अमरूद-आम और इन फलों की खेती के लिए 20 हजार रुपए प्रति एकड़ सब्सिडी देगी हरियाणा सरकार
चंडीगढ़। हरियाणा में प्रदेश सरकार अमरूद-आम और स्ट्रिस फलों के बाग पर प्रति एकड़ 20 हजार रुपए सब्सिडी देगी। पहले इसके लिए 16 हजार रुपए दिए जाते थे। मनोहर लाल खट्टर की अगुवाई वाली सरकार ने अब सब्सिडी 4 हजार रुपए बढ़ा दी है। सरकार ने रबी सीजन 2021-22 की फसल खरीद को लेकर भी फैसला किया है। प्रदेश में 1 अप्रैल से गेंहू की खरीद शुरू होगी।
392
मंडियों
में
81
लाख
टन
गेंहू
की
खरीद
जनसंपर्क
एवं
सूचना
विभाग
ने
बताया
कि,
मंडी
में
फसल
लाने
के
लिए
किसानों
को
26
मार्च
से
मैसेज
भेजे
जा
रहे
हैं।
8
लाख
किसानों
ने
पोर्टल
पर
रजिस्ट्रेशन
भी
कराया
है।
सरकार
की
ओर
से
392
मंडियों
में
81
लाख
टन
गेंहू
की
खरीद
की
जाएगी।
बता
दिया
जाए
कि,
इस
बार
सरकार
ने
फैसला
लिया
है
कि
किसानों
के
हित
में
गेहूं
की
सरकारी
खरीद
10
दिन
पहले
शुरू
होगी।
हरियाणा
के
उपमुख्यमंत्री
दुष्यंत
चौटाला
ने
कहा
कि,
सरकार
ने
किसानों
के
हित
में
अहम
कदम
उठाते
हुए
इस
बार
गेहूं
की
सरकारी
खरीद
एक
अप्रैल
2021
से
शुरू
करने
का
निर्णय
लिया
है,
ताकि
किसानों
को
अगेती
फसल
का
भंडारण
न
करना
पड़े।
उपमुख्यमंत्री
ने
कहा
कि
पिछली
बार
10
अप्रैल
से
खरीद
आरंभ
हुई
थी।
आयुष्मान भारत योजना: हरियाणा के 15.51 लाख परिवार लाए जाएंगे दायरे में, सरकार ने चलाया विशेष अभियान
छोटे-बड़े
खरीद-केंद्र
बनाए
गए
गेहूं
की
खरीद
के
लिए
काफी
छोटे-बड़े
खरीद-केंद्र
बनाए
गए
हैं।
मुख्यमंत्री
ने
कहा
था
कि,
किसानों
की
जरूरत
के
अनुसार
मंडी
बनाई
जाएंगी।
वहीं,
उपमुख्यमंत्री
ने
बताया
कि
देश
में
हरियाणा
एकमात्र
राज्य
है
जहां
गेहूं,
सरसों,
दाल,
चना,
सूरजमुखी,
जौ
समेत
कुल
6
फसलें
न्यूनतम
समर्थन
मूल्य(एमएसपी)
पर
खरीदी
जाती
हैं।
पहली
बार
प्रदेश
में
जौ
फसल
की
एमएसपी
पर
खरीद
की
जाएगी
और
इसके
लिए
7
मंडियां
निर्धारित
की
गई
हैं।
उपमुख्यमंत्री
दुष्यंत
चौटाला
ने
बताया
कि
देश
के
इतिहास
में
हरियाणा
ऐसा
प्रथम
प्रदेश
होगा
जहां
जे-फार्म
कटने
के
48
घंटे
के
अंदर
फसल-बिक्री
की
कीमत
किसान
की
मर्जी
के
अनुसार
उसके
खुद
के
बैंक
खाते
में
या
आढ़ती
के
खाते
में
पहुंच
जाएगी।
उन्होंने
उम्मीद
जताई
कि
पड़ोसी
राज्य
भी
किसान-हित
में
इस
नीति
को
अपनाएंगे।
पड़ोसी
राज्यों
के
किसानों
का
भी
पंजीकरण
उपमुख्यमंत्री
ने
कहा
कि
अगर
पंजाब,
राजस्थान
व
अन्य
पड़ोसी
राज्य
हरियाणा
की
फसल-खरीद
का
मॉडल
अपनाना
चाहेंगे
तो
हरियाणा
सरकार
उनको
हर
संभव
तकनीकी
सहायता
उपलब्ध
करवाने
के
लिए
तत्पर
है।
उपमुख्यमंत्री
ने
बताया
कि
राज्य
के
7.25
लाख
किसानों
ने
गेहूं
की
बिक्री
के
लिए
'मेरी
फसल
मेरा
ब्यौरा'
पोर्टल
पर
स्वयं
पंजीकृत
करवाया।
यही
नहीं,
पड़ोसी
राज्यों
के
एक
लाख
3
हजार
किसानों
ने
भी
इस
पोर्टल
पर
अपना
पंजीकरण
करवाया
है।