Bhind news: पनडुब्बियों से निकाली जा रही है नदियों की गहराइयों से रेत, कंपनी ही बन गई माफिया
भिंड में सरकार से ठेका लेकर रेत उत्खनन का कार्य रही शिवा कारपोरेशन द्वारा जिले की रेत खदानों से अवैध उत्खनन किया जा रहा है। पुलिस-प्रशासन ने सिंध नही से रेत का उत्खनन कर रहीं 4 पनडुब्बियों को पकड़ा है।
Bhind में सरकार ने जिस रेत कंपनी को उत्खनन का ठेका दिया है वही रेत कंपनी अब रेत माफिया बन गई है। यह बात हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि रेत कंपनी द्वारा सारे नियमों को ताक पर रखकर अवैध उत्खनन किया जा रहा है। कई बार प्रशासन द्वारा इस अवैध उत्खनन को पकड़ा भी जा चुका है बावजूद इसके रेत कंपनी द्वारा अवैध उत्खनन जारी है और इस पर लगाम नहीं लग पा रही है।
शिवा
कारपोरेशन
पर
है
रेत
उत्खनन
का
ठेका
सरकार
ने
भिंड
जिले
में
रेत
उत्खनन
का
ठेका
शिवा
कारपोरेशन
कंपनी
को
दे
रखा
है।
ठेका
मिलने
के
बाद
भिंड
जिले
में
अवैध
उत्खनन
जोर-शोर
से
किया
जा
रहा
है।
यह
बात
प्रशासन
द्वारा
की
जा
रही
कार्रवाईयों
में
भी
सामने
आ
रही
है।
कुछ
समय
पहले
एक
रेत
खदान
पर
75
से
ज्यादा
ट्रक
पकड़े
गए
थे।
उस
समय
वर्षा
ऋतु
होने
की
वजह
से
रेत
खदान
से
रेत
उत्खनन
पर
रोक
लगी
हुई
थी
बावजूद
इसके
शिवा
कारपोरेशन
द्वारा
अवैध
उत्खनन
किया
जा
रहा
था
लेकिन
बाढ़
का
पानी
आने
की
वजह
से
सभी
ट्रक
कीचड़
में
फंस
गए
और
अवैध
उत्खनन
का
मामला
सबके
सामने
आ
गया।
प्रशासन
की
टीम
ने
इन
सभी
ट्रकों
को
जब्त
करने
की
कार्रवाई
भी
की
थी।
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पुलिस-प्रशासन
की
टीम
ने
कछार
घाट
और
राज
बरेठी
से
पकड़ीं
चार
पनडुब्बियां
भिंड
जिले
की
पुलिस-प्रशासन
की
टीम
ने
कार्रवाई
करते
हुए
सिंध
नदी
के
कछार
घाट
और
राजबरेठी
से
4
पनडुब्बियों
को
पकड़ा
है।
इन
पनडुब्बियों
के
सहारे
सिंध
नदी
से
रेत
का
अवैध
उत्खनन
किया
जा
रहा
था।
मौके
पर
पहुंची
पुलिस-प्रशासन
की
टीमे
ने
पनडुब्बियों
को
पकड़
लिया।
पुलिस
द्वारा
पनडुब्बियों
पर
हथोड़े
चलाकर
उन्हें
नष्ट
करने
की
कार्रवाई
की
गई
फिर
पनडुब्बियों
को
आग
के
हवाले
कर
दिया
गया।
कंपनी
ही
बन
गई
है
रेत
माफिया
सरकार
ने
शिवा
कारपोरेशन
कंपनी
को
जिले
में
रेत
का
उत्खनन
करने
के
लिए
ठेका
देते
वक्त
यह
सोचा
था
कि
जिले
में
अवैध
उत्खनन
पर
रोक
लगेगी
लेकिन
शिवा
कारपोरेशन
कंपनी
ने
ही
सभी
नियमों
को
ताक
पर
रखकर
जिले
में
अवैध
उत्खनन
का
कार्य
शुरू
कर
दिया
है।
प्रशासन
ने
अवैध
उत्खनन
में
लिप्त
पाए
जाने
पर
कंपनी
पर
भारी-भरकम
जुर्माना
भी
लगाया
था
लेकिन
इस
जुर्माने
के
मामले
को
कंपनी
कोर्ट
में
ले
गई
और
अब
यह
मामला
कोर्ट
में
विचाराधीन
है।
कुल
मिलाकर
कंपनी
एक
तरफ
अवैध
उत्खनन
कर
रही
है
और
दूसरी
तरफ
प्रशासन
की
आंखों
में
धूल
भी
झांक
रही
है।
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