पहली बार होगा यहां नगर निगम का चुनाव, बीजेपी को वोट छिटकने का डर!
तत्कालीन बसपा सरकार ने साल 2008 में ही सहारनपुर नगर पालिका को नगर निगम का दर्जा दे दिया था, लेकिन इसके बाद प्रदेश में आई सपा सरकार नगर निगम का चुनाव नहीं करा सकी थी। दोनों ही सरकारों को डर था कि नगर निगम पर मेयर उनकी पार्टी का नहीं बन सकता है।
सहारनपुर। सहारनपुर नगर निगम के चुनाव का रंग भी खिलता जा रहा है। भाजपा के मेयर पद के प्रत्याशी संजीव वालिया ने अपना नामांकन पत्र दाखिल कर दिया है। खास बात ये है कि मार्बल व्यवसायी ये प्रत्याशी एक करोड़ 45 लाख रूपए का मालिक है लेकिन इसके बावजूद वो पांच लाख रुपए का सरकारी कर्जदार भी है। सहारनपुर में पहली बार नगर निगम के चुनाव हो रहे हैं। तत्कालीन बसपा सरकार ने साल 2008 में ही सहारनपुर नगर पालिका को नगर निगम का दर्जा दे दिया था, लेकिन इसके बाद प्रदेश में आई सपा सरकार नगर निगम का चुनाव नहीं करा सकी थी। दोनों ही सरकारों को डर था कि नगर निगम पर मेयर उनकी पार्टी का नहीं बन सकता है। कारण साफ है सहारनपुर में विधानसभा की शहर सीट रही हो या नगर पालिका के अध्यक्ष पद की सीट सभी पर भाजपा ही अपना कब्जा जमाती आई है।
अब प्रदेश की भाजपा सरकार सहारनपुर नगर निगम का चुनाव तो संपन्न करा रही है लेकिन उसे डर है कि कहीं शहर से भाजपा का वोट बैंक छिटक ना जाए। भाजपा ने मार्बल कारोबारी संजीव वालिया को मेयर पद का प्रत्याशी बनाकर मैदान में उतारा है। संजीव वालिया और उनकी पत्नी सोनिया दो बार सहानपुर नगर पालिका की सभासद रह चुके हैं। भाजपा का ये प्रत्याशी करोड़पति है लेकिन इसके बावजूद उसके सिर पांच लाख रुपए का लोन है, जिसे वो चुकता नहीं कर पा रहे हैं।
संजीव वालिया ने अपने नामांकन पत्र में घोषणा की है कि उनकी पत्नी सोनिया और उनके पास 1 करोड़ 45 लाख रुपे की संपत्ति है। 255 वर्ग गज का एक प्लॉट उनके पास है। पत्नी के नाम 200 वर्ग गज का प्लॉट है। दस लाख रुपए उनके और पांच लाख रुपए उनकी पत्नी के बैंक खाते में है। करीब पचास लाख रुपए वालिया मार्बल्स के नाम संपत्ति है। दो कार हैं, जिनकी कीमत 6 लाख रुपए है। एक रिवॉल्वर, एक डीबीएल गन भी संजीव वालिया रखते हैं। उनकी पत्नी सोनिया के पास आठ तोला सोना है। बैंक से पांच लाख रुपये का लोन लिया है।