Jitendrapal Meghwal : राजस्थान पुलिस का Tweet-'मूछ व पहनावा नहीं बल्कि ये है हत्या की असली वजह'
पाली, 19 मार्च। राजस्थान के पाली जिले के बाली उपखंड के गांव बारवा निवासी जितेंद्रपाल मेघवाल हत्याकांड में चौथे दिन शनिवार का शव का अंतिम संस्कार कर दिया गया है।
जितेंद्रपाल मेघवाल के भाई ने दी आत्महत्या की धमकी
उधर, आरोपियों के नहीं पकड़े की जाने की स्थिति में मृतक के भाई ने अपने परिवार के साथ आत्महत्या की चेतावनी दी थी। पुलिस ने दो आरोपी रमेश सिंह व सूरज सिंह को गिरफ्तार भी कर लिया है। बता दें कि जितेंद्रपाल मेघवाल पाली जिले के बाली के सरकारी अस्पताल में कोविड हेल्थ सहयक के पद पर कार्य था। मंगलवार को आरोपियों ने चाकुओं से गोदकर उसकी हत्या कर दी थी।
मूछों की तस्वीरें से हुई जलन
मीडिया की खबरों की मानें तो आरोपी उसके व्यक्तित्व से जलते थे। वह मूछ दिखाते हुए सोशल मीडिया पर तस्वीरें पोस्ट करता था। उसकी वजह से आरोपी सूरज सिंह राजपुरोहित और रमेश सिंह 800 किमी दूर सूरत से गांव आकर हत्या कर दी।
मेघवाल समाज के लोगों का धरना
मंगलवार दोपहर को हत्या के बाद आरोपी वहां से भाग गए थे। परिजनों और मेघवाल समाज के लोगों ने आरोपी नहीं पकड़े जाने तक अस्पताल के बाहर धरने पर बैठ गए थे। तीन दिन बाद आरोपियों के पकड़े जाने पर शव का पोस्टमार्टम करवाने को राजी हुए।
जितेंद्रपाल के परिजनों की मांगें
सरकारी अस्पताल के बाहर धरना देकर प्रदर्शन कर रहे मृतक जितेंद्रपाल मेघवाल के परिजन और समाज के लोगों ने आरोपियों को पकड़ने, फांसी की सजा देने, पीड़ित परिवार को 50 लाख का मुआवजा और सरकारी नौकरी की मांग की।
दो साल पहले भी मारपीट
कहा जाता है कि दो साल पहले सूरजसिंह सहित तीन आरोपियों को जितेंद्र पाल का नजरें उठाकर देखना नागवार गुजरा था। इससे नाराज सूरजसिंह राजपुरोहित व रमेश सिंह ने जितेंद्र के घर जाकर उससे मारपीट भी की। इसके बाद आरोपी सूरत शिफ्ट हो गए थे।
नौकरी के बाद बदली लाइफ स्टाइल
इधर, जितेंद्रपाल की चिकित्सा विभाग में सरकारी नौकरी लग गई। उसकी लाइफ स्टाइल भी बदल गई। सोशल मीडिया पर मूछों के ताव देते के कई फोटो शेयर किए। यह अंदाज आरोपियों को नागवार लगा।
बाइक पर सवार होकर आए सूरत से
शायद इसी वजह से सूरज सिंह व रमेश सिंह मोटरसाइकिल पर सवार होकर सूरत से बाली आए और पहले तो जितेंद्रपाल के आने जाने के रास्ते की रैकी की। फिर मंगलवार दोपहर को चाकू घोंपकर उसकी हत्या कर दी। दोनों आरोपी बाड़मेर जिले के पचपदरा से गिरफ्तार किए गए।
वायरल वीडियो झूठा-पुलिस
सोशल मीडिया में एक वीडियो वायरल हो रहा है, जो
जितेंद्रपाल मेघवाल हत्याकांड का होने का दावा किया जा रहा है। इस मामले में राजस्थान पुलिस ने भी इस मामले में ट्वीट किया है। लिखा कि 'दर्शाए गए वीडियो में बताए गए तथ्य मिथ्या है। वीडियो का पाली ज़िले के जितेंद्रपाल हत्या कांड से कोई संबंध नहीं है। यह वीडियो भरतपुर ज़िले का है जिसमें पुलिस कार्रवाई कर रही है।
मूछ रखने व पहनावे से कोई संबंध नहीं- राजस्थान पुलिस
राजस्थान पुलिस ने अपने ट्वीट में यह भी लिखा कि गांव बारवा जिला पाली के जितेंद्रपाल हत्याकांड में दलित समाज के व्यक्ति के मूछ रखने व पहनावे से लेकर कोई संबंध नहीं है। वर्ष 2020 में दर्ज मुकदमे की आपसी रंजिश को लेकर हत्या की गई है। हत्याकांड के दोनों मुख्य आरोपियों को पकड़ लिया गया है। ASP मौके पर कैंप कर सुपरविजन कर रहे हैं।
शोक सभा में पहुंचे अधिकारी
इधर, मृतक जितेंद्रपाल मेघवाल के घर आयोजित शोक सभा में पाली जिला कलेक्टर नमित मेहता, पाली एसपी राजन दुष्यंत, बाली एसडीएम धायगुडे स्नेहल नाना, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक बृजेश सोनी, तहसीलदार कन्हैयालाल मीणा, थानाधिकारी देवेंद्र सिंह देवड़ा आदि उपस्थित हुए और जितेंद्रपाल की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की।
मेघवाल समाज ने सौंपा ज्ञापन
ग्रामीणों ने मेघवाल समाज विकास समिति पांच गांव सेवाड़ी, बारवा, लुणावा, करणवा, मिरगेश्वर, पातावा, मेघवाल समाज धर्मशाला, रामदेव मन्दिर, लक्ष्मीनारायण धाम, परिसर, सरहद बारवा के नेतृत्व में गोविंदराम मेघवाल कैबिनेट मंत्री राजस्थान सरकार के नाम जिला कलेक्टर व जिला पुलिस अधीक्षक को विभिन्न मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा।
हथियार लाइसेंस की मांग
मेघवाल समाज ने ज्ञापन में मांग की कि मृतक के भाई एवं उनके गवाहों को हथियार का लाइसेंस दिया जाए। मृतक के परिवार के किसी सदस्य को स्थायी सरकारी नौकरी दी जाए। मृतक के पिता अपंग हैं। मृतक का चयन कोविड सहायक भर्ती में मेरिट के आधार पर हुआ था। परिवार में आय का कोई अन्य जरिया नहीं है। परिवार को 50 लाख मुआवजा मिले।
राजस्थान : सोशल मीडिया पर डाली मूछों की फोटो तो दो युवकों ने 800 किमी दूर से आकर कर दी हत्या