चीन ने अरुणाचल प्रदेश के कई इलाकों का नाम बदला, भारत ने जताई आपत्ति
नई दिल्ली, 30 दिसंबर: लद्दाख में भारतीय सेना के हाथों मात खाने के बाद अब चीन अरुणाचल प्रदेश में नई साजिशें रच रहा है। हाल ही में कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया कि चीन ने अरुणाचल प्रदेश के कई इलाकों के नाम बदल दिए हैं। इस लिस्ट में 8 रेसिडेंशियल प्लेस, चार पहाड़, दो नदी और एक पहाड़ी दर्रा शामिल है। अब इस मामले पर भारत सरकार ने कड़ा ऐतराज जताते हुए चीन को चेतावनी दी है।
मामले में आधिकारिक बयान जारी करते हुए भारतीय विदेश मंत्रालय ने कहा कि हमने कई रिपोर्ट देखीं जिसमें दावा किया गया कि चीन ने अरुणाचल के कुछ इलाकों का नाम बदला है। ये कोई पहली बार नहीं हुआ, चीन ने अप्रैल 2017 में भी इसी तरह की हरकत की थी, लेकिन हम उन्हें ये बताना चाहते हैं कि अरुणाचल प्रदेश हमेशा से भारत का अभिन्न अंग था और भविष्य में भी हमेशा रहेगा। अब किसी जगह का नाम बदलने से उससे जुड़े तथ्य नहीं बदलेंगे।
कहां-कहां
के
नाम
बदले?
आपको
बता
दें
कि
चीन
ने
शन्नन
प्रीफेक्चर
के
कोना
काउंटी
में
सोंगकोजोंग
और
डग्लुंगजोंग,
निंगची
के
मेडोग
काउंटी
में
मणिगंग,
ड्यूडिंग
और
मिगपेन,
न्यिंगची
के
जायू
काउंटी
में
गोलिंग,
डंबा
और
शन्नान
प्रीफेक्चर
के
लुंजे
काउंटी
में
मोजाग
के
नाम
बदले
हैं।
जायू
और
लुंजे
काउंटी
का
बड़ा
हिस्सा
भारत
के
अरुणाचल
प्रदेश
में
आता
है।
भारत-चीन तनाव के बीच चीन की मीडिया ने भारत को क्या नसीहत दी है
लद्दाख
में
फेल
हुई
सारी
चाल
मई
2020
से
चीन
ने
लद्दाख
में
घुसपैठ
की
कोशिश
की
थी।
जिसे
भारतीय
सेना
ने
नाकाम
कर
दिया।
इसके
बाद
से
वहां
की
एलएसी
पर
विवाद
जारी
है।
हालांकि
चीनी
सैनिक
भीषण
ठंड
में
एलएसी
के
पास
टिक
नहीं
पा
रहे
हैं,
जिस
वजह
से
वो
पीछे
हट
गए।
इसकी
जगह
पर
चीन
वहां
पर
रोबोट
के
हाथ
में
मशीनगन
थमाकर
उन्हें
गश्त
पर
भेज
रहा।
वहीं
दूसरी
ओर
भारतीय
जवान
जांबाजी
के
साथ
डटे
हुए
हैं।