्थ्य विभाग की अनदेखी के चलते मैनपुरी में फिर एक नवजात की जान चली गई। पीड़ित परिवार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में मौजूद स्वास्थ्यकर्मियों से मदद की गुहार लगाता रहा लेकिन उसकी एक न सुनी गई। स्वास्थ्यकर्मी अस्पताल में डॉक्टर उपलब्ध न होने और ऑक्सीजन कमी की बात कहते हुए बच्चे को प्राइवेट हॉस्पिटल ले जाने की बात कहते रहे, इसी बीच बच्चे ने दम तोड़ दिया। पीड़ित परिवार ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के कर्मियों और डॉक्टरों पर कार्रवाई की मांग की है।

<strong>Read Also: VIDEO: सड़क हादसे में 4 की मौत, डेड बॉडी निकलवाने के लिए बुलानी पड़ी क्रेन</strong>Read Also: VIDEO: सड़क हादसे में 4 की मौत, डेड बॉडी निकलवाने के लिए बुलानी पड़ी क्रेन

दिन में एक बजे हुआ बच्चे का जन्म

दिन में एक बजे हुआ बच्चे का जन्म

मामला मैनपुरी के किशनी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का है। शमशेरगंज निवासी सरिता को उसके परिजनों के प्रसव पीड़ा के बाद अस्पताल में भर्ती कराया जहां रात 1 बजे सरिता ने एक बच्चे को जन्म दिया। बच्चे के जन्म के बाद वहां मौजूद कर्मचारियों ने खुशी जाहिर करते हुए परिवार से हजारों रुपये नेग के रूप में वसूले। प्रसव पीड़िता की सास ने बताया कि लगभग 4 बजे के बाद मुझसे स्टाफ ने कहा कि तुम्हारा बच्चा ठीक है, कुछ और रुपये दो और अपने घर जाओ तो मैंने कहा कि पहले इंजेक्शन तो लगाओ, अभी तक नही लगा। उन्होंने कहा कि इंजेक्शन तो लगा दिया, मैने कहा अभी कोई इंजेक्शन नही लगाया गया है।

स्वास्थ्य केंद्र में नहीं मिला ऑक्सीजन

स्वास्थ्य केंद्र में नहीं मिला ऑक्सीजन

इसके बाद, अस्पताल की नर्स बच्चे को इंजेक्शन लगाने गयी तो उसकी हालत देखकर कहा कि इस बच्चे को ऑक्सीजन की जरूरत है। जल्दी इसे मैनपुरी या सैफई लेकर जाओ। केंद्र पर ऑक्सीजन उपलब्ध नहीं है। वहीं वहाँ खड़ी जिस एम्बुलेंस में ऑक्सीजन उपलब्ध थी उसका भी चालक मौजूद नहीं था। परिजन लगातार स्वास्थ्यकर्मियों से मदद की गुहार लगाते रहे पर किसी ने उनकी एक न सुनी गई। परिजनों ने बताया कि अस्पताल परिसर में एक भी डॉक्टर मौजूद नहीं था। अस्पताल में ही बच्चे की सांसें थम चुकी थी। अपनी लापरवाही पर पर्दा डालने के लिए हम लोगो को यहाँ से हटाया जा रहा था। अस्पताल से मदद न मिलने पर हम लोग बच्चे को एक क्लीनिक पर ले गए जहाँ डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

मासूम की मौत के लिए जिम्मेवार कौन?

सरकारी चिकित्सा केंद्र पर मौजूद वार्ड ब्वॉय प्रभु दयाल ने बताया कि जिस डॉक्टर की डयूटी है, वो एक बजे प्रसव होने के बाद ही अस्पताल छोड़ कर गए, वो शाम 5 बजे तक नहीं लौटे। अब सवाल यह उठता है कि जब प्रसव केन्द्र पर ऑक्सीजन और डॉक्टरों की समुचित व्यवस्था नहीं थी तो पीड़ित को वहाँ भर्ती ही क्यों किया गया, साथ ही सबसे बड़ी बात उस मासूम की मौत का जिम्मेदार कौन

<strong>Read Also: आगरा में शर्मनाक कृत्य, कई गायों पर तेजाब डालकर किया घायल</strong>Read Also: आगरा में शर्मनाक कृत्य, कई गायों पर तेजाब डालकर किया घायल

Comments
English summary
Child died due to lack of oxygen in Mainpuri, Uttar Pradesh.
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X