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4 जजों की प्रेस कॉफ्रेंस के बाद जस्टिस कूरियन बोले, यह व्यक्तिगत नहीं बल्कि संस्थागत मुद्दा

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नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट के भीतर चल रही अनियमितता को लेकर जिस तरह से चार वरिष्ठ जजों ने शुक्रवार को प्रेस कांफ्रेंस की उसके बाद लगातार यह मुद्दा सुर्खियों में बना हुआ है। इस विवाद के बाद सुप्रीम कोर्ट के जज जस्टिस जोसेफ कूरियन ने कहा कि शुक्रवार को जो प्रेस कॉफ्रेंस की गई है वह व्यक्तिगत नहीं थी बल्कि संस्थागत थी, जिसका समाधान होना चाहिए। जस्टिस कूरियन ने कहा कि इस प्रेस कॉफ्रेंस के बारे में कुछ भी व्यक्तिगत नहीं था, यह संस्थागत था, यह मामला संस्थागत है लिहाजा इसका तत्काल समाधान होना चाहिए।

Justice Kurian Joseph

खुलकर सामने आया था विवाद

आपको बता दें कि शुक्रवार को इस प्रेस वार्ता में न्यायाधीश चेलमेश्वर, न्यायाधीश जोसेफ कुरियन, न्यायाधीश रंजन गोगोई और न्यायाधीश एम बी लोकुर मौजूद थे, इस प्रेस वार्ता के बाद 4 वरिष्ठ नयायाधीशों का CJI के साथ मतभेद सामने आ गया था। इस प्रेस कॉफ्रेंस में जस्टिस रंजन गोगोई ने सीबीआई जज जस्टिस लोया के मामले पर भी अपनी सहमति जाहिर की जब प्रेस कांफ्रेंस के दौरान एक पत्रकार ने पूछा कि क्या जस्टिस लोया के केस को लेकर भी आपकी चिंता है। इस बीच सुप्रीम कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार से जस्टिस लोया की पोस्टमार्टम रिपोर्ट को तलब किया है। दो अलग-अलग याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा यह मामला काफी गंभीर है, इस मामले की सुनवाई के लिए 15 जनवरी की तारीख तय की गई है।

जस्टिस लोया की मौत का मसला

गौरतलब है कि जस्टिस लोया की 1 दिसंबर 2014 में नागपुर में मृत्यु हो गई थी, उनकी मौत उस वक्त हुई थी जब वह अपने सहयोगी की बेटी की शादी में शिरकत करने जा रहे थे। यह मामला उस वक्त सुर्खियों में आया था जब कार्वान मैगजीन ने संदिग्ध परिस्थिति में जस्टिस लोया की मौत की खबर छापी थी, जिस वक्त जस्टिस लोया की मुत्यु हुई थी, उस वक्त वह सोहराबुद्दीन मामले की सुनवाई कर रहे थे। महाराष्ट्र के पत्रकार बीआर लोन ने इस मामले में एक याचिका दायर करके मामले की पारदर्शी जांच की मांग की है। उन्होंने जस्टिस लोया की संदिग्ध परिस्थिति में मृत्यु की निष्पक्ष जांच करने की मां की है, उनका कहना है कि जस्टिस लोया सोहराबुद्दीन एनकाउंटर मामले की सुनवाई कर रहे थे।

कोर्ट में है याचिका

लोन की याचिका चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा, जस्टिस एएम खानविल्कर व जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच के सामने 11 जनवरी को भेजा गया था, जिसमे इस बात की मांग की गई है कि इस मामले में कई खंडात्मक तथ्य हैं जिनकी जांच होनी चाहिए। वहीं दूसरी याचिका जिसे कांग्रेस नेता तहसीन पूनावाला ने दायर किया है। इस याचिका में कहा गया है जिस परिस्थिति में जस्टिस लोया की मृत्यु हुई है वह संदिग्ध, सवालिया निशाान खड़ा करने वाला है।

इसे भी पढ़ें- चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के खिलाफ संसद में महाभियोग ला सकती है कांग्रेस

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English summary
4 Supreme court judge Press Conference Justice Kurian Joseph says its not personal but institutional. He says issues should be resolved.
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