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बिक रहा है लंदन में टैगोर से संबंधित विला, ममता बनर्जी की चिट्ठी के बाद भी खरीदने पर नहीं दिया गया ध्यान

ममता बनर्जी ने दो बार इस विला को लेकर लंदन स्थिति भारतीय दूतावास को चिट्ठी लिखी थी। अब दूतावास ने कहा है कि वो ममता बनर्जी की रूचि से अनजान है।

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लंदन, सितंबर 21: भारत के नोबेल अवार्ड विजेता महान कवि रविन्द्र नाथ टैगोर ने उत्तरी लंदन के जिस विला में बैठकर 'गीतांजलि' का अंग्रेजी अनुवाद किया था, वो विला अब बिकने जा रहा है। लेकिन, भारत सरकार ने उस विला को संरक्षित करने की कोशिश नहीं की और ना ही लंदन स्थिति भारतीय दूतावास को इसकी कोई जानकारी ही है। ये बेहद आश्चर्य की बात इसलिए भी है, क्योंकि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने भारत सरकार को इस बावत लिखा भी था, फिर भी 'गुरुदेव' से संबंधित मकान को संरक्षित रखने की कोशिश नहीं की गई।

बिक रहा है 'गुरुदेव' से संबंधित विला

बिक रहा है 'गुरुदेव' से संबंधित विला

हेम्पस्टेड में हीथ विला उत्तरी लंदन में है, जहां नोबेल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर 1912 में जब लंदन गये थे, तो उन्होंने इसी विला में काफी दिन गुजारे थे और इस विला को बेचा जा रहा है। सबसे खास बात ये है कि ये महलनुमा विला, उन जगहों में से नहीं है, जहां सिर्फ गुरुदेव ठहरे थे, बल्कि उन प्रतिष्ठित जगहों में से एक है, जहां रविन्द्रनाथ टैगोर ने अपने प्रसिद्ध कविता संग्रह 'गीतांजलि' का अंग्रेजी में अनुवाद किया था।

ममता बनर्जी ने लिखी थी चिट्ठी

ममता बनर्जी ने लिखी थी चिट्ठी

इससे पहले 2015 और 2017 में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने लंदन में भारतीय उच्चायोग से बंगाल सरकार की ओर से संपत्ति प्राप्त करने के तरीकों पर गौर करने को कहा था, ताकि संपत्ति को एक संग्रहालय और एक स्मारक में परिवर्तित किया जा सके। समचार एजेंसी पीटीआई की एक रिपोर्ट के मुताबिक, विला को बेचने का काम देखने वाली गोल्डस्चिमिड एंड हॉवलैंड के निदेशक फिलिप ग्रीन ने कहा कि, ''हमारा काम प्रॉपर्टी को बेचने का है और हम इसी व्यवसाय में हैं, और अगर हमारे ग्राहक को सही कीमत मिल जाती है, तो वो सौदा हो जाता है। हम सभी प्रस्तावों का स्वागत करते हैं, जो ब्रिटिश सरकार के कानूनों के मुताबिक हो।''

कैसा है विला?

कैसा है विला?

तीन बिस्तरों वाले टैरेस हाउस का मूल्य करीब 27 करोड़ 22 लाख रुपये है। इसे एक स्टाइलिश ग्रेड-2 लिस्ट में विक्टोरियन विला के रूप में वर्णित किया गया है। इस विला का निर्माण करीब 1863 में किया गया था। ये विला लंदन के लोगों के बीच उस वक्त काफी सम्मानित विला था और अभी भी इसका काफी महत्व और सम्मान है। लंदन में विशेष इमारतों से जुड़े उल्लेखनीय लोगों और संगठनों को सम्मानित करने के लिए इंग्लिश हेरिटेज चैरिटी द्वारा संचालित एक योजना के तहत इस बात का जिक्र किया गया है कि, भारत के महान कवि रवींद्रनाथ टैगोर इस विला में कई दिनों तक ठहरे थे।

बेहद शानदार और अद्भुत है घर

बेहद शानदार और अद्भुत है घर

विला को बेचने का काम देख रहे फिलिप ग्रीन ने कहा कि, यह विला लंदन के एक शानदार हिस्से में स्थिति एक अद्भुत घर है और हमें बिक्री को संभालने का सौभाग्य मिला है। इसका ऐतिहासिक महत्व ब्लू प्लाक से पहचाना जाता है, लेकिन इसके अलावा, इसके अद्वितीय स्थान, इसकी विशेषताओं और हीथ के सुंदर दृश्यों के कारण लोग इसे खरीदने में काफी दिलचस्पी दिखा रहे हैं।

इंडियन हाई कमीशन बेखबर

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लंदन में भारतीय उच्चायोग ने समाचार एजेंसी पीटीआई को बताया कि वह पश्चिम बंगाल सरकार की इस संपत्ति को लेकर जताई गई रूचि से अनजान है। जबकि, दावा किया गया है कि. 2015 और 2017 में पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने लंदन में भारतीय उच्चायोग से इसके बारे में जानकारी मांगी गई थी।

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English summary
The villa in north London, where Rabindra Nath Tagore translated Gitanjali into English, has been put up for sale.
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