मप्र में शिवराज को फिर चुनौती देंगी जमुना देवी (लीड-1)
नेता प्रतिपक्ष की जिम्मेदारी मिलने के बाद जमुनादेवी ने आईएएनएस से बातचीत में कहा कि वे प्रदेश सरकार की हर खामी और नाकामी के खिलाफ सदन से लेकर सड़क तक संघर्ष करने में नहीं हिचकेंगी।
उन्होंने कहा, "हम विधानसभा में सकारात्मक विपक्ष की भूमिका निभाने के लिए तैयार है। सरकार द्वारा जनहित में किए जाने वाले कामों में रचनात्मक सहयोग दिया जाएगा। भ्रष्टाचार सबसे बड़ा मुद्दा होगा।"
कांग्रेस में चुनाव परिणाम आने के बाद नेता प्रतिपक्ष को लेकर चली खींचतान के बाद पार्टी हाईकमान ने एक बार फिर जमुना देवी को कमान सौंपी है। जमुना देवी विधानसभा के लिए छठी बार चुनी गई हैं। उन्होंने सबसे पहला चुनाव वर्ष 1952 में जीता था। उसके बाद 1984 में निर्वाचित हुई और फिर 1993 से 2008 तक लगातार चुनाव जीतती आ रही हैं।
जमुना देवी विधानसभा के अलावा 1962 में लोकसभा और 1978 में राज्यसभा के लिए भी चुनी जा चुकी हैं। वह मध्यप्रदेश में 1987 से राज्य मंत्री और 1993 से 2000 तक कैबिनेट मंत्री रही। इसके अलावा 2000 से 2003 तक बतौर उप मुख्यमंत्री के पद की जिम्मेदारी का भी निर्वहन किया।
प्रदेश की आदिवासी नेता जमुना देवी ने पिछली विधानसभा में शिवराज सिंह चौहान सरकार को घेरने में अहम भूमिका निभाई थी। इस बार फिर कांग्रेस हाईकमान ने नेता प्रतिपक्ष की जिम्मेदारी सौंपकर जमुना देवी पर अपना भरोसा जता दिया है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।