ये हैं पुख्ता वजह, जिसके दम पर सीबीआई मांगेगी कार्ती की कस्टडी
नई दिल्ली। कार्ती चिदंबरम के खिलाफ सीबीआई का शिकंजा कसता जा रहा है, आज सुबह सीबीआई ने उन्हें चेन्नई एयरपोर्ट पर गिरफ्तार कर लिया है। जिसके बाद उन्हे सीबीआई दिल्ली लेकर आई है। इस मामले में माना जा रहा है कि सीबीआई कोर्ट से कार्ती की कस्टडी मांग सकती है। दरअसल सीबीआई का कहना है कि उसने कार्ती के सीए भाष्कर रमन को गिरफ्तार किया था, जिससे पूछताछ के बाद सीबीआई का कहना है कि उसके पास कई पुख्ता जानकारी मिली है। लेकिन कार्ती चिदंबरम इस मामले में पूछताछ में सहयोग नहीं कर रहे हैं ,लिहाजा अब कार्ती को हिरासत में लेने के अलावा दूसरा विकल्प नहीं बचा है, उन्हें हिरासत में लेने के बाद सीए द्वारा दी गई पुख्ता जानकारी के बारे में पूछताछ करना होगा।
गौरतलब है कि विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड यानि फेमा ने आईएनएक्स मीडिया को वर्ष 2007 में विदेशी पूंजी जुटाने की अनुमति दी थी, इस मामले में कार्ती का नाम उस वक्त आया था जब उनके पिता पी चिदंबरम यूपीए सरकार में वित्त मंत्री थे। ईडी ने दावा किया था कि कार्ती के सीए ने गलत तरीके से संपत्ति अर्जित करने में मदद की थी। कार्ती के सीए को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया था, जिसके बाद उन्हें तिहाड़ जेल भेज दिया गया था। सीए रमन को दिल्ली में एक पांच सितारा होटल से गिरफ्तार किया गया था।
सीबीआई सूत्रों के अनुसार सीबीआई कोर्ट को इस बात की जानकारी देगी कि इंद्राणी मुखर्जी ने इस बात को कबूल किया था कि उसने और उसके पति ने 350 करोड़ रुपए के लिए चेस मैनेजमेंट सर्विस से एफआईपीबी की क्लीयरेंस लेने में मदद ली थी। जबकि एफआईपीबी ने सिर्फ पांच करोड़ रुपए की इजाजत दी थी। दरअसल जब चेस मैनेजमेंट की सेवाओं को लेना शुरू किया गया था तो नियमों में बदलाव किए गए थे और कार्ती की मैनेजमेंट कंपनी को 10 लाख रुपए दिए गए थे। माना जा रहा है कि इसी आधार पर सीबीआई कार्ती चिदंबरम की रिमांड की इजाजत मागेगी।