केंद्रीय जांच एजेंसियों की कार्यप्रणाली पर उठे सवाल, छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल ले सकते हैं एक्शन
Bhupesh Baghel: विधानसभा चुनाव से ठीक एक साल पहले छत्तीसगढ़ में केंद्रीय जांच एजेंसियों की सक्रियता बढ़ने से राज्य और केंद्र के बीच तनातनी का माहौल देखा जा रहा है। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रवर्तन निदेशालय ( ED ) और आयकर विभाग ( IT ) पर गंभीर आरोप लगाए हैं। बघेल का कहना है कि आयकर और ईडी के अफसरों की टीम अफसरों और कारोबारियों से उनका बयान दर्ज करने के दौरान को मुर्गा बनाकर पीट रही हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा है कि केंद्रीय एजेंसियों की पिटाई से कई लोगों की हड्डियां टूट चुकी हैं और कई लोगों को सुनाई देना बंद हो चुका है। जिसकी शिकायत छत्तीसगढ़ सरकार तक पहुंची है।

लगातार मुखर रहे हैं सीएम भूपेश बघेल
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल लगातार केंद्र पर केंद्रीय जांच एजेंसियों के दुरुपयोग का आरोप लगाते रहे हैं। नेशनल हैरोल्ड मामले में राहुल गांधी और सोनिया गांधी से ईडी की पूछताछ के बाद उन्होंने पहले ही आशंका जता दी थी कि भाजपा राज्य में कांग्रेस सरकार को बदनाम करने के लिए ईडी और आईटी का गलत इस्तेमाल कर सकती है। सीएम भूपेश बघेल का अंदेशा सही साबित हुआ और छत्तीसगढ़ में बीते महीनो से ईडी और आईटी की कार्रवाई लगातार जारी है।

केंद्रीय जाँच एजेंसियों पर एक्शन लेगी छत्तीसगढ़ पुलिस ?
सीएम भूपेश बघेल ने अपने सोशल मीडिया हेंडल के मार्फत केंद्रीय एजेंसियों को चेतावनी लिखा है कि केंद्रीय एजेंसियां देश के नागरिकों की ताकत होती हैं। यदि इन ताकतों से नागरिक डरने लगें तो निश्चित ही यह नकारात्मक शक्ति देश को कमजोर करती है। ED और इनकम टैक्स जैसी एजेंसियां भ्रष्टाचार करने वालों पर कानूनी कार्रवाई करें, हम इसका स्वागत करते हैं। लेकिन जिस प्रकार से ED और इनकम टैक्स के अधिकारियों द्वारा लोगों से पूछताछ के दौरान गैर कानूनी कृत्य सामने आ रहे हैं, वो बिल्कुल भी स्वीकार करने योग्य नहीं हैं। विधिक ढंग से जांच में हमारा पूर्ण सहयोग रहेगा। लेकिन ऐसी शिकायतें हमें आगे भी प्राप्त होंगी, तो राज्य की पुलिस विधिक रूप से कार्रवाई हेतु विवश होगी।
उन्होंने आयकर और प्रवर्तन निदेशालय के अफसरों पर लोगों को जबरन घर से उठाने, उनको मुर्गा बनाकर उनसे मारपीट करके दवाबपूर्वक मनचाहा बयान दिलवाने को मजबूर करने के आरोप लगाए हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा है कि भारत सरकार को इन सब घटनाओं की जानकारी दी जाएगी,ताकि अवैधानिक कृत्यों पर रोक लगायी जाए। यदि ऐसी शिकायतें हमें आगे भी प्राप्त होंगी, तो राज्य की पुलिस विधिक रूप से कार्रवाई हेतु विवश होगी। हमारे नागरिकों की सुरक्षा हेतु हम कृत संकल्पित हैं।

IAS समीर विश्नोई की पत्नी ने लगाए थे ईडी पर गंभीर आरोप
11 अक्टूबर को ईडी ने कोयला परिवहन में मनी लांड्रिंग की जांच करते हुए छत्तीसगढ़ में छापामार कार्रवाई शुरू की थी। इस दौरान ने 13 अक्टूबर को IAS अधिकारी समीर विश्नोई, कोयला कारोबारी सुनील अग्रवाल और ट्रांसपोर्टर-वकील लक्ष्मीकांत तिवारी को गिरफ्तार किया था।
इस कार्रवाई के बाद आईएएस समीर विश्नोई की पत्नी प्रीति ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से मुलाकात कहा था कि प्रवर्तन निदेशालय के अफसर उनके घर जबरन घुस आये थे। फिर विश्नोई दम्पति को ED के दफ्तर ले जाकर कुछ कांग्रेस नेताओं और कारोबारियों, अफसरों के खिलाफ बयान देने का दबाव बनाया था। समीर विश्नोई की पत्नी से ईडी पर आरोप लगाया था कि उनसे कहा गया था कि अगर वह बयान नहीं देंगे, परिवार वालों को जिंदगी भर जेल में सड़ा दिया जायेगा।

बघेल भ्रष्टाचारियों के वकील ना बने: सौरभ सिंह
इधर भारतीय जनता पार्टी के रायपुर संभाग प्रभारी और विधायक सौरभ सिंह ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के ईडी संबंधी बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि मुख्यमंत्री भ्रष्टाचारियों के वकील बनकर ईडी को न धमकाएं। आखिर क्या वजह है कि वे कानून को अपना काम करने से रोक रहे हैं। भ्रष्टाचार करने वाले अफसरों और चुनिंदा कारोबारियों के यहां छापे में बेहिसाब संपत्ति और भ्रष्टाचार के प्रमाण मिल रहे हैं तो ईडी की कार्रवाई से भूपेश बघेल को दिक्कत क्यों हो रही है?
भाजपा रायपुर संभाग प्रभारी सौरभ सिंह ने कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री भूपेश बघेल नेशनल हेराल्ड मामले में कांग्रेस कम्पनी के मालिकों से पूछताछ के विरोध में रायपुर से लेकर दिल्ली तक ड्रामेबाजी करते हैं। दूसरी तरफ वे चिटफंड और नान मामले की ईडी जांच के लिए अनुरोध करते हैं। चिट्ठी लिखते हैं। तीसरी तरफ वे नान घोटाले के आरोपी अफसरों के बचाव में नामी वकील लगाते हैं।