झूलन गोस्वामी ने बताया, दीप्ति शर्मा ने शार्लेट डीन को रन-आउट करने से पहले चेतावनी दी या नहीं
नई दिल्ली, 28 सितंबर: भारतीय महिला ऑलराउंडर दीप्ति शर्मा का कहना है कि उन्होंने इंग्लैंड की शार्लेट डीन को नॉन स्ट्राइकर एंड पर रन आउट करने से पहले चेतावनी दी थी। इसके बाद भी जब बल्लेबाज नहीं मानी तो रन आउट करने के सिवा कोई चारा नहीं था। जबकि इंग्लैंड की खिलाड़ी डीन का कहना है ऐसी कोई चेतावनी नहीं दी गई। ये मुकाबला भारत की गेंदबाजी लीजेंड झूलन गोस्वामी का अंतिम इंटरनेशनल मैच भी था। जब उनसे पूछा गया क्या वाकई में दीप्ति ने चेतावनी दी थी या नहीं तो उनका जवाब दिलचस्प था।
बातचीत मुझे स्पष्टता से सुनाई नहीं दे रही थी
इंडिया टुडे द्वारा पूछे गए इस सवाल के जवाब पर झूलन ने कहा कि मुझे लगता है चेतावनी दी थी पर मैं बिल्कुल निश्चित होकर यह नहीं बता सकती क्योंकि वे शॉर्ट थर्ड पर खड़ी थी। मैं काफी दूरी पर थी। अंपायर और कप्तान के बीच हो रही बातचीत मुझे स्पष्टता से सुनाई नहीं दे रही थी। लेकिन दीप्ति ने जो भी किया वह बिल्कुल भी गलत नहीं है। हर चीज नियम के दायरे में रहकर की गई। एमसीसी ने भी इसको लेकर साफ किया है, क्योंकि बॉलिंग करने से पहले ही बैटर का आगे निकलना क्रिकेट में वैध नहीं है, तो मुझे नहीं लगता इसमें कुछ भी गलत किया गया है।
मुझे इसमें कोई दोषी दिखाई नहीं देता
वैसे क्रिकेट का नियम ये नहीं कहता है कि नॉन स्ट्राइकर को वार्निंग देनी जरूरी है लेकिन दीप्ति का कहना है कि उन्होंने चेतावनी दी थी और डीन ने इस बात को नकार दिया है। इसके बाद सबकी भौंहे चढ़ गई कि भारत ने पहले से ही ये रन आउट प्लान किया था।
गोस्वामी आगे कहती हैं कि, मुझे लगता है ये बिल्कुल सही है। आईसीसी ने कहा है कि ये वैध रन आउट है तो मुझे इसमें कुछ भी गलत नहीं लगता। कुछ भी नियमों के विपरीत नहीं है। क्या आपने इसको अवैध पाया है? हमने कुछ नहीं किया। हमने जो किया वो नियमों के तहत था। मुझे इसमें कोई दोषी दिखाई नहीं देता।
यह सही तरह से किया गया आउट था
मैच के बाद एमसीसी ने कहा था कि उस रन आउट ने मैच का अप्रत्याशित अंत किया लेकिन यह सही तरह से किया गया आउट था। इसको कुछ और नहीं समझा जाएगा।
वैसे भी आईसीसी ने नए नियमों के तहत मांकड को रन आउट में तब्दील कर दिया है।
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