जिम्बाब्वे में भारतीय ने ली थी चीन की वैक्सीन, नहीं रुका ओमिक्रॉन, अब पत्नी-बहनोई भी कोरोना संक्रमित
जामनगर। कोरोनावायरस का नया वैरिएंट ओमिक्रॉन, जिसे अब तक का सबसे खतरनाक माना जा रहा है, के कई मरीज गुजरात में मिल चुके हैं। ये मरीज विदेश से आए वे लोग हैं, जो ओमिक्रॉन की चपेट में आ चुके देशों में गए थे। आज अधिकारियों ने बताया कि, जिम्बाब्वे का एक एनआरआई कोविड-19 के ओमिक्रॉन वैरिएंट की चपेट में आया था, अब उस व्यक्ति की पत्नी और बहनोई का टेस्ट भी कोरोनावायरस पॉजिटिव आया है। उन दोनों के सैंपल जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजे गए हैं।
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72 वर्षीय बुजुर्ग में मिले थे ओमिक्रॉन के लक्षण
जामनगर नगर निगम की ओर से कहा गया है कि, दोनों को एक आइसोलेशन वार्ड में शिफ्ट कर दिया गया है। बताते चलें कि, पिछले दिनों एक 72 वर्षीय एनआरआई, जो कि ओमिक्रॉन के "जोखिम वाले" देशों में से एक जिम्बाब्वे से गुजरात में आया था, वो ओमिक्रॉन से ग्रस्त पाया गया। 4 दिसंबर को, जीनोम सीक्वेंसिंग की रिपोर्ट में उसके ओमिक्रॉन से ग्रसित होने की पुष्टि हुई। हालांकि, उसका कहना है कि, वह कोरोना वैक्सीन की दोनों डोज ले चुका था। उसने कहा कि, जिम्बाब्वे में उसने एक चीनी वैक्सीन की दोनों खुराक ली थी, मगर अब वह जामनगर के एक अस्पताल के एक आइसोलेशन वार्ड में है।
बुजुर्ग के साथ ही जिम्बाब्वे से लौटी थी वृद्धा
जामनगर नगर निगम के एक अधिकारी ने बताया कि, 72 वर्षीय एनआरआई की पत्नी और उसके बहनोई भी कोरोनावायरस से संक्रमित मिले हैं, हालांकि उनमें कोरोना के नए वैरिएंट का असर है या नहीं, ये पता करने के लिए दोनों के सैंपल जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए लैब भेजे गए हैं। अधिकारी ने कहा कि, उस बुजुर्ग की पत्नी, जिम्बाब्वे से उनके साथ आई थी, और उनके बहनोई, जामनगर में रहते हैं। उनके अलावा उनके परिवार के अन्य सदस्यों की भी जांच की गई, जिसमें बाकी लोगों की रिपोर्ट निगेटिव आई।
इलाका माइक्रो-कंटेनमेंट जोन घोषित
एहतियात के तौर पर नगर निगम ने आवासीय सोसायटी, जहां एनआरआई का परिवार रहता है, को माइक्रो-कंटेनमेंट जोन घोषित किया है और वहां बैरिकेड्स लगाकर लोगों की आवाजाही पर रोक लगा दी है। रविवार को नगर आयुक्त विजयकुमार खराड़ी ने निगम के स्वास्थ्य अधिकारियों के साथ सोसायटी का दौरा किया और उन्हें कोरोना-संक्रमण के मामलों का पता लगाने के लिए क्षेत्र में डोर-टू-डोर सर्वेक्षण और परीक्षण करने को कहा। जैसा कि निर्देश दिया गया था, अधिकारियों ने उस क्षेत्र के लोगों को कोविड-19 वैक्सीन देने की कवायद भी शुरू कर दी। चूंकि, वहां अभी काफी लोग ऐसे हैं, जिन्होंने आज तक पहली या दूसरी खुराक नहीं ली है।